[मेरठ,यूपी]छावनी परिषद् ने पैंठ व्यापारियों के अतिक्रमण से अपनी बेशकीमती भूमि मुक्त कराई
छावनी परिषद् ने समय रहते पैंठ व्यापारियों से आज अपनी बेशकीमती भूमि मुक्त कराई
आज सुबह बढ़ी संख्या में लोगों ने मुस्लिम बाहुल्य जली कोठी के समीप दिल्ली रोड पर बल्ली+तम्बू गाढ़ कर अनगिनत दुकाने खडी कर ली
इस खबर से छावनी परिषद् के अधिकारियों की समय रहते नींद टूटी और सेना के साथ स्थानीय पुलिस को लेकर मौके पर पहुँच गए |
और सैन्य भूमि को अवैध कब्जे से मुक्त कराया |
प्राप्त जानकारी के अनुसार लीगल कोर्ट के आदेशानुसार शहर को अवैध पैंठों के जंजाल से मुक्त कराया गया
और शहर से उजड़े पैंठ व्यापारियों ने छावनी छावनी की बेशकीमती जमीन पर कब्ज़ा जमा लिया
गौरतलब हे के मेरठ के कैंटोनमेंट बोर्ड पर छावनी में भूमि का अतिक्रमण कराने +अवैध निर्माण में सहयोग करने के आरोप लगते रहे हैं
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छावनी परिषद् ने पैंठ व्यापारियों के अतिक्रमण से अपनी बेशकीमती भूमि मुक्त कराई
मेरठ का अनाधिकृत२१०बी मथुरा के जवाहर बाग़ की तरह जलने से बचा:ध्वस्तीकरण टाला
[मेरठ,यूपी]मेरठ का अनाधिकृत २१०बी मथुरा के जवाहर बाग़ की तरह जलने से बचा
छावनी के सदर थाना के अंतर्गत घंटाघर के ठीक सामने स्थित विशाल कोठी संख्या २१० बी में अनाधिकृत निर्माण को तोड़ने के लिए प्रशासन बिना पूरी तैयारी के पहुँच गया |छेत्र वासी बड़ी संख्या में विरोध में सामने आ गए| ध्वस्तीकरण अभियान को ईद तक टालने की घोषणा करके अधिकारी अपने कार्यालयों में लौट गए|
201बी जहां कभी डी ऐ वी स्कूल हुआ करता था +हरियाला बाग़ हुआ करता था ,वहां अब आरआर माल+और अनाधिकृत भवन बने हुए है |न्यायालयों में ये लोह केस हार चुके हैं और निर्माण के ध्वस्तीकरण के आदेश दिए जा चुके हैं |अनेको बार मौके का मुआयना हो चूका है यहां तक के ड्रोन से फोटोग्राफी भी करवा ली गई है |अनेकों बार ध्वस्तीकरण की कार्यवाही के लिए अभियान चलने की घोषणा भी की जा चुकी है लेकिन हरबार व्यवस्था खली हाथ ही लौटती रही है १९ जून को भी इसीकी पुनरावृति हुई| छेत्र वासी बड़ी संख्या में वहां मौजूद थे जिनका सामना करने के लिए पर्याप्त फ़ोर्स नहीं थी |यदि कार्यवाही होती तो शायद मथुरा के जवाहर बाग़ की तरह यहां भी टकराव हो सकता था लेकिन फ़िलहाल ध्वस्तीकरण की कार्यवाही को ईद तक टाल दिया गया है |
रक्षा मंत्री के स्वागत के लिए कैण्ट बोर्ड,बिना सरकार,ज्यादा चुस्ती+फुर्ती दिखा रहा है
[मेरठ]रक्षा मंत्री के स्वागत के लिए कैण्ट बोर्ड,बिना सरकार,ज्यादा चुस्ती+फुर्ती दिखा रहा है कैंट बोर्ड एक महीने से बिना सरकार अर्थार्त बिना निर्वाचित बोर्ड के चल रहा है चूँकि चुने गए नए सदस्यों का अभी तक नोटिफिकेशन पब्लिश नही हुआ है सो उन्हें शपथ भी नहीं दिलाई जा सकी है | कैंट बोर्ड के चुनाव हुए एक पूरा महीना बीत गया लेकिन हमेशा की तरह रक्षा मंत्रालय द्वारा अधिसूचना जारी नही की जा सकी है |सदस्यों से पूछने पर एक ही रटा रटाया उत्तर आता है कि ये कोई नई बात नहीं है लास्ट टाइम भी एक महीने के बाद ही गजट नोटिफिकेशन हुआ था इसी बीच निर्वाचित सदस्यों के खरीद फरोख्त की खबरें भी लीक होती रहती हैं |सम्भवत उपाध्यक्ष के चयन के लिए हो रही जोड़ तोड़ को फाइनालाईज करने के लिए कुछ और समय की दरकार हो सकती है |इसीलिए सदस्यों द्वारा कोई दबाब नहीं बनाया जा रहा |विभिन्न राजनितिक दलों से जुड़े सदस्य चुन कर आये हैं मगर चुनावों के पश्चात सरकार के गठन के प्रति उनकी उदासीनता जग जाहिर है यहां यह भी बताते चलें कि छेत्र विधायक+सांसद द्वारा अपनी निधि का इस्तेमाल यहां के विकास के लिए किया हो उसका कहीं कोई विशेष उल्लेख नहीं मिलता|
