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Tag: राज्य सभा

Puducheri ,Unanimously,Gives RS Seat 1st Time to BJP

(Puducherry)Puducheri ,Unanimously,Gives RS Seat 1st Time  to BJP

 Bharathiya Janata Party (BJP) nominee S Selvaganapathy was on Monday declared elected to the lone seat in Rajya Sabha from Puducherry without contest.This seat was declared Vacant on Oct 6

This is the first time the BJP is getting representation from Puducherry in the Upper House. Today was the last day to withdraw nominations.
Selvaganapathy is the 10th member from Puducherry to the Rajya Sabha since 1962.
He filed the nomination with the support of the AINRC heading the coalition government in Puducherry.

सिद्धू बजट सेशन में आये और मानसून में रा स छोड़ गए,सावन “आप” में मनेगा

[नयी दिल्ली]सिद्धू बजट सेशन में आये और मानसून में रा स छोड़ गए,सावन “आप” में मनेगा
भाजपा नेता नवजोत सिंह सिद्धू ने आज राज्यसभा से मनोनीत नीत सदस्य के रूप में इस्तीफा दे दिया गया जिसे तत्काल प्रभाव से स्वीकार कर लिया गया है।
उपसभापति पी जे कुरियन ने आज सदन को बताया कि सिद्धू ने सभापति को भेजे एक पत्र में अपना इस्तीफा दिया। उन्होंने बताया कि सभापति हामिद अंसारी ने उनके इस्तीफे को 18 जुलाई से स्वीकार कर लिया।
सिद्धू एवं भाजपा नेता सुब्रहमण्यम स्वामी सहित छह लोगों को अप्रैल में उच्च सदन के लिए मनोनीत किया गया था|सिद्धू पंजाब की राजनीती से अलग थलग किये जाने से नाराज थे|राज्य सभा की सदस्यता के पश्चात उन्हें मंत्रीमंडल से भी दूर रखा गया|अब सिद्धू के “आप” में जाने की प्रबल सम्भावनाएं जताई जा रही है| एक्स क्रिकेटर+लाफ्टर गुरु नवजोत सिंह सिद्धू यदि “आप” में जाते हैं तो निश्चित टूर पर आप का कद पंजाब में बढ़ेगा इसके साथ ही भाजपा को राज्य सभा में झटका लगेगा

बरसों से कर्जदार कॉरपोरेट घरानों का केंद्र सरकार के पास कोई रिकॉर्ड नहीं है

बरसों से कर्जदार कॉर्पोरेट घरानों का केंद्र सरकार के पास कोई रिकॉर्ड नहीं है| कॉर्पोरेट मामलों के मंत्रालय ने यह स्वीकारोक्ति की है
वर्षों से ऋण की अदायगी न करने वाले कारपोरेट घरानों पर बकाया ऋणों के संबंध में कोई विशिष्‍ट जानकारी उपलब्‍ध नहीं है।
कारपोरेट मामलों की राज्‍य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमन ने राज्‍य सभा में एक लिखित उत्तर में बताया कि भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम, 1934 की धारा 45 ई एवं बैंकिंग कानूनों में यह प्रावधान है कि बैंक एवं वित्तीय संस्‍थाएं अपने ग्राहकों के बारे में गोपनीयता बनाये रखने के लिए बाध्‍य हैं।
वित्तीय क्षेत्र की स्थिति में सुधार+एनपीए में कमी करना+बैंकों की परिसम्‍पत्ति गुणवत्‍ता में सुधार +एनपीए की स्‍लीपेज की रोकथाम के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने निर्देश जारी किये हैं, जिसमें यह निर्धारित किया गया है कि प्रत्‍येक बैंक उनके मंडल द्वारा अनुमोदित ऋण वसूली की नीति लायेगा।
नये ऋणों की मंजूरी / तदर्थ ऋणों /नये ऋणों अथवा वर्तमान ऋणों के नवीनीकरण के बारे में सूचना के आदान-प्रदान के लिए एक सुदृढ़ प्रणाली लाई जायेगी,

दिल्ली में अभी भी ६८५ झुग्गी बस्तियां हैं और पिछले तीन सालों में एक भी स्लम बस्ती को सूची से हटाया नहीं जा सका है

