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मोदी सरकार के खिलाफ”अविश्वास प्रस्ताव”पर लोकसभा में 20 जुलाई को चर्चा

[नई दिल्ली] मोदी सरकार ने वर्षा सत्र के पहले दिन ही कांग्रेस नीत विपक्ष के #अविश्वास प्रस्ताव को स्वीकार करके सूखे की संभावनाओं को दरकिनार किया |हंगामों के खतपतवार समाप्त किये और अच्छी सियासी फसल के लिए जमीन तैयार की
सरकार के खिलाफ इस अविश्वास प्रस्ताव पर लोकसभा में 20 जुलाई को होगी
पिछले चार वर्षो में विपक्ष की ओर से नरेंद्र मोदी नीत राजग सरकार के खिलाफ पेश किये गये पहले अविश्वास प्रस्ताव पर लोकसभा में 20 जुलाई को चर्चा और मत विभाजन होगा।
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने कहा, ‘‘अविश्वास प्रस्ताव पर 20 जुलाई (शुक्रवार) को चर्चा और मत विभाजन होगा । इस पर पूरे दिन चर्चा होगी और उसी दिन वोटिंग होगी।’’ सदस्यों की ओर से चर्चा के लिए कुछ और समय बढ़ाने की मांग पर स्पीकर ने कहा कि सात घंटे का समय चर्चा के लिये रखा गया है। इस दिन प्रश्नकाल नहीं चलेगा और गैर-सरकारी कामकाज नहीं होगा। सिर्फ अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा होगी।
इससे पहले लोकसभा में आज मोदी सरकार के खिलाफ पेश अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस स्वीकार हो गया । हालांकि सदन में तृणमूल कांग्रेस के दिनेश त्रिवेदी ने कहा कि पश्चिम बंगाल में हम 21 जुलाई को शहीद दिवस मनाते हैं और उसके आयोजन की वजह से 20 जुलाई को तृणमूल का एक भी सांसद सदन में नहीं रहेगा। इसलिए शुक्रवार की जगह चर्चा सोमवार को कराई जाए। संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने कहा कि विपक्ष को अविश्वास प्रस्ताव पेश करने के बाद किसी भी क्षण चर्चा के लिए तैयार रहना चाहिए। अविश्वास प्रस्ताव महत्वपूर्ण है और सदस्यों को अन्य कोई भी कार्यक्रम छोड़कर उसमें भाग लेना चाहिए। लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि सदस्य शुक्रवार को चर्चा में भाग लेकर भी लौट सकते हैं। उन्होंने कहा कि इस विषय पर अभी चर्चा नहीं हो सकती। वह व्यवस्था दे चुकी हैं। मांग नहीं माने जाने पर तृणमूल के त्रिवेदी और सौगत राय ने सदन से वाकआउट किया। हालांकि सदन से बाहर दिनेश त्रिवेदी ने संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने तृणमूल प्रमुख ममता बनर्जी से इस बारे में फोन पर बात की है और उन्होंने कहा है कि 20 जुलाई को अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान पार्टी के सभी सांसद सदन में मौजूद रहेंगे ।
सदन में प्रश्नकाल समाप्त होने के बाद लोकसभा अध्यक्ष ने सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस देने वाले सभी सदस्यों का उल्लेख किया और तेदेपा के एस केसीनेनी को अविश्वास प्रस्ताव पेश करने को कहा ।
उल्लेखनीय है कि तेदेपा आंध्र प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम के प्रावधानों को पूर्ण रूप से लागू करने और आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा प्रदान करने की मांग को लेकर राजग गठबंधन से अलग हो गई थी।
अध्यक्ष ने कहा कि उन्होंने एस केसीनेनी, तारिक अनवर, मल्लिकार्जुन खडगे समेत कुछ अन्य सदस्यों के अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस को स्वीकार किया है और अब वह इस नोटिस को सदन के समक्ष रख रही हैं।
अध्यक्ष ने उन सदस्यों से खड़े होने का आग्रह किया जो अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस के पक्ष में हैं।
उन्होंने कहा कि ऐसे सदस्यों की संख्या 50 से अधिक है, इसलिये यह प्रस्ताव सदन में स्वीकार होता है।
फाइल फोटो

संसद के दोनों सदन अनिश्चितकालीन के लिए स्थगित: कश्मीर पर दलों ने एकजुटता दिखाई

[नयी दिल्ली]राज्यसभा और लोक सभा की बैठक अनिश्चित काल के लिए स्थगित:जीएसटी महत्वपूर्ण उपलब्धि रही इसके आलावा कश्मीर पर भी दलों ने एकजुटता दिखाई|

