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गृह मंत्री राजनाथ सिंह की स्पोर्ट में पी एम ओ के बाद अब भाजपा अध्यक्ष भी आये

amit shah President of b j pकेंद्रीय गृह मंत्री राज नाथ सिंह के स्पोर्ट में पी एम ओ के बाद अब भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह भी आ गए हैं
भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने प्रेस विज्ञप्ति जारी करके कहा है कि श्री राजनाथ सिंह का राजनैतिक जीवन शालीनता, सौम्यता और शुचिता का प्रतीक है। अतः उनके संदर्भ में प्रचारित किये गये आरोप आधारहीन+तथ्यहीन +पार्टी की छवि को धूमिल करने की दुर्भावना से प्रेरित हैं। “मैं इसकी घोर निन्दा करता हूं और व्यक्तिगत रूप से भी इस घटना से आहत महसूस करता हूं।” उन्होंने कहा कि इस प्रकार के प्रयास नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी की सरकार के विकास के एजेंडा को जनता की नजरों से नजरन्दाज कराने में सफल नहीं हो सकेंगे।
अमित शाह ने कहा कि सभी मंत्रियों का आचरण उच्च कोटि का और उनकी सत्यनिष्ठा असंदिग्ध है। उनके बारे में ऐसे सभी प्रचार निराधार और भ्रामक हैं।
श्री राजनाथ सिंह के पुत्र पंकज सिंह जो कि वर्तमान में उत्तर प्रदेश भाजपा के महासचिव हैं, विगत 10 वर्षों से उत्तर प्रदेश भाजपा में एक निष्ठावान कार्यकर्ता के रूप में भिन्न-भिन्न दायित्वों का निर्वहन कर चुके हैं।
इस संदर्भ में प्रधानमंत्री के कार्यालय एवं स्वयं गृह मंत्री के द्वारा स्थिति स्पष्ट की जा चुकी है। अमित शाह ने मीडिया कि आलोचना करते हुए कहा कि मीडिया के एक वर्ग में केंद्र सरकार के कुछ मत्रियों के बारे में इस तरह की अनर्गल और बेबुनियाद चर्चाएं विगत कुछ समय से प्रचारित की जा रही हैं। “उन्होंने मीडिया भ्रामक दुष्प्रचार से प्रभावित न होने और तथ्यात्मक विवेचना के उपरांत ही अपनी अभिव्यक्ति करने का अनुरोध किया |
इससे पूर्व गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने अपने या अपने परिवार की ओर से किए गए कदाचार की अफवाहों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि अगर ऐसे आरोप प्रथम द्रष्ट्या साबित हो गए तब वह राजनीति छोड़ देंगे और घर बैठ जायेंगे।
राजनाथ ने कहा कि उनके परिवार की ओर से कथित कदाचार की अफवाह पिछले पखवाड़े से फैलायी जा रही है।
प्रधानमंत्री कार्यालय ने भी गृह मंत्री राजनाथ सिंह के बेटे पंकज सिंह के ‘‘कथित कदाचार’’ संबंधी खबरों को आज खारिज करते हुए उन्हें ‘सफेद झूठ’ और सरकार की छवि को खराब करने और देश के लिए घातक दुर्भावनापूर्ण प्रयास बताया