दिल्ली के विकास के तमाम दावों की पोल खोलते हुए आज सरकार ने यह स्वीकार किया कि दिल्ली में अभी भी ६८५ झुग्गी बस्तियां हैं और पिछले तीन सालों में एक भी स्लम बस्ती को सूची से हटाय नहीं जा सका है|
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पिछले दशक के दौरान झुग्गी बस्तियों की संख्या में कोई वृद्धि नहीं हुई है इसके उपरांत भी अभी तक २२ लाख की आबादी 685 झुग्‍गी-झोपड़ी बस्तियों में रहने को अभिशिप्त है यहाँ तक कि पिछले तीन सालों में एक झुग्गी बस्ती तक भी स्लम सूची से हटाई नही जा सकी है|
केन्‍द्रीय शहरी वि‍कास राज्‍य मंत्री श्रीमती दीपा दासमुंशी ने आज राज्‍य सभा में एक प्रश्‍न के लि‍खि‍त उत्‍तर में यह तो दावा किया कि‍ नई दिल्ली में पिछले दस सालों में कोई नई झुग्गी बस्ती नही बसाई गई लेकिन इसके साथ ही उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि पिछले तीन सालों में एक झुग्गी बस्ती को सूची से हटाया भी नहीं गया है| राज्य मंत्री ने बताया कि नई दिल्ली नगरपालिका परिषद+ दिल्ली शहरी आश्रय सुधार बोर्ड (डीयूएसआईबी)+ राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दि‍ल्‍ली सरकार + दिल्ली छावनी बोर्ड द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक पिछले 10 सालों में दिल्ली में कोई नई झुग्गी बस्ती नही बसी है | पि‍छले तीन वर्षों के दौरान कोई भी क्षेत्र स्लम के रूप में अधिसूचित नहीं कि‍या गया है और न ही सूची से हटाया गया है।
दिल्ली शहरी आश्रय सुधार बोर्ड के अनुमान के अनुसार वर्तमान में 685 झुग्‍गी-झोपड़ी बस्‍ति‍यां हैं, जिसकी‍ आबादी लगभग 20-22 लाख है।

क्रिकेट खेलने के लिए राज्यसभा से छुट्टी क्या मांगी सचिन के साथ रेखा का भी मज़ाक बन गया

राज्य सभा से अधिकाँश एब्सेंट रहने के कारण मनोनित सदस्य क्रिकेटर और अभिनेत्री रेखा का सदन में मज़ाक उड़ाया गया| हुआ यूं कि सचिन तेंडुलकर ने इक्कीस फरवरी से सात मार्च तक राज्यसभा से छुट्टी मांगी । उपसभापति पीजे कुरियन ने १५ मार्च शुक्रवार को राज्यसभा में कहा कि श्री तेंडुलकर ने सदन से १६ दिन एब्सेंट रहने की अनुमति मांगी है। इसके लिए मौजूदा भारत ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट टेस्ट सीरीज में भाग लेने की मजबूरी बताई गई| इस पर सपा के नरेश अग्रवाल ने मजाकिया अंदाज में कहा कि इन दोनों मनोनित सदस्यों को हमेशा के लिए छुट्टी क्यूं नहीं दे दी जाए | ये दोनों सचिन और रेखा तो सदन में आते ही नहीं|

 क्रिकेट खेलने के लिए राज्यसभा से छुट्टी क्या मांगी सचिन के साथ रेखा का भी मज़ाक बन गया

क्रिकेट खेलने के लिए राज्यसभा से छुट्टी क्या मांगी सचिन के साथ रेखा का भी मज़ाक बन गया


सचिन और अभिनेत्री रेखा उच्च सदन में मनोनीत होने के बाद सदन में बहुत कम आए हैं। श्री अग्रवाल की इस टिप्पणी पर अधिकतर सदस्य हंस पड़े।
गौरतलब है कि इन दोनों सदस्यों के मनोनयन के समय भी विरोद्ध हुआ था इसके बावजूद इनकी हाजरी केवल कांग्रेस के पक्ष में वोट देने के लिए ही दर्ज़ की गई है|सम्भवत इसीलिए अज कल कांग्रेस से सेपरेशन पर चल रही समाजवादी पार्टी के सदस्य नरेश अग्रवाल ने उपरोक्त व्यंगात्मक कमेन्ट किया |

संसद ने पाकिस्तान के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पास किया और कहा ,पी ओ के सहित सम्पूर्ण जे & के भारत का अभिन्न अंग है

