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गुजरात अभियान का नतीज़ा कुछ भी हो क्रेडिट तो राहुल गांधी को ही दिया जाएगा


झल्ले दी झल्लियाँ गल्लां

एक गुजराती मानुष

ओये झाल्लेया ये कांग्रेसियों को क्या होगया | १३ दिसंबर को चुनाव होने हैं और कांग्रेस के भावी प्रधान मंत्री राहुल गांधी आज ११ दिसंबर को अंतिम प्रचार दिवस पर ही गुजरात में आये और एक रैली को केवल संबोधित किया|नरेन्द्र मोदी को निशाना बनाया |विकास के दावे किये और महात्मा गांधी के नाम पर वोट मांग कर निकल गए|ओये ऐसे चुनाव लड़ा जाता है क्या?
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गुजरात अभियान का नतीज़ा कुछ भी हो क्रेडिट तो राहुल गांधी को ही जाएगा

झल्ला

अरे भाई जी आप समझे नहीं कांग्रेस के रणनीतिकार सोच समझ कर फूंक फूंक कर कदम रख रहे हैं|अगर कांग्रेस को राज्य में फायदा मिलता है तो राहुल गांधी को क्रेडिट देते हुए कहा जा सकता है कि देखा एक ही चुनावी सभा में राहुल गांधी ने पासा बदल दिया| मोदी का सारा गेम ही पलट दिया| और अगर खुदा ना खास्ता अगर कहीं उन्नीस बीस हो गई तो कहा जा सकता है कि भाई केवल एक ही दिन राहुल को दिया गया अगर ज्यादा समय दिया जाता तो ……

आधी दुनिया में हुई बर्फबारी का असर आज मेरठ में भी दिखाई दिया

आधी दुनिया में हुई बर्फबारी का असर आज मेरठ में भी दिखाई दिया

आधी दुनिया में हुई बर्फबारी का असर आज मेरठ में भी दिखाई दिया |हलकी बारिश हुई और ठंडक ने लोगों में सिहरन और ठिठुरन पैदा की| सूर्य देव भी दर्शन देने में आनाकानी करते रहे| ठण्ड से सिहरते हुए लोग बाग़ शेल्टर तलाशते रहे |अमेरिका में जहां बर्फबारी ने क्रिसमस की खुशियों में बढोत्तरी की तो +मनाली +शिमला आदि में पर्यटकों में नया उत्साह भर दिया|

गुजरात चुनावों की दिशा में चलाये गए सस्ते रसोई गैस सिलेंडरों में बढोत्तरी के राम बाण को चुनाव आयोग ने काटा

सब्सिडी वाले सिलेंडरों की संख्या छह से नौ करने की घोषणा होते ही चुनाव आयोग ने इस पर तत्काल रोक लगाए जाने के आदेश दे दिए हैं| सरकार के इस कन्सेशन को गुजरात चुनावों के मध्यनज़र की गई लुभावनी घोषणा के रूप में देखा जा रहा है| जब से सस्ते रसोई गैस सिलेंडरों की संख्या में कटौती का आत्मघाती निर्णय लिया गया है तभी से सरकार की सर्वत्र आलोचना हो रही है| इस कैपिंग से गैस की काला बजारी बाद गई जिसके फलस्वरूप सभी तरफ से सरकार को निशाना बनाया जा रहा है| बंगाल में हुए उप चुनावों में भी इसका नकारात्मक असर सामने आ चुका है| कांग्रेस के अपने भरोसे के नेता भी इसमें रोल बैक की सलाह दे चुके हैं|

