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साइबर अटैक की रोकथाम के लिए मंत्रालय बनाओ

भारत पर साईबर अटैक और उससे साम्प्रदाईक दंगे होने के बाद किये गए रोकथाम के प्रयासों से एक बात तो स्पष्ट हो गई कि समय आ गया है कि जैसा है चलने दो और दूसरों के सर दोष मड़ते रहो वाली नीति अब ज्यादा कारगर नहीं होगी|साईबर अटैक से डिफेंस के लिए अगर जरूरी हो तो एक अलग मंत्रालय या विभाग खोला जाना चाहिए |
पिछले दिनों असाम और म्यांमार में हुए दंगों के विषय में अफवाहों का बाज़ार गर्म किया गया |
अफवाह फ़ैलाने के लिए आधुनिक तकनीक सोशल साइट्स+मोबाईल+एम् एम् एस+एस एम् एस आदि का प्रयोग किया गया जिस कारण असाम के बाद मुम्बई +पुणे+रांची+बेंगलूर+हेदराबाद +कानपुर+अलाहाबाद+लखनऊ में साम्प्रदाईक दंगे भड़क उठे |
किंकर्तव्यविमूड़ कीस्थिति में सरकारें दिखाई देने लगी| पार्लिआमेंट में भी केवल फेस बुक +ट्विटर आदि को बैन किये जाने पर निर्णय के बजाय केवल हो हल्ला ही हुआ|अन्ना हजारे और बाबा रामदेव के आन्दोलन में इन साईट्स कि सरकार विरोधी प्रयोग से सरकार जब हिली तब भी इन साइट्स पर प्रतिबंध की मांग की गई| चेकिंग या मोनिटरिंग के नाम पर कुछ नहीं हुआ|
अब इन अफवाहों के पीछे षड्यंत्र दिखाई दिया है |पाकिस्तान से एस एम् एस के जरिया अफवाहें फैलाने कि बात सामने आई है|सरकार ने बल्क एस एम् एस और लगभग २५० सोशल साईट्स पर रोक लग दी है| पाकिस्तान को इसकी रोकथाम के लिए कहा गया है|पाकिस्तान का रिकार्ड रहा है कि वहां कि सरकारों ने कभी भी भारत के किसी भी आरोप को स्वीकार नहीं किया है और अब भी केवल सबूत ही मांगे गए हैं|
पाकिस्तान से किसी सहयोग की उम्मीद बेकार रही है और अभी भी बेकार ही है|वैसे देखा गया है कि इन सोशल साइट्स पर रोक लगाना भारत जैसे लोक तांत्रिक देश में इतना आसान नहीं है क्योंकि चीन जैसे देश में भी ऐसा प्रयास विफल हो चुका है| पाकिस्तान में स्वयम माबाईल का दुरूपयोग हो रहा है और इसके मद्देनज़र ईद से पहले मोबाईल सर्विस १४ घंटों के लिए बंद कर दी गई थी|जियो न्यूज एजेंसी के अनुसार आंतरिक मंत्रालय के आदेश पर मोबाईल सर्विस प्रोवाईडर कंपनियों ने कराची+मुल्तान+क्वेटा+लाहौर में रविवार शाम ८ बजे मोबाईल सेवाएं बंद कर दी थीं|आंतरिक मंत्री रहमान मालिक के कथन अनुसार मोबाइल से विस्फोट किये जा रहे थे इसीलिए यह कदम उठाया गया|
अब समय आ गया है कि अपने स्तर पर गूगल जैसी विश्वव्यापी संस्थाओं पर पर्याप्त दबाब बना कर अपनी सुरक्षा को सुनिश्चित किया जाना वक्त कि मांग है|समय समय पर साईट्स कि मोनिटरिंग के लिए एक मंत्रालय का गठन भी आवश्यक हो गया है|
इसके लिए प्यास लगने पर कूआँ खोदने के बजाय पहले ही लाईन आफ एक्शन तय किया जाना जरुरी है| साइबर अपराध नवीनतम तकनीक का एक अभिशाप है जिससे पार पाने के लिए अविलम्भ शोध भी बेहद जरुरी हैं|