 संसद ने पाकिस्तान के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पास किया और कहा ,पी ओ के सहित सम्पूर्ण जे & के भारत का अभिन्न अंग है:

संसद ने पाकिस्तान के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पास किया और कहा ,पी ओ के सहित सम्पूर्ण जे & के भारत का अभिन्न अंग है:

पकिस्तान के निचले सदन में कल पास किये गए भारत के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव के जवाब में भारतीय संसद ने भी कडा रुख अख्तियार करते हुए पाकिस्तान के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पारित किया | स्पीकर मीरा कुमार ने निंदा प्रस्ताव पडा और सभी ने मेजें थपथपा कर इसका समर्थन किया|इस प्रस्ताव में पाकिस्तान को चेतावनी दी गई है कि भारत के विरुद्ध आतंकवादी गतिविधियों से अलग रह कर आतंकवाद के विरुद्ध जंग की अपनी वचनबद्धता का पालन करे |इसके अलावा पूरे विस्श्व को भी यह सन्देश दिया गया कि पाक के कब्जे वाले काश्मीर सहित जे &के भारत का अभिन्न अंग है और रहेगा|
इससे पूर्व राज्यसभा में नेता विपक्ष अरुण जेटली ने सरकार से पाकिस्तान के इस प्रस्ताव के खिलाफ संसद में बहस की मांग की |श्री जेटली ने राज्यसभा में कहा कि आधिकारिक तौर पर ये पुष्ट हो गया है कि पाकिस्तान क्या चाहता है| अब समय आ गया है| भारत सरकार को कड़ा फैसला लेना चाहिए। पाकिस्तान से बातचीत का कोई फायदा नहीं है। इस तरह के प्रस्ताव पास करने से दोनों देशों के बीच शांति नहीं बहाल हो सकती है। इसलिए इस मुद्दे पर चर्चा के लिए किसी एक तारीख का चयन कर चर्चा करा लेनी चाहिए। वहीं नेता विपक्ष के चर्चा की मांग पर कांग्रेस के राजीव शुक्ला ने कहा कि सरकार विदेश मुद्दे को लेकर बहस को तैयार है।उन्होंने कहा कि विपक्ष द्वारा तय तारीख पर सरकार बहस के लिए तैयार है। उधर समाजवादी पार्टी के नेता कमाल फारूकी का कहना है कि पाकिस्तान को भारत के अंदरूनी मसले पर दखल देने का कोई हक नहीं है।
वहीं लोकसभा की प्रारम्भिक कार्यवाही को हंगामे के बाद स्थगित करना पड़ा।सपा +बसपा+शिव सेना+भाजपा आदि ने भी मीरा कुमा के प्रस्ताव का समर्थन किया
बीजेपी ने मांग की कि संसद में पाकिस्तान के प्रस्ताव का विरोध होना चाहिए और इस मुद्दे पर बहस कराई जानी चाहिए। यशवंत सिन्हा के अलावा प्रकाश जावडेकर ने भी दोनों सदनों में प्रश्नकाल स्थगित करने का नोटिस दिया।
गौरतलब है कि पाकिस्तान ने अपनी संसद में अफजल को फांसी दिये जाने की निंदा करते हुए एक प्रस्ताव पास किया है |पाकिस्तान की इस हरकत को बीजेपी ने भारत के आंतरिक मामले में हस्तक्षेप बताया है और और संसद से पाकिस्तान को जवाब देने की मांग की है|

पाकिस्तानी संसद ने भारत के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पारित किया : भारतीय संसद में उबाल आया

अन्तराष्ट्रीय छेत्र में भारत की लगातार गिर रही साख से भारतवासियों के दिलों में सुलग रही आग की लपटें विश्व के सबसे बड़े लोक तंत्र के मंदिर

संसद

में भी दिखने लगी हैं|आज शुक्रवार १५ मार्च को संसद के दोनों सदनों में इस विषय को उठाया गया |
संसद पर हमला करने वाले अफजल गुरु की फांसी के विरोध में पाकिस्तानी सरकार ने अपने बचे हुए चंद दिनों को भारत के विरुद्ध इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है इसी कड़ी में कल पाकिस्तान की संसद में भारत के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पारित करवा कर इन शेष दिनों को अगले चुनावों के लिए इन्वेस्ट करना शुरू कर दिया है|
इटली ने भारतीय मछुआरों के दो हत्यारों[नाविक] को शेल्टर दे कर भारतीय संप्रभुता को चुनौती दे दी है| श्रीलंका +नेपाल+चाईना आदि पहले से ही भारत के खिलाफ जहर उगल रहे हैं|