सस्ते रसोई गैस सिलेंडरों में बढोत्तरी के राम बाण


अब जाकर केंद्र सरकार ने सस्ते गैस सिलेंडरों का कोटा बढ़ाने की तैयारी कर ली है.| इसकी जानकारी खुद पेट्रोलियम मंत्री वीरप्पा मोइली ने दी.
वीरप्पा मोइली ने कहा कि जल्द ही साल में छह की जगह नौ सिलेंडर देने का फैसला लिया जाएगा| प्रस्ताव कैबिनेट में भेजा जाएगा और कैबिनेट जल्द ही इसपर निर्णय लेगी। कैबिनेट से हरी झंडी मिलने के बाद उपभोक्ता को छह की जगह सब्सिडी वाले नौ सिलेंडर मिलेंगे|.
इस संबंध में उनकी[मोइली] वित्त मंत्री से दो बार सकारात्मक बातचीत हो चुकी है और प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है। इसकी एवज में सरकार तेल कंपनियों को 28 हजार 500 करोड़ रुपये की सब्सिडी देगी।
गौरतलब है कि सरकार के इस फैसले को गुजरात चुनाव से जोड़ कर देखा जा रहा है|भाजपा बेशक रसोई गैस कैपिंग को बडवाना चाहती है मगर इस समय चुनावों के मध्य नज़र भाजपा ने भी इस घोषणा की आलोचना की है|
ग़ौरतलब है कि सरकार अभी 6 सस्ते सिलेंडर दे रही है, लेकिन कांग्रेस शासित राज्यों ने पहले ही से 9 सिलेंडर देने का एलान कर दिया गया है|और सरकार की तरफ से बार बार इस फिसलने से लौटने से इनकार किया जाता रहा है|
मोइली ने गुजरात चुनाव के दौरान सस्ते सिलेंडर का कोटा बढ़ाने का एलान किया, दो दिन बाद ही गुजरात में पहले चरण की वोटिंग होनी है, इस पर पेट्रोलियम मंत्री मोइली और कांग्रेस का तर्क है कि उनके इस एलान से चुनाव आचार संहिता पर उल्लंघन नहीं होता है|जबकि चुनाव आयोग ने इसे गंभीरता से लेते हुए आपत्ति की है और इसे तत्काल वापिस लेने के आदेश दिए हैं|इससे पूर्व कैश ट्रांसफर की घोषणा पर भी चुनाव आयोग द्वारा रोक लगाई जा चुकी है|

ऍफ़ डी आई के भारतीय खुदरा व्यापार में आने से पहले ही वालमार्ट की १२५ करोड़ की लाबिंग आड़े आ गई:संसद स्थगित

अंग्रेज़ी में एक कहावत है कि चाय की

Indian Parliament

प्याली होटों तक लाते लाते कई अगर +मगर [ईफ एंड बट्स]आ सकते हैं वाल मार्ट के मुद्दे पर सरकार के साथ संसद में कुछ कुछ ऐसा ही हो रहा है| यदपि संसद में ऍफ़ डी आई के मुद्दे पर सरकार ने जीत हासिल करके वाल मार्ट जैसे बहु राष्ट्रीय कम्पनी के भारतीय खुदरा व्यापार में प्रवेश पर मोहर लगा दी मगर वाल मार्ट द्वारा लोबिंग पर १२५ करोड़ खर्च करने के मुद्दे से सरकार को एक बार फिर कटघरे में खड़ा करने का प्रयास शुरू हो गया है| इस मुद्दे को लेकर सोमवार को संसद नहीं चली और आज भी दोनों सदन हंगामे की भेंट चड़ गए| आज भाजपा और वाम पंथियों के अलावा सरकार के कई सहयोगी दलों ने भी समयबद्ध जांच की मांग की और संसद की कार्यवाही नहीं चलने दी | भाजपा ने जहाँ न्यायिक जाँच कि मांग की तो वाम पंथ और अन्य दलों ने जायंट पार्लिअमेंट कमेटी के द्वारा जांच कराये जाने पर जोर दिया| सी बी आई से जांच का विरोध किया गया |वहीं संसदीय कार्य मंत्री कमलनाथ ने कहा कि इसकी जांच करने के लिए कोई हिचक नहीं है कोई संकोच नहीं है|
वॉलमार्ट के मुद्दे पर लोकसभा में बीजेपी नेता यशवंत सिन्हा ने कहा कि वॉलमार्ट ने रिटेल लाने के लिए पैसे खर्च किए हैं, ये सिद्ध हो गया है। वो पैसे उन्होंने भारत में खर्च किए हैं। उन्होंने कहा कि किस चीज पर पैसे खर्च किए गए और किसको ये पैसे दिए गए, इसकी जांच होनी चाहिए। कौन है जो वॉलमार्ट का पैसा लेकर बैठा हुआ है इसकी ज्यूडीशियल जांच होनी चाहिए। इसके बाद शून्यकाल शुरू हो गया लेकिन हंगामे के चलते लोकसभा की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। इससे पहले वॉलमार्ट लॉबिंग रिपोर्ट पर विपक्षी दलों द्वारा जमकर हंगामा किए जाने के कारण मंगलवार को लोकसभा की कार्यवाही शुरू होते ही दोपहर 12 बजे तक लिए स्थगित कर दी गई। सुबह संसद में कांग्रेस कोर ग्रुप की बैठक भी हुई।
लोकसभा में यशवंत सिन्हा और राज्यसभा में वेंकैया नायडू ने लॉबिंग मामले को उठाया। दोनों नेताओं ने इस संबध में सदन में नोटिस दिया। विपक्ष को आश्वस्त किया गया को वॉलमार्ट के मुद्दे पर उसे बोलने का मौका दिया जाएगा लेकिन हंगामे के चलते सदन की कार्यवाही नहीं चल पाई और दोपहर 12 बजे तक के लिए सदन को स्थगित करना पड़ा।
वहीं राज्यसभा के उपसभापति ने हंगामे को देखते हुए कहा कि आजकल आलम ये है कि चेयर को असहाय होकर प्रश्नकाल की कार्यवाही में हर क्षण खड़े हो रहे व्यवधान देखना पड़ रहा है। समाजवादी पार्टी ने भी न्यायिक जांच की मांग की है। वहीं इस मुद्दे पर सरकार के साथ खड़ी रही राष्ट्रीय जनता दल ने भी वॉलमार्ट पर लगे लॉबिंग के आरोपों की जेपीसी से जांच करवाए जाने की मांग की है। ऐ आई ऐ डी एम् के [जयललिता]ने भी भाजपा के साथ समय बद्ध जाँच की मांग उठाई|
उधर वाम पंथी सीता राम येचुरी ने भाजपा से दूरी बानाने का प्रयास करते हुए एक चैनल को यह बताया है कि वाल मार्ट के मुद्दे पर कांग्रेस और भाजपा दोनों मिले हुए हैं| सरकार ने नियम १८४ के अंतर्गत ऍफ़ डी आई पर चर्चा करा कर भाजपा को ओब्लाईज़ किया है जिसके बदले में भाजपा सरकार को अन्दरखाने सपोर्ट कर रही है|