इस ऐतिहासिक कैंट बोर्ड में चुनी हुई सरकार नहीं है मगर सेना का डंडा बदस्तूर चल रहा है |आबू नाले पर वैकल्पिक पार्किंग प्रोजेक्ट हो या फिर पूर्व में कब्जाए गए बहुमूल्य बँगला १७३+१८० के सद्युपयोग को दिखाने की कवायद जारी है |यहां तक कि दशकों से मुँह बाये खड़ी फाजलपुर नाले की समस्या को भी हल करने के दावे आने लग गए हैं | बोर्ड के सीईओ डा. डीएन यादव और उनका विशेष स्टाफ स्टाफ के निरीक्षण करते देखे जा सकते हैं |बोर्ड में स्टाफ रिक्तियों को भरने के भी दावे किये जाने लगे हैं |
यहां यह कहना जरूरी है कि अवैध कब्जे और अतिक्रमण की जद में पूरा कैण्ट विशेष रूप से अंदरूनी इलाके कराह रहे है|
सेंट्रल पार्किंगको लेकर व्यापारी आमने सामने आने को तैयार बैठे हैं |छोटे ठेले +खोमचे वाले आये दिन धकियाए जा रहे हैं+लठियाए जा रहे हैं |जानकारों का मानना है कि २१ जून को केंद्रीय रक्षा मंत्री का दौरा है |मनोहर पर्रिकर सैन्य छेत्र में अंतराष्ट्रीय योग दिवस में भाग लेने आ रहे हैं शायद उसी को लेकर बिना सरकार का कैण्ट बोर्ड ज्यादा चुस्ती+फुर्ती दिखा रहा है
सेना की संगीनों के साये में छावनी परिषद के पीले पंजे ने दशकों से लग रही सदर सब्ज़ी मंडी को भी ध्वस्त किया
[मेरठ] सेना की संगीनों के साये में छावनी परिषद का पीला पंजा और हथौड़ा आज एक और सब्ज़ी मंडी पर चल गया |सिविल मामलों में सेना के इस तरह से प्रयोग का सभी तरफ विरोध हो रहा है|
अपने पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार छावनी परिषद ने सदर सब्जी मंडी में अतिक्रमण ध्वस्तीकरण अभियान चलाया|इस दौरान अनेकों ठाणे की पोलिस और सेना के त्वरित एक्शन फ़ोर्स[QRT ]की मदद से ठेले+अनधिकृत फड़ दुकानों को हटाया गया और नाले पर बनीदुकानों को ध्वस्त किया गया |छावनी परिषद के बुलडोजरों ने एक एक करके अनधिकृत टिन शेड ढाने शुरू किये |जिसे देखकर दुकान दार खुद ही अपना सामान बटोरने लगे|गौरतलब है कि इससे पूर्व लालकुर्ती कि सब्जी मंडी को भी इसीप्रकार हटाया गया और आधे अधूरे बकरी लेन में शिफ्ट कराया गया |जिसका विरोध अभी भी जारी है|
दुकानदारों ने कैंट बोर्ड के पूर्व उपाध्यक्ष और बसपा नेता सुनील वाधवा के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। कुछ देर बाद वहां सांसद राजेंद्र अग्रवाल भी पहुंच गए। उनका भी दुकानदारों ने विरोध किया। सांसद ने दुकानदारों को आश्वासन दिया कि यदि कैंट बोर्ड उन्हें सुविधा नहीं देता, तो वह उनकी लड़ाई लड़ेंगे।
गौरतलब है कि लालकुर्ती की तरह ही यहाँ सदर में भी अधिकारी गण आश्वासन देते रहे और कुछ व्यापारी और राजनितिक नेता गण मीडिया के कैमरे के सामने आकर विरोध दर्ज करने की औपचारिकता पूरी करते रहे|
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