पाकिस्तानी संसद ने भारत के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पारित किया : भारतीय संसद में उबाल आया

पाकिस्तानी संसद ने भारत के विरुद्ध निंदा प्रस्ताव पारित किया : भारतीय संसद में उबाल आया


भाजपा ने इसे लेकर सरकार को घेरना शुरू कर दिया है। राज्यसभा में नेता विपक्ष अरुण जेटली ने सरकार से पाकिस्तान के इस प्रस्ताव के खिलाफ संसद में बहस की मांग की |श्री जेटली ने राज्यसभा में कहा कि आधिकारिक तौर पर ये पुष्ट हो गया है कि पाकिस्तान क्या चाहता है| अब समय आ गया है| भारत सरकार को कड़ा फैसला लेना चाहिए। पाकिस्तान से बातचीत का कोई फायदा नहीं है। इस तरह के प्रस्ताव पास करने से दोनों देशों के बीच शांति नहीं बहाल हो सकती है। इसलिए इस मुद्दे पर चर्चा के लिए किसी एक तारीख का चयन कर चर्चा करा लेनी चाहिए। वहीं नेता विपक्ष के चर्चा की मांग पर कांग्रेस के राजीव शुक्ला ने कहा कि सरकार विदेश मुद्दे को लेकर बहस को तैयार है।उन्होंने कहा कि विपक्ष द्वारा तय तारीख पर सरकार बहस के लिए तैयार है। उधर समाजवादी पार्टी के नेता कमाल फारूकी का कहना है कि पाकिस्तान को भारत के अंदरूनी मसले पर दखल देने का कोई हक नहीं है।
वहीं लोकसभा की प्रारम्भिक कार्यवाही को हंगामे के बाद स्थगित करना पड़ा।
बीजेपी ने मांग की कि संसद में पाकिस्तान के प्रस्ताव का विरोध होना चाहिए और इस मुद्दे पर बहस कराई जानी चाहिए। यशवंत सिन्हा के अलावा प्रकाश जावडेकर ने भी दोनों सदनों में प्रश्नकाल स्थगित करने का नोटिस दिया।
गौरतलब है कि पाकिस्तान ने अपनी संसद में अफजल को फांसी दिये जाने की निंदा करते हुए एक प्रस्ताव पास किया है |पाकिस्तान की इस हरकत को बीजेपी ने भारत के आंतरिक मामले में हस्तक्षेप बताया है और और संसद से पाकिस्तान को जवाब देने की मांग की है|