मूल वेतन के साथ अब भत्तों को मिला कर भविष्य निधि की कटौती की जायेगीSave More

वेतन भोगी कर्मियों को मिलने वाले मूल वेतन के साथ अब भत्तों[एलाउंस] पर भी भविष्य निधि[प्रोविडेंट फंड] के मद में कटौती की जायेगी|इससे बेशक कर्मी को थोड़ा वेतन कम मिलेगा मगर उसकी बचत में बढ़ोत्तरी होगीजो उसके भविष्य के लिए उपयोगी साबित होगी |इस उद्देश्य के साथ श्रम और रोज़गार मंत्रालय के अंतर्गत कार्यरत कर्मियों के लिए सर्कुलर भी जारी कर दिया गया है|अभी तक केवल मूल वेतन का कुछ प्रतिशत [१२] ही भविष्य निधि में जैम किया जाता है|
गौरतलब है कि अधिकांश कंपनियों द्वारा कर्मियों को दिए जाने वाले वेतन में मूल वेतन कम और एलाउंस ज्यादा दर्शाए जाते हैं|इसकी रोक थाम भी हो सकेगी| इससे आयकर कि कटौती पर भी प्रभाव पड़ने की संभावना रहेगी|इससे काले धन की उत्पत्ति पर भी रोक लग सकेगी

मूल वेतन के साथ अब भत्तों को मिला कर भविष्य निधि की कटौती की जायेगी

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किंग फिशर एयर लाईन्स को पूरी तरह डुबोने के लिए कंपनी के विमान जब्त