राज्यसभा का 18 जुलाई से शुरू हुआ मानसून सत्र आज अनिश्चितकाल के लिए स्थगित हो गया तथा यह सत्र इस लिहाज से बेहद ‘‘रचनात्मक’’ रहा कि इसमें जीएसटी संबंधित संविधान संशोधन विधेयक सहित कई महत्वपूर्ण विधेयक पारित किए गये वहीं कश्मीर की स्थिति सहित कई महत्वपूर्ण लोक महत्व के मुद्दों पर चर्चा की गयी।
सभापति हामिद अंसारी ने सत्र को अनिश्चितकालीन के लिए स्थगित करने से पहले अपने पारंपरिक संबोधन में सत्र को काफी ‘‘रचनात्मक’’ करार दिया। उन्होंने कहा कि 20 बैठकों वाले इस 240वें सत्र में 112 घंटे से अधिक कामकाज हुआ।
सदन को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित किए जाने के वक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सदन में मौजूद थे।
मौजूदा सत्र में सबसे महत्वपूर्ण विधायी कार्य वस्तु एवं सेवा कर [जीएसटी]संबंधी संविधान का 122वां संशोधन [लंबित]विधेयक को सर्वसम्मति से पारित किया जाना रहा। यह विधेयक सत्र के दौरान उच्च सदन में कुल मिलाकर 14 सरकारी विधेयक पारित किए गए।
लोकसभा अनिश्चितकाल के लिए स्थगित, जीएसटी रहा सरकार की बड़ी उपलब्धि
लोकसभा की कार्यवाही आज अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई। इस मानसून सत्र में जीएसटी विधेयक का पारित होना सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि रही और सदन की 20 बैठकों में 121 घंटे कामकाज हुआ तथा जीएसटी समेत 13 विधेयक पारित हुए।
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदन की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित करने की घोषणा से पूर्व मानसून सत्र में संपन्न कामकाज की जानकारी सदन के समक्ष रखी।
उन्होंने बताया कि 16वीं लोकसभा का 9वां सत्र 18 जुलाई 2016 को शुरू हुआ और एक वर्तमान एवं कुछ पूर्व सांसदों के निधन पर दिवंगत नेताओं को श्रद्धांजलि दी गयी।
उन्होंने कहा कि सत्र के दौरान कुछ महत्वपूर्ण विधायी एवं वित्तीय कामकाज को पूरा किया गया। इस दौरान 2016.17 के लिए अनुदान की अनुपूरक मांगों एवं संबंधित विनियोग विधेयक को पारित किया गया जिस पर 4 घंटे 53 मिनट चर्चा हुई।
अध्यक्ष ने कहा कि सत्र के दौरान 14 सरकारी विधेयक पेश किये गए और 13 विधेयक पारित हुए जिनमें
भारतीय चिकित्सा परिषद संशोधन विधेयक 2016,
दंत चिकित्सक संशोधन विधेयक 2016,
बाल श्रम रोकथाम एवं नियमन संशोधन विधेयक 2016,
बेनामी लेनदेन रोकथाम विधेयक 2015,
रिण वसूल से संबंधित संशोधन विधेयक,
कर्मचारी मुआवजा संशोधन विधेयक,
कराधान संशोधन विधेयक और
कारखाना संशोधन विधेयक 2016 शामिल हैं।
अध्यक्ष ने बताया कि सदन ने राज्यसभा की ओर से जीएसटी से संबंधित 122वें संविधान संशोधन विधेयक में किये गए संशोधनों को पारित किया और राज्यसभा के संशोधनों पर सहमति व्यक्त की।
उन्होंने कहा कि सत्र के दौरान 400 तारांकित प्रश्न सूचीबद्ध थे जिसमें से 99 प्रश्नों के मौखित उत्तर दिये गए। यह प्रतिदिन के हिसाब से 4.95 प्रश्न होते हैं। शेष तारांकित प्रश्नों एवं 4600 अतारांकित प्रश्नों के लिखित उत्तर सभापटल पर रखे गए।
सत्र के अंतिम दिन सदन ने कश्मीर की स्थिति पर एक प्रस्ताव पारित किया और वहां लंबे समय से जारी कफ्र्यू, हिंसा तथा लोगों के मारे जाने पर गंभीर चिंता प्रकट की गयी। प्रस्ताव में यह दृढ़ विचार व्यक्त किया गया कि भारत की एकता, अखंडता और राष्ट्रीय सुरक्षा पर कोई समझौता नहीं हो सकता।

राहुलगांधी कहीं भाजपा को ये कहना तो नही चाह रहे के”वंड खाओ खंड खाओ,नहीं ते ठंड खाओ”

झल्ले दी झल्लियां गल्लाँ

कांग्रेसी चीयर लीडर

ओये झल्लेया देख ली न हसाडे डबल फोर [४४] की पावर ?ओये संसद में मोदी के मोदकों की मिठास, छु मंतर कर दी |ओये पूर्ण बहुमत की सरकार मानसूनके पूरे सेशन में कोई काम नही करा पाई |ओये हसाडे सोणे राहुल गांधी जी ने भी फरमा दिया है के जब तक विदेश मंत्री श्रीमती सुषमा स्वराज,आईपीएल के दागी मुग़ल ,ललित मोदी से मिली रिश्वत का हिसाब नही देती तब तक संसद नहीं चलने देंगे

झल्ला

ओ मेरे चतुर सुजान जी सयाने कह गए हैं के वंड खाओ खंड खाओ नहीं ते ठंड खाओ