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं, तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगर शेरो शायरी चल ही निकलती है और जब शेर[ couplet]पड़ने वाले प्रधान मंत्री और प्रमुख विपक्षी नेता हो तो संसद मेजें थपथपा कर और मीडिया प्रस्तुत करके दाद देता रहता है| लोकसभा में ६ मार्च बुधवार को प्रधानमंत्री डाक्टर मनमोहन सिंह और विपक्ष की सदन में नेत्री श्रीमति सुषमा स्वराज के बीच बातचीत शेर-ओ-शायरी के साथ हुई।भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नेता राजनाथ सिंह प्रतीकों और मुहावरों का सहारा लेकर अपने विरुद्ध प्रधानमंत्री के कड़े तेवरों को बुझते दिए की फड़फड़ाती लौ तक कह डाला|
राजनाथ सिंह ने कहा कि उन्होंने बीते नौ साल में पी एम् को इतने आक्रामक तेवर अपनाते नहीं देखा। साथ ही कटाक्ष किया कि वह इसे अच्छा संकेत मानते हैं क्योंकि ये वैसा ही है, जैसे बुझने से पहले दिये की लौ तेज हो जाती है।
इसके अलावा राज्य सभा के सदस्य डाक्टर मनमोहन सिंह ने लोकसभा में आकर विपक्ष की नेत्री श्रीमति सुषमा स्वराज के आरोपों का जवाब शायरी से देकर माहौल को अंत में मनोरंजक बना दिया। भाजपा पर प्रहार करते हुए प्रधानमंत्री ने शेर पढ़ा कि हमें है उनसे वफा की उम्मीद जो नहीं जानते वफा क्या है। इसके बाद श्रीमति सुषमा ने कहा कि उनकी शेर का कर्ज नहीं रखेंगी और एक शेर का जवाब वह दो शेर से देंगी । इस पर लोकसभा अध्यक्षा मीरा कुमार भी चुटकी लेने में पीछे नहीं रही और बोला कि फिर तो उन[पी एम्] पर उधार हो जाएगा। प्रधानमंत्री के जवाब में श्रीमति सुषमा ने दो शेर पढ़े कि कुछ तो मजबूरियां रही होंगी, यूं ही कोई बेवफा नहीं होता और कहा कि वह देश के साथ बेवफाई कर रहे हैं। इसी क्रम में उन्होंने दूसरा शेर पढ़ा कि तुम्हें वफा याद नहीं हमें जफा याद नहीं जिंदगी और मौत के दो ही तराने हैं एक तुम्हें याद नहीं, एक हमें याद नहीं।संसद में चले इस आकस्मिक मुशायरे में दाद देने के नियम का पालन करने से भी सदस्य चूक गए| ये तीनो शेर और प्रतीक अपने आप में काबिले तारीफ़ हैं मगर अधिकाँश सदस्यों ने केवल अपने नेताओं के शेर पर ही मेजें थपथपा कर दाद दी
गौरतलब है कि शुरुआती दिनों में महंगाई+ अपराध +भ्रष्टाचार को लेकर प्रमुख विपक्ष और समान्य विपक्ष के साथ ही सत्ता रुड दल के सदस्यों द्वारा हंगामा मचता रहा | सदन स्थगित होते रहे, कार्यवाही बाधित होती रही |इन गंभीर मुद्दों पर चर्चा के लिए कोई भी गंभीर दिखाई नहीं दिया बेशक शेर अच्छे थे लेकिन |इस मुशायरे का मौजू [विषय]ज्वलंत समयायों पर आधारित होता तो और अच्छा लगता| इसीलिए यह नाचीज यह कहने को मजबूर है कि

 संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

ख़ाक हो जायेंगे हम उनकों यकीन होने तक

प्रधान मंत्री डाक्टर मन मोहन सिंह ने संसद में कृषि क़र्ज़ माफी योजना के कार्यान्वन में घोटालों के आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही का आश्वासन दिया

प्रधान मंत्री डाक्टर मन मोहन सिंह ने संसद में कृषि क़र्ज़ माफी योजना के कार्यान्वन में घोटालों के आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही का आश्वासन दिया

प्रधान मंत्री डाक्टर मन मोहन सिंह ने संसद में कृषि क़र्ज़ माफी योजना के कार्यान्वन में घोटालों के आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही का आश्वासन दिया

कृषि क़र्ज़ माफी योजना के कार्यान्वन पर लगे घोटाले के आरोपों पर तत्काल प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए प्रधान मंत्री डाक्टर मन मोहन सिंह ने राज्यसभा को आश्वस्त किया कि इस मामले में जो भी लोग दोषी पाए जाएंगे उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी, | विपक्ष के साथ सरकार के सहयोगी लालू प्रसाद यादव ने भी सदन में चर्चा कराने और दोषियों के विरुद्ध तत्काल कार्यवाही की मांग उठाई |
सीएजी रिपोर्ट पर आज भी संसद में जोरदार हंगामा हुआ। बीजेपी कार्रवाई शुरू होते ही इस मुद्दे पर दोनों सदनों में प्रश्नकाल रोककर चर्चा की मांग करने लगी। हंगामे की वजह से दो बार राज्यसभा की कार्रवाई स्थगित भी करनी पड़ी।
हंगामे के चलते प्रधानमंत्री ने राज्यसभा में कहा कि इस मामले में जो भी लोग दोषी पाए जाएंगे उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी, वहीं लोकसभा में नेता विपक्ष सुषमा स्वराज ने सीएजी रिपोर्ट पर सरकार पर निशाना साधा और गड़बड़ी के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा कि कर्ज माफी घोटाले से देश शर्मसार हुआ है। दोनों सदनों में चेयर पर्सन ने कैग की रिपोर्ट को पी ऐ सी के समक्ष रखे जाने को आवश्यक बताते हुए इस पर फ़िलहाल चर्चा पर रोक लगाई|परन्तु ही इस विषय में आर बी आई द्वारा जरी दिशा निर्देश और उनकी अवहेलना को बार बार उठाया जाता रहा| वरिष्ठ सदस्य नजमा हेपतुल्लाह ने इस विषय में तत्काल कार्यवाही की मांग उठाई|संजय निरुपम ने जांच के विस्तृत दायरे का हवाला देते हुए सरकर के बचाव का प्रयास किया|
दूसरी तरफ कृषि मंत्री शरद पवार ने कहा है कि कर्ज माफी में किसी तरह की गड़बड़ी नहीं हुई है और अगर किसी तरह की गड़बड़ी पाई गई तो कार्रवाई होगी।