गले तक कर्ज़ में फंसी किंगफिशर एयरलाइंस को उबारने के बजाय पूरी तरह से डुबोने के लिए आज मंगलवार को सरकार ने सर्विस टैक्‍स न चुकाने के चलते एयरलाइंस के खिलाफ कार्रवाई की और उसका विमान जब्‍त कर लिया। सूत्रों के अनुसार, किंगफिशर एयर लाईन्स सर्विस टैक्‍स चुकाने में नाकाम रही है। कम्पनी पर करोड़ों रुपये के टैक्स बकाया है। सूत्रों के अनुसार इसकी भरपाई के लिए आने वाले दिनों में एयरलाइंस के सात और विमानों को जब्‍त करने की प्रकिया जारी है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार एयरलाइंस के अधिकारयों ने उच्‍च अधिकारियों से संपर्क करके विमान के खिलाफ की गई कार्रवाई पर स्‍थगन आदेश के लिए कोशिश की, लेकिन ऐसा नहीं हो पाया। गौरतलब है कि कंपनी को 7000 करोड़ रुपये के ऋण का भुगतान करना है। यह उसकी वित्तीय हेसियत कही अधिक है|
सरकार पहले ही कह चुकी है कि किंगफिशर एय़रलाइंस का उबरना मुश्किल है. और इसीलिए घाटे में चल रही किंगफिशर एयर लाईन्स की उड़ानों पर पहले ही से रोक लगी हुई है. एयरलाइंस का लायसेंस भी निलंबित है और अब फिर से उड़ान भरने के लिए नए सिरे से लाइसेंस के लिए आवेदन करना जरूरी बना दिया गया है|
मुंबई में किंगफिशर एयर लाईन्स का विमान जब्त हुआ है इससे लगता है कि बात चीत के सारे रास्ते बंद हो चुके हैं और अब किंगफिशर एयरलाइंस की संपत्तियां जब्त होना शुरू हो गई है,| किंगफिशर के कर्मचारियों के भविष्य को लेकर अब भी सस्पेंस बना हुआ है|शायद किंग फिशर एयर लाईन्स के इस प्रकार के पतन और इसे उबारने में सरकार की उपेक्षा के चलते ही विदेशी निवेशक इस दुधारू व्यवसाय में रूचि दिखने में हिचक रहे हैं|

Vijay Malya The King Fisher


यहाँ तक कि विश्व में १०० अरब डालर्स के व्यवसाई रतन टाटा भी इस व्यवसाय से जुड़े उद्योग को भारत के बजाय चीन में लगाने की बात कह चुके हैं|
कहना अनुचित नहीं होगा कि सरकर की नीतियों के चलते ही किंग फिशर एयर लाईन्स का पतन हुआ है और इसका फायदा दूसरी कम्पनियाँ उठा रही है |इस एक कम्पनी के मैदान से हटने के फलस्वरूप अब इंडिगो+ स्पाईस जेट या जेट ऐरवेज आदि पर टिकट्स की दरें सीमित रखने में सरकार भी असहाय दिख रही है|

राज्य सभा में हंगामे से दुखी उपराष्ट्रपति ने क्वेश्चन आवर की व्यवस्था की समाप्ति पर सुझाव दिया: संसद स्थगित

संसद के दोनों सदन आज भी हंगामे के कारण स्थगित किये गए |लोक सभा एक घंटे और राज्यसभा की कार्यवाही आधे घंटे के लिए स्थगित की गई|लोक सभा में आज सुबह वालमार्ट द्वारा लाबिंग के लिए खर्च किये गए १२५ करोड़ की आड़ में भारत में घूस दिए जाने का आरोप लगा कर जांच की मांग की गई और विपक्ष ने सदन के वेळ में आ कर शोर शराबे से सदन को सर पर उठा लिया |लोक सभा स्पीकर मीरा कुमार ने बार बार इस प्रश्न के लिए क्वेश्चन आवर्स में समय देने का आश्वासन दिया मगर इस मुद्दे के हाथ लगने और वाम पंथियों के सहयोग से उत्साहित भाजपा ने वेळ से हटने से इंकार कर दिया तब बिना किसी बिजनेस के ही सदन को दोपहर बारह बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया|उधर राज्य सभा में भी बीते दिन की भांति ही क्वेश्चन आवर में हे शोरहुआ और दुखी मन से चेयर पर्सन हामिद अंसारी ने दुखी मन से कार्यवाही को सुचारू रूप से चलने में असमर्थता जाहिर की और कार्यवाही को आधे घंटे के लिए स्थगित किया और कहा के प्रति दिन क्वेश्चन आवर की बर्बादी के चलते यह मामला संसद की रूल कमेटी को देने के अलावा उनके पास कोई और दूसरा विकल्प नहीं बचा है |इसके लिए दो सुझाव भी उन्होंने सुझाए |

एक सुझाव था के क्वेश्चन आवर की व्यवस्था को ही समाप्त कर दिया जाए |

Indian Parliament

वाल मार्ट ने १२५ करोड़ की लाबिंग कराई यह सच्च है मगर भारत में इसका प्रभाव साबित हो पायेगा यह वहम है