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं, तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगर शेरो शायरी चल ही निकलती है और जब शेर[ couplet]पड़ने वाले प्रधान मंत्री और प्रमुख विपक्षी नेता हो तो संसद मेजें थपथपा कर और मीडिया प्रस्तुत करके दाद देता रहता है| लोकसभा में ६ मार्च बुधवार को प्रधानमंत्री डाक्टर मनमोहन सिंह और विपक्ष की सदन में नेत्री श्रीमति सुषमा स्वराज के बीच बातचीत शेर-ओ-शायरी के साथ हुई।भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नेता राजनाथ सिंह प्रतीकों और मुहावरों का सहारा लेकर अपने विरुद्ध प्रधानमंत्री के कड़े तेवरों को बुझते दिए की फड़फड़ाती लौ तक कह डाला|
राजनाथ सिंह ने कहा कि उन्होंने बीते नौ साल में पी एम् को इतने आक्रामक तेवर अपनाते नहीं देखा। साथ ही कटाक्ष किया कि वह इसे अच्छा संकेत मानते हैं क्योंकि ये वैसा ही है, जैसे बुझने से पहले दिये की लौ तेज हो जाती है।
इसके अलावा राज्य सभा के सदस्य डाक्टर मनमोहन सिंह ने लोकसभा में आकर विपक्ष की नेत्री श्रीमति सुषमा स्वराज के आरोपों का जवाब शायरी से देकर माहौल को अंत में मनोरंजक बना दिया। भाजपा पर प्रहार करते हुए प्रधानमंत्री ने शेर पढ़ा कि हमें है उनसे वफा की उम्मीद जो नहीं जानते वफा क्या है। इसके बाद श्रीमति सुषमा ने कहा कि उनकी शेर का कर्ज नहीं रखेंगी और एक शेर का जवाब वह दो शेर से देंगी । इस पर लोकसभा अध्यक्षा मीरा कुमार भी चुटकी लेने में पीछे नहीं रही और बोला कि फिर तो उन[पी एम्] पर उधार हो जाएगा। प्रधानमंत्री के जवाब में श्रीमति सुषमा ने दो शेर पढ़े कि कुछ तो मजबूरियां रही होंगी, यूं ही कोई बेवफा नहीं होता और कहा कि वह देश के साथ बेवफाई कर रहे हैं। इसी क्रम में उन्होंने दूसरा शेर पढ़ा कि तुम्हें वफा याद नहीं हमें जफा याद नहीं जिंदगी और मौत के दो ही तराने हैं एक तुम्हें याद नहीं, एक हमें याद नहीं।संसद में चले इस आकस्मिक मुशायरे में दाद देने के नियम का पालन करने से भी सदस्य चूक गए| ये तीनो शेर और प्रतीक अपने आप में काबिले तारीफ़ हैं मगर अधिकाँश सदस्यों ने केवल अपने नेताओं के शेर पर ही मेजें थपथपा कर दाद दी
गौरतलब है कि शुरुआती दिनों में महंगाई+ अपराध +भ्रष्टाचार को लेकर प्रमुख विपक्ष और समान्य विपक्ष के साथ ही सत्ता रुड दल के सदस्यों द्वारा हंगामा मचता रहा | सदन स्थगित होते रहे, कार्यवाही बाधित होती रही |इन गंभीर मुद्दों पर चर्चा के लिए कोई भी गंभीर दिखाई नहीं दिया बेशक शेर अच्छे थे लेकिन |इस मुशायरे का मौजू [विषय]ज्वलंत समयायों पर आधारित होता तो और अच्छा लगता| इसीलिए यह नाचीज यह कहने को मजबूर है कि

 संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

संसद चले या ना चले बजट सत्र में बिजनेस हो या न हो मगरएक नहीं तीन- तीन शेर[ couplet] तो चल ही निकले

ख़ाक हो जायेंगे हम उनकों यकीन होने तक

राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्‍ताव ध्वनि मत से पारित :पी एम् ने हैट्रिक बनाने का दावा किया

राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्‍ताव पर लोकसभा में बयान देते हुए प्रधान मंत्री डाक्टर मनमोहन सिंह आज बुधवार ६ मार्च को आक्रामक रुख दिखाते हुए मुख्‍य विपक्षी बीजेपी पर जमकर निशाने साधे लेकिन इसके साथ ही संसद की उबाऊ कार्यवाही में शायरी के रोचकता भी भर दी| पीएम ने शुरुआत एक शेर से की तो बीजेपी की नेत्री श्री मति सुषमा स्वराज ने भी इसका उधार चुकता कर दिया उन्होंने एक ही नहीं बल्कि दो-दो शेर शेर सुनाये |लेकिन दुर्भाग्य से डाक्टर मन मोहन सिंह और सुषमा स्वराज के शेरों पर केवल उनकी पार्टी के ही सदस्यों ने मेजें थपथपा कर दाद दी|
राष्‍ट्रपति के अभिभाषण पर बहस प्रस्‍ताव के बाद लोकसभा में बयान देते हुए डाक्टर मनमोहन सिंह ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, ‘जो गरजते हैं वो बरसते नहीं।’ उन्‍होंने दावा किया कि यूपीए का राज एनडीए से बेहतर रहा है। आर्थिक सुधार की कोशिश जारी है। इसके लिए निवेश को बढ़ावा देना होगा। 2009 में यूपीए की दूसरी पारी शुरू होने के बाद से ही सरकार 8 % का विकास दर बरकरार रखा है। एनडीए के शासनकाल में यह महज छह % रही है। बाकी सरकारों की तुलना में यूपीए की विकास दर अच्‍छी रही है। इस प्रकार केप्रत्येक दावे पर सदस्यों ने मेज थपथपाई |
मनमोहन सिंह ने यूपीए राज में गरीबी कम होने का दावा भी किया| शिक्षा का अधिकार को उन्होंने यूपीए सरकार की बड़ी उपलब्धि बताया | सरकार महिलाओं की सुरक्षा के प्रति बेहद गंभीर है। उन्‍होंने विपक्ष को आड़े हाथ लेते हुए कहा, ‘2004 में इंडिया शाइनिंग फेल रहा है। हमें बीजेपी के स्तर पर उनकी भाषा में जवाब नहीं देना है। बीजेपी ने हमारे खिलाफ एक ‘आयरन मैन’ [एल के अडवाणी]को चुनाव में उतारा और कहा गया कि मनमोहन सिंह कमजोर प्रधानमंत्री हैं। लेकिन जो हश्र हुआ, वह हमारे सामने है। बीजेपी इसी तरह अहंकार दिखाती रही तो 2014 में भी उसका सफाया हो जाएगा। उन्होंने तीसरी बार यूं पी ऐ को सत्ता में आने का दावा भी किया

राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्‍ताव ध्वनि मत से पारित :पी एम् ने हैट्रिक बनाने का दावा किया

राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्‍ताव ध्वनि मत से पारित :पी एम् ने हैट्रिक बनाने का दावा किया


राष्ट्रपति के अभिभाषण पर बुधवार को बोलते हुए प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा कि देश में रोजगार के अवसरों को बढ़ाना हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि वर्ष 2012 में देश का विकास दर कम रही जिसे बढ़ाना होगा तथा आठ प्रतिशत का विकास दर हासिल करना हमारा लक्ष्य होना चहिए।
बीजेपी पर वार करते हुए उन्होंने कहा कि जो गरजते हैं, वे बसरते नहीं। उन्होंने भाजपा को समर्पित एक शेर पड़ा

हम को है उनसे वहा की उम्मीद जो नहीं जानते वहा क्या है|

इसके उत्तर में सुषमा स्वराज ने दो शेर सुनाये

कुछ तो मजबूरियां रही होगी, यूं ही कोई बेवफा नहीं होता

उन्होंने एक और शेर पढ़ा, ‘‘

तुम्हें वफा याद नहीं, हमें जफा याद नहीं। जिन्दगी और मौत दो ही तो तराने हैं, एक तुम्हें याद नहीं एक हमें याद नहीं

भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने भी कहा कि उन्होंने नौ साल में मनमोहन सिंह को इतने आक्रामक तेवर अपनाते नहीं देखा। साथ ही कटाक्ष किया कि वह इसे अच्छा संकेत मानते हैं क्योंकि ये वैसा ही है,

जैसे बुझने से पहले दिए की लौ तेज हो जाती है।

विपक्ष के संशोधनों को निरस्त करते हुए ध्वनि मत से राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्‍ताव को पारित कर दिया गया |

