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प्रधानमंत्री ने अपने मन की बात को आगे बढ़ाया और ट्वीट करके नशाखोरी की समस्‍या पर सुझाव मांगे

[नई दिल्ली]प्रधानमंत्री ने अपने मन की बात को आगे बढ़ाया और ट्वीट करके नशा खोरी की समस्‍या पर सुझाव मांगे |
प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने विकराल होते जा रही नशा प्रवृति से निपटने के लिए सुझाव और अनुभव मांगे हैं
प्रधानमंत्री ने ट्वीट करके कहा है
‘ मन की बात ’ कार्यक्रम के दौरान मैंने नशाखोरी की समस्‍या के बारे में मुझे चिट्ठी लिखने वाले कई दोस्‍तों के बारे में बात की थी। मैंने कहा था कि मैं अगले कार्यक्रम में इस बारे में बात करुंगा। नशाखोरी की समस्‍या से निपटने के मुद्दे पर मैं आपको सुझाव साझा करने के लिए आमंत्रित करता हूं। यदि आपने इस क्षेत्र में काम किया है तो कृपया अपने अनुभवों को साझा करें। इस क्षेत्र में काम करने वाले गैर सरकारी संगठनों (एनजीओ) से भी मैं अपने अनुभवों को साझा करने का आह्वान करता हूं।आज योग गुरु बाबा राम देव ने राजनीती में गुरु बन कर उभरे पी एम नरेंद्र मोदी से मुलाकात की समझा जा रहा है के इन दोनों समाज सेवी नेताओं मेंयोगको बढ़ाव देने+ब्लैकमनी और नशा खोरी को समाप्त करने पर चर्चा हुई |
प्रधानमंत्री ने ट्वीट्स की एक शृंखला में कहा ‘‘यदि आपके व्‍यक्तिगत अनुभव हैं और आप उसे सार्वजनिक रूप से साझा नहीं करना चाहते हैं तो कृपया आप इन अनुभवों के बारे में http://pmindia.gov.in/en/interact-with-honble-pm/ पर # मन की बात हैशटैग का इस्‍तेमाल करके मुझे सीधे लिख सकते हैं।
फोटो कैप्शन
Baba Ramdev calling on the Prime Minister, Shri Narendra Modi, in New Delhi on November 04, 2014.

ब्लैकमनी आर्टिकल ऑफफेथ है जिसे विदेशों से लाना मेरा कमिटमेंट है:नरेंद्रमोदी के”मन की बात”