झल्ले दी झल्लियाँ गल्लां

झल्ली

में क्या सुणो जी!ये आज कल जिसे देखो वहम और हकीकत वहम और हकीकत चिल्लाता जा रहा है|इनमे अंतर क्या होता है ज़रा उदहारण देकर समझा देयो जी

झल्ला

ओ भली लोके दरअसल हकीकत वो होती है जो होती या होता है और वहम वोह होता है जिसके होने की संभावना होती है उदहारण के तौर पर देखो
[१] अन्ना बाबू राव हजारे ने आज तक अजेंडा में कहा था कि वोह अपने प्रिय शिष्य अरविन्द केजरीवाल को सपोर्ट नहीं करेंगे यह तो हो गया हकीकत मगर चुनावों में अन्ना अरविन्द के खिलाफ जायेंगे यह वहम साबित हो सकता है
[२]वाल मार्ट ने भारत में खुदरा व्यापार पर कब्जे के लिए अमेरिकी कानून के मुताबिक़ अपने सांसदों द्वारा लाबिंग कराई और १२५ करोड़ रुपये खर्च कर दिए यह हकीकत है|मगर भारत में ऐसा कोई कानून नहीं है फिर भी अमेरिकी लाबिंग के प्रभाव का भारत में हुआ कोई असर प्रूव साबित हो पायेगा यह वहम हो सकता है
[३] भारतीय क्रिकेट तेम की इंग्लैण्ड के हाथो शर्मनाक हार हुई और उसके बाद कप्तान तक को बदला जाना चाहिए यह हकीकत है मगर कप्तान धोनी बदला जाएगा यह वहम है

गुरु की वाणी से जुड़ने पर परमात्मा से मिलाप हो जाता है

गुरु की वाणी सब मांही समाणी ,
आप कथी ते आप बखाणी ,
जिन जिन जपी तेही सब निस्त्रे ,
पाया नेह्चल थाना है ।

Rakesh Khurana Praising Guru Nanak Dev Ji


अर्थात वो करण – कारण प्रभु – सत्ता या नाम वो परम सत्ता है जो सब को बनाने वाली है और सबको धारण किये हुए है । उसे यहाँ गुरु की वाणी कहा है क्योकि पूर्ण समर्थ संत सतगुरु ही उससे हमें जोड़ सकता है । जो भी उस वाणी से जुड़े वो निजधाम में निवास पा गए ,वो आत्मा का निजधाम है जहाँ परमात्मा से उसका मिलाप हो जाता है ।
वाणी :- श्री गुरु नानक देव जी
प्रस्तुति राकेश खुराना