मुलायम सिंह यादव , लोक सभा में दो विपरीत दिशाओं वाली पार्टियों को अपनी साइकिल पर सवार करने के इच्छुक दिखे

.समाज वादी पार्टी सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव आज लोक सभा में दो विपरीत दिशाओं वाली राजनीतिक पार्टियों को अपनी साईकिल पर सवार करने के इच्छुक दिखाई दिए| मुलायम सिंह यादव ने भाजपा अध्यक्ष राज नाथ सिंह के बाद बोलना शुरू ही किया तो विघ्न पड़ने शुरू हो गए|सबसे पहले जनरल सेक्रेटरी बोलने खड़े हो गए|उसके बाद चेयर पर्सन बदल गए|जैसे तैसे मुलायम सिंह यादव ने ट्रांसलेट करने वाले स्पीकर[हेड फ़ोन ] उतार कर बोलना शुरू कर दिया| यदपि उन्होंने कांग्रेस और भाजपा की आलोचना की मगर इसके साथ ही बड़ी सफाई से उन्होंने दोनों को सहला भी दिया|
एक तरफ उन्होंने गृह मंत्रालय पर टिपण्णी करके अपनी पीड़ा को उजागर किया तो इसके साथ ही प्रधान मंत्री की टीम के अर्थ शास्त्र की उन्मुक्त सराहना भी कर दी|दूसरी तरफ भाजपा को मुस्लिम विरोधी बताया तो इसके तुरंत बाद भाजपा की देश भक्ति+अनुशासन और भाषा की जम कर तारीफ़ करने लगे|
गौरतलब है के अभी तक मुलायम सिंह यादव भारतीय जनता पार्टी के साथ आने के सवालों को एक सिरे से खारिज करते रहे हैं और पार्टी का विरोध करते आ रहे हैं| आज इस मुख्य विपक्षी पार्टी के प्रति इनका रुख कुछ हद तक नरम दिखाई दिया है|उन्होंने यहाँ तक कह दिया के बीजेपी अगर कश्मीर और मुस्लिम सम्बन्धी अपनी नीति बदल ले तो सपा से बीजेपी के बीच की दूरी कम हो जाएगी|मुलायम ने कहा कि देशभक्ति, सीमा सुरक्षा और भाषा के मामले में उनकी पार्टी और भाजपा की एक नीति है.|

.समाज वादी सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव , लोक सभा में दो विपरीत दिशाओं वाली पार्टियों रूपी नावों में सवार होने के इच्छुक दिखाई दिए

.समाज वादी सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव , लोक सभा में दो विपरीत दिशाओं वाली पार्टियों रूपी नावों में सवार होने के इच्छुक दिखाई दिए


मुलायम सिंह ने अपनी बातों पर एक बार फिर जोर देते हुए कहा, ‘मैं फिर कह रहा हूं और इस सदन में कह रहा हूं कि बीजेपी अपनी नीति बदल रही.है|
राजनाथ सिंह ने मौके को लपकते हुए इसके जवाब में कहा कि हमारे और आपके बीच दूरी कहां है?अगली बार आप निश्चित तौर पर हमारे साथ होंगे.इससे पूर्व भाजपा अध्यक्ष ने समाज वाद की प्रशंसा भी की थी|.
अगर मुलायम सिंह यादव के इस बयान पर गौर किया जाए तो आने वाले समय के राजनीतिक समीकरण का अनुमान लगाया जा सकता है सपा सुप्रीमो ने यह मान लिया है के कांग्रेस के बाद प्रदेश में अपनीसरकार और सी बी आई के डंडे से सवयम को बचाने के लिए एक सशक्त समर्थक बेहद जरुरी है|इसके अलावा प्रधान मंत्री की कुर्सी पर भी नज़र है ऐसे में भाजपा का विरोध कुछ हद तक कम किया ही जा सकता है|