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मोदीभापे !मुल्क में तंत्र के लिए ही अब लोक जिंदा है

विभाजन पश्चात विभीषिका की स्मृतियां

दिल के फफोले

मोदीभापे !

लोकतंत्र के जुमले से अब ‘लोक’ हटा लो,

मुल्क में तंत्र के लिए ही अब लोक जिंदा है

रिहैबिलिटेशन क्लेम