आम आदमी पार्टी [आप] के सुप्रीमो अरविन्द केजरीवाल ने तीन माह पूर्व दिल्ली की सरकार से इस्तीफा देने के लिए माफ़ी माँगने के साथ दोबारा चुनाव के लिए जनता के बीच जाने की घोषणा की है |
१६ वी लोक सभा के लिए हुए चुनावों में करारी शिकस्त के बाद “आप” पार्टी ने जनता के बीच जाने के लिए जमीन तैय्यार कर ली है |
दिल्ली में भी जीते हुए २८ विधान सभा छेत्रों में से केवल चार छेत्र में ही इज्जत बचा पाये पार्टी के शेष धुरंधर भी हार गए | पंजाब में पार्टी को चार सीटें जरूर मिल गई लेकिन इससे पार्टी के उद्देश्य की पूर्ती नही हुई| इस करारी हार के झटके से ऊबर कर चौथे दिन [मंगलवार]दिल्ली में कांग्रेस के ही सहयोग से दोबारा सरकार बनाने के लिए कवायद शुरू की गई एल जी से मुलाकात इसी कड़ी का हिस्सा थी |जिसे कांग्रेस के लोकल लीडर्स ने सिरे से नकार दिया | सत्ता और नाम दोनों को खो चुके केजरीवाल ने अपनी पार्टी में बिखराव को रोकने के लिए आज घोषणा की के सरकार बनाने के बजाये चुनाव में हिस्सा लेकर जनता का विशवास प्राप्त किया जाएगा|इसके लिए भावनात्मक कार्ड खेलते हुए दिल्ली और देश की जनता से माफ़ी भी मांगी है |