गृहंमत्री सुशील कुमार शिंदे ने राज्यसभा में कहा कि अरुण जेटली के फोन टेपिंग में सरकार का हाथ नहीं

बीजेपी के राज्यसभा में नेता [एडवोकेट]अरुण जेटली के फोन टेपिंग के मामले में केन्द्रीय गृहंमत्री सुशील कुमार शिंदे ने आज १ मार्च , शुक्रवार को संसद में . इस बात से इनकार कर दिया कि जेटली के फोन की टैपिंग हो रही थी|इसके साथ उन्होंने यह भी कहा कि इस मामले में अभी जाँच चल रही है और यह आश्वासन दिया कि मामले के तह तक जरूर जायेंगे| .गृहमंत्री ने कहा कि मामले में सरकार का हाथ नहीं है|
गृहमंत्री ने बताया कि जेटली की कॉल डिटेल्स लीक मामले की जांच दिल्ली पुलिस कर रही है. पुलिस ने 14 फरवरी को इस मामले में केस दर्ज किया था. दिल्ली पुलिस ने जेटली के फोन टैपिंग के मामले में एक कॉन्सटेबल डबास और तीन प्राइवेट जासूसों को गिरफ्तार किया है.|
. उन्होंने कहा कि कॉल डिटेल्स निकालने का आदेश सरकार ने नहीं दिया था|. गाजियाबाद के साहिबाबाद स्थित एक निजी जासूसी एजेंसी के कहने पर कॉन्स्टेबल ने गैरकानूनी तरीके से कॉल डिटेल हासिल करने की कोशिश की| आरोपी अनुराग सिंह का संबंध इसी जासूसी एजेंसी से बताया गया है.
श्री शिंद ने संसद में बताया कि [५] मोबाइल नंबर के कॉल डिटेल्स निकाल गए है. गिरफ्तार कांस्टेबल डबास 1500 रुपये में नीरज को डिटेल्स देता था. नीरज ये जानकारी नीतीश को देता था
.शिंद ने बताया कि कांस्टेबिल डबास एक साल से [अनधिकृत ]गैरहाजिर था. वह 6 महीने से एसीपी की आईडी की फिराक में था. दिल्ली पुलिस के नाम का गलत इस्तेमाल करके कॉल डिटेल्स निकाली गई.
इस मुद्दे पर अपने बयान में उन्होंने आगे कहा कि ‘इस मामले में फोन टेपिंग नहीं बल्कि कॉल रिकॉर्ड हासिल किए गए थे।
लेकिन गृह मंत्री के बयान से सदन के कई नेता असंतुष्ट रहे। बीजेपी नेता वैंकेया नायडू ने आरोप लगाया कि सरकार जासूसी केस को हल्के में ले रही है।उन्होंने पूछा कि सरकार क्या छिपा रही है? उन्होंने टाईम बाउंड इन्क्वायरी और दोषियों के नाम उजागर किये जाने की मांग की|
बीजेपी के प्रवक्ता और राज्यसभा सांसद रविशंकर प्रसाद ने पूछा कि क्या जासूसी एजेंसी ने सरकार से इजाजत ली थी? क्या कोई सरकारी एजेंसी भी जासूसी में शामिल थी? रविशंकर प्रसाद ने यह भी पूछा कि प्राइवेट व्यक्तियों के हाथों में टेप रिकॉर्ड करने वाले यंत्र कैसे गए? उन्होंने कांस्टेबिल डबास की एक साल से अनुपस्थिति और ऐ सी पी की साईट की हैकिंग और उसकू सुरक्षा के लिए सरकार की कार्यवाही पर प्रश्न उठाये |
बीजेपी के अलावा इस इशु को उठाने वाली सपा के नेता नेता प्रो.रामगोपाल ने गृह मंत्री के ब्यान कि आलोचना करते हुए कहा, ‘गृहमंत्री का बयान आधा अधूरा है। किनकी कॉल डिटेल मांगी गई थी, गृहमंत्री ने उनका नाम नहीं बताया। गृह मंत्री जी आपने कोई नहीं जानकारी नहीं दी। आपसे ज्यादा जानकारी तो मीडिया से मिल रही है।उन्होंने मांग की कि फोन टेपिंग के लिए राज्यसभा के सभापति की अनुमति होनी चाहिए। दोनों सदनों के करीब सौ नेताओं के नाम सामने आ रहे हैं, जिनके फोन कॉल डिटेल हासिल किए गए हैं या फोन टेप किए गए हैं।’ सपा नेता रामगोपाल ने गृहमंत्री से यह भी जवाब मांगा कि एक कांस्टेबल को राजनीतिक नेता के कॉल डिटेल की जरूरत क्यों होगी? इसके घटना के पीछे कौन है?