लगातार हारती जा रही क्रिकेट टीम की ओवरहालिंग के लिए केंद्र सरकार को आगे आना होगा

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इंग्लैण्ड के हाथों दोहरी हार से आहत क्रिकेट प्रेमी और खिलाड़ी चिंता में हैं और सभी दिशाओं से खिलाड़ी+कप्तान+कोच+और सलेक्टरों की भूमिका पर सवाल उठ रहे हैं|
पहला विश्व कप भारत में लाने वाले कपिल के डेविल्स में शामिल मोहिंदर अमरनाथ ने अभी हाल ही में बतौर सलेक्टर टीम के कप्तान एम् एस धोनी को बदले जाने की सिफारिश की थी मगर उस सिफारिश के ठीक उलटे धोनी को अभय दान देते हुए अमरनाथ को हे बदल दिया गयाइसके बाद की कहानी तो जग जाहिर है|इंग्लैण्ड के स्पिनरों के हाथों कोलकत्ता में सात विकटों से करारी हार का सामना करना पडा है| अब उन्होंने फिर से टीम में दीवार कहे जाने वाले राहुल द्रविड़ और लक्ष्मण की कमी पर चिंता व्यक्त की है|
टीम इंडिया के पूर्व कप्तान व मिडिल आर्डर के पूर्व दिग्गज खिलाड़ी राहुल द्रविड़ ने इंग्लैंड के खिलाफ घरेलू सीरीज में टीम इंडिया की दो लगातार हार पर नाराजगी जाहिर करते हुए खिलाड़ियों की सक्षमता व उनकी प्रतिभा पर सवाल खड़े कर दिए हैं।’ उन्होंने कहा है “भारत को स्पिन विभाग में पछाड़ दिया गया और यह चिंता का संकेत है क्योंकि स्पिन हमारी मजबूती रही है.” ए’ टीम का दौरा और एकेडमी सिस्टम बहुत ही ज्यादा अहम हो गया है.”
भारतीय टीम में कुछ बदलाव का सुझाव देते हुए द्रविड़ ने कहा, “मैं देख पा रहा हूं कि भारतीय टीम बदलाव की मोड़ पर है और इसे सोचना चाहिए कि कैसे मुश्किल से बाहर आया जाए और कैसे वो नौजवान खिलाड़ी जिनमें हुनर, तकनीक, जोश और चाहत है टेस्ट क्रिकेट खेलने का मौका पा सकें.”
राहुल द्रविड़ ने कहा, ‘लोग खिलाड़ियों के रवैये की बात करते हैं और कहते हैं कि आईपीएल में पैसे की वजह से उनके रवैये में बदलाव आ रहा है। यह सब बातें अलग हैं लेकिन अहम बात है उन खिलाड़ियों की सबसे बड़ी कमजोरी, उनकी क्षमता व प्रतिभा और वे मेरे लिए ज्यादा बड़ी चिंता का विषय है। यह एक बड़ा सवाल है कि क्या हमारे खिलाड़ियों की प्रतिभा व गुणवत्ता सही रास्ते पर है। एक बात यह भी है कि हमारे घरेलू क्रिकेट का स्तर इतना ऊंचा नहीं हो सका है कि लगातार खिलाड़ी उसके दम पर सीधे अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में कदम रख सकें।’ भारत में टीम इंडिया के हाल के शर्मनाक प्रदर्शन को लेकर खेल प्रशंसक बेहद नाराज हैं और इस पर द्रविड़ ने कहा, ‘ज्यादातर लोग सिर्फ इस बात से नाराज नहीं है कि हम हारे बल्कि इस बात से ज्यादा दुखी हैं कि जिस तरीके से हम हारे। भारत ने इस सीरीज में तीन बार टास जीते हैं जिस दौरान मुंबई में मनमर्जी पिच व कोलकाता में बल्लेबाजों के अनुकूल पिच मिली लेकिन हमारी टीम के खिलाड़ी ना सिर्फ इन स्थितियों का फायदा उठा सके बल्कि मुकाबला करने में भी सक्षम नहीं दिखे। इंग्लैंड ने भारत को आइना दिखाया है और साफ किया है कि टीम इंडिया किन कठिनाइयों से जूझ रही है। सफल टीमों में शानदार खिलाड़ियों की एक लंबी फेहरिस्त होती है जो एक साथ मिलकर एक ही समय में अच्छा प्रदर्शन करते हैं और टीम को बुलंदी तक पहुंचाते हैं।’|सचिन तेंदुलकर+ वीरेंदर सहवाग+जैसे वरिष्ठ खिलाड़ी भे कुछ कर पाने में असफल रहे अब इनके बदलाव की मांग भी सर्वत्र उठने लगी हैलेकिन केवल खाना पूर्ती के लिए हरभजन सिंह+युवराज और जहीर को ही बाहर का रास्ता दिखाया गया है|कप्तान धोनी को एक बार फिर बचा लिया गया है|सचिन ने कहा था की जब तक वोह चाहेंगे खेलते रहेंगे इसी तर्ज़ पर धोनी ने भी कप्तानी छोड़ने से इंकार कर दिया है|सरकार में प्रभावी राजीव शुक्ला सरीखे क्रिकेट के कर्णधार सब कुछ ठीक ठाक बता कर मामले को रद्दी की टोकरी में डाल दिया| कोच की भूमिका का भी मजाक उड़ाया जा रहा है| बी सी सी आई की भूमिका पर भी एक बार फिर से सवालिया निशान लग रहे हैंलेकिन दुर्भाग्य से इस दिशा में कोई बात करने को राज़ी नहीं है| केंद्र सरकार ने जिस तरह मुक्के बाज़ी + तीर अंदाजी संघ और आई ओ अ को सुधारने के लिए पहल की है उसी तरह क्रिकेट में भी सुधारों की जरूरत है| बेशक इस गेम को भारत सरकार से फंड्स नहीं मिलते मगरयह गेम भी [१] भारत के नाम पर खेला जाता है [२] स्पोर्ट्स स्टेडियम से लेकर कर छूट और सुरक्षा आदि की व्यवस्था सरकार की ही है ऐसे में सरकारी दखल का समय आ गया है|