ब्लैकमनी मेरे लिए आर्टिकल ऑफफेथ है इसे विदेशों से वापिस लाना मेरा कमिटमेंट है:नरेंद्रमोदी के “मन की बात”भारत के पी एम नरेंद्र मोदी ने रेडियो पर “मन की बात” में जहां अपने पहले रेडियो सम्बोधन की सफलता ,विशेष रूप से खादी उपयोग और स्वच्छता अभियान में बढ़ रही जन भागेदारी के लिए धन्यवाद दिया तो इसके साथ ही उन्होंने अगले कार्यक्रम में युवाओं में बढ़ रही नशाप्रवृति पर बात करने का आश्वासन भी दिया लेकिन इस सब के बावजूद पीएम ने इस माध्यम से विदेशीबैंकों मे जमा भारतीयों की ब्लैकमनी की वापिसी पर उनकी सरकार की नियत पर उठाये जा रहे सवालों का उत्तर भी दिया दिवाली की शुभकामनाओं के साथ प्रारम्भ किये सम्बोधन में देश में नकारात्मक सोच को बदलने पर जोर दिया
,उन्होंने बताया के “मैंने पिछली बार कहा था, कम से कम एक खादी का वस्त्र ख़रीदिये । मैंने किसी को खादीधारी बनने के लिये नहीं कहा था । लेकिन मुझे खादी भण्डार वालों से जानकारी मिली कि एक सप्ताह में करीब करीब सवा सौ परसेन्ट हंड्रेड एंड ट्वेंटी फाइव परसेन्ट बिक्री में वृद्धि हो गयी । एक प्रकार से पिछले वर्ष की तुलना में 2 अक्तूबर से एक सप्ताह में डबल [१२५%] से भी ज्यादाखादी की बिक्री हुई । इसका मतलब यह हुआ कि देश की जनता हम जो सोचते हैं, उससे भी कई गुना आगे है “।
स्वछता अभियान के प्रति बोलते हुए उन्होंने बताया के “कोई कल्पना कर सकता है कि सफाई ऐसा जन आन्दोलन का रूप ले लेगा । अपेक्षायें बहुत हैं, और होनी भी चाहिये । और एक अच्छा परिणाम मुझे नज़र आ रहा है, सफाई अब दो हिस्सों में देखी जा रही है । एक जो पुरानी गन्दगी है, जो गन्दगी के ढ़ेर हैं, उसको सरकारी तंत्र…शासन में बैठे हुए लोग उसके लिये क्या उपाय करेंगे । बहुत बड़ी चुनौती है लेकिन ! आप जिम्मेवारी से भाग नहीं सकते । सभी सरकारों ने सभी म्यूनिसिपैलिटीज़ ने, इस जिम्मेवारी के लिये कदम उठाने ही पड़ेंगे क्योंकि जनता का दबाव बढ़ने वाला है । और मीडिया भी इसमें बहुत अच्छी भूमिका निभा रहा है ।
लेकिन जो दूसरा पहलू है जो बहुत ही उमंग वाला है, आनन्द वाला है और मन को संतोष देने वाला है । सामान्य मानव को लगने लगा है कि चलो पहले की बात छोड़ो, अब गंदगी नहीं करेंगे । हम नई गंदगी में इज़ाफ़ा नहीं करेंगे । मुझे सतना, मध्यप्रदेश के, कोई श्रीमान् भरत गुप्ता करके हैं, उन्होंने मेरे mygov पर एक मेल भेजा । उन्होंने अपना…रेलवे में दौरा जा रहे थे, उसका अपना अनुभव कहा…उन्होंने कहा कि साहब मैं पहले भी रेलवे में जाता था, इस बार भी रेलवे में गया लेकिन मैं देख रहा हूं कि रेलवे में हर पैसेन्जर…रेलवे में लोग खाते-पीते रहते हैं, कागज-वागज फेंकते रहते हैं…बोले कि कोई फेंकता नहीं था, इतना ही नहीं, ढूंढ़ते थे कि डिब्बे में कहीं डस्टबिन है क्या, कूड़ा कचरा उसमें डालें । और जब देखा कि भई रेलवे में ये व्यवस्था तो नहीं है तो उन्होंने खुद ने कोने में ही सब लोगों ने अपना कूड़ा कचरा इकट्ठा कर दिया । बोले ये मेरे लिये बहुत ही सुखद अनुभव था ।” सैंकड़ों परिवार ये बात की चर्चा करते हैं कि बच्चा अभी कहीं चॉकलेट खाता है तो कागज तुरन्त उठा लेता है ।
पी एम ने बताया के एच.आर.डी. मिनिस्ट्री के अफसरों ने मिल करके एक योजना बनाई । उच्च शिक्षा के लिए इच्छुक एक हजार अच्छे स्पेशली-एबल्ड चाइल्ड को पसन्द करके उनको स्पेशल स्कॉलरशिप देने की उन्होंने योजना बनाई गई है ।इसके अनुसार देश भर में केन्द्रीय विद्यालय और सैन्ट्र्ल यूनिवर्सिटीज में स्पेशली-एबल्ड बच्चों के लिये आवश्यक इन्फ्रास्ट्र्क्चर[ट्राइसाइकल +ट्रैक+ टॉयलेट]के लिए एक लाख रूपये विशेष दिया जायेगा
उन्होंने सियाचिन में दिवाली मनाने के अनुभव भी साँझा किये उन्होंने बताया के “आज मुझे एक और गर्व की बात कहनी है । हमारे देश के जवान सुरक्षा के क्षेत्र में काम करते हैं । प्राकृतिक आपदा के समय जान की बाजी लगाकर हमारी रक्षा करने के लिए कोई भी साहस करने को तैयार हो जाते हैं । खेल-कूद में भी हमारे देश के जवान भारत का गौरव बढाते रहते हैं । आपको जानकर के खुशी होगी कि हमारे सेना के कुछ खिलाडियों ने ब्रिटेन में आयोजित एक बहुत ही प्रस्टीजियस, कम्ब्रिअन पेट्रोल की एक स्पर्धा होती है, करीब 140 देशों को पीछे छोडकर के हमारे इन जवानों ने गोल्ड मैडल दिलाया देश को । मैं इन जवानों का विशेष रूप से अभिनन्दन करता हॅूं ।”
ब्लैक मनी पर बोलते हुए पी एम ने कहा ” मैं देशवासियों को, और मैं सच में मन से कहना चाहता हूँ और मेरे मन की बात है । और मुझे विश्वास है, देशवासियों को मेरे शब्दों पर बहुत भरोसा है, मेरे इरादों पर भरोसा है । लेकिन आज एक बार फिर मैं उसको अपनी तरफ से दोहराना चाहता हॅूं । जहां तक काले धन का सवाल है, ब्लैक मनी का सवाल है, मेरे देशवासी, आपके इस प्रधान सेवक पर भरोसा कीजिये, मेरे लिये ये आर्टिकल ऑफ फेथ है । भारत के गरीब का जो पैसा जो बाहर गया है वो पाई-पाई वापिस आनी चाहिए, ये मेरा कमिटमेंट है । रास्ते क्या हो, पद्धति क्या हो, उसके विषय में, मतभिन्नता हो सकती है । और लोकतंत्र में स्वाभाविक है लेकिन मेरे देशवासी मुझे जितनी समझ है और मेरे पास जितनी जानकारी है उसके आधार पर मैं आपको विश्वास दिलाता हॅूं कि हम सही रास्ते पर हैं । आज तो किसी को पता नही है, न मुझे पता है, न सरकार को पता है, नआपको पता है, न पहले वाली सरकार को ही पता था कि कितना धन बाहर है । हर कोई अपने अपने तरीके से, अलग-अलग आंकडे बताते रहते हैं । मैं उन आंकडों में उलझना नहीं चाहता हॅूं , मेरी प्रतिबद्धता ये है, दो रूपया है, पांच रूपया है, करोड है, अरब है कि खरब है जो भी है । ये देश के गरीबों का पैसा है, वापिस आना चाहिए । और मैं आपको विश्वास दिलाता हॅूं , मेरे प्रयासों में कोई कमी नहीं रहेगी । कोई कोताही नहीं बरती जायेगी । आम जन की भावनाओं का आदर करते हुए पी एम ने भारत गुप्ता के साथ ही अभिषेक पारीख का भी उल्लेख किया
नरेंद्र मोदी ने अपनी आदत के अनुसार मौसम पर भी उपदेश दिया” अब मौसम बदल रहा है । धीरे-धीरे ठंड की शुरूआत हो रही है । स्वास्थ्य के लिये बहुत अच्छा मौसम होता है । कुछ लोगों के लिये मौसम खाने के लिये बहुत अच्छा होता है । कुछ लोगों के लिये अच्छे-अच्छे कपडे पहनने के लिये होता है । लेकिन इसके साथ-साथ स्वास्थ्य के लिये भी बहुत अच्छा मौसम होता है । इसे जाने मत दीजिये । इसका भरपूर उपयोग कीजिये ।”