अकाली दल के एन गुजराल ने स्मरण कराया कि एक बार अजित सिंह के फोन टेपिंग की बात उठाने पर तत्कालीन मंत्री हेगड़े ने इस्तीफा दे दिया था|

माया सिंह+शिवा नन्द तिवारी,+नरेश कश्यप+डी राजा संजय सिंह आदि ने भी चर्चा में भाग लेकर अपनी चिंता व्यक्त की |
सीपीएम नेता सीताराम येचुरी ने भी दावा किया कि उनका फोन कॉल भी टेप किया जा रहा है

।इससे पूर्व सपा के नरेश अग्रवाल ने कहा कि यह मामला उनके द्वारा उजागर किया गया था लेकिन उनकी पार्टी को सबसे पहले बोलने दिया जाना चाहिए था

सुशील कुमार शिंदे ने राज्यसभा में नेताओं के सवालों की बौछार के बाद जवाब देते हुए कहा, ‘भारत सरकार किसी भी सांसद को फोन टेप नहीं कर रही है। सरकार ने किसी भी नेता के फोन कॉल के रिकॉर्डिंग की मांग नहीं की थी। सीडीआर (कॉल डिटेल रिकॉर्डिंग) के बारे में कोई कानून नहीं है। इस मामले में अभी तक सिर्फ शुरुआती जांच हुई है।’ गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे ने कहा कि जिनका कॉल डिटेल निकालवाने की कोशश की गई थी वह

( अरुण जेटली) आसान आदमी नहीं है। जब सांसदों ने गृहमंत्री की ‘आसान आदमी’ की टिप्पणी पर चुटकी ली तो उन्होंने जोर देते हुए कहा, ‘मेरा आसान आदमी कहने के पीछे आशय साधारण आदमी से था।’ इस दौरान सदन में विपक्ष के नेता अरुण जेटली मुस्कराते हुए नजर आए।

बेशक पुलिस इस बात का पता कर रही है कि पकड़े गए मास्टर माइंड अनुराग सिंह के क्लाइंट कौन-कौन हैं। पुलिस इस बात का भी पता कर रही है कि इन कॉल डिटेल्स में ज्यादातर नेता सिर्फ बीजेपी के ही क्यों हैं। लेकिन सरकार अभी तक अनुराग के क्लाइंट के नामों खुलासा नहीं पाई है।
जो बात अभी तक उभरकर सामने आई है वो यही है कि अनुराग सिंह ने अरुण जेटली के अलावा 60 अन्य लोगों की भी कॉल डिटेल्स निकलवाई थी। अनुराग एक प्राइवेट जासूसी एजेंसी चलाता है। उसके पिता कस्टम विभाग से सेवानिवृत्त आईजी हैं।एक[१] सिपाही एक साल से ड्यूटी से गायब रहता है बकौल शिवा नन्द तिवारी[2] महंगी गाड़ियों में घूमता है [३]अपने ऐ सी पी की साईट का प्रयोग करता है और [४]गैर कानूनी ढंग से फोन डिटेल्स निकलवाता है|इस पर भी दिल्ली की पोलिस की पकड़ से दूर रहता है इसे पोलिस और सरकार की नाकामी कहा जा सकता है और कांस्टेबिल की योग्यता |