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पेट्रोलियम मंत्री मोइली ने तेल की कीमतों को घटाने के बजाय एक दिन के लिए सरकारी गाड़ी छोड़ी और मेट्रो से दफ्तर गए

पेट्रो पदार्थों की कीमतों में आये उछाल के प्रति उदासीनता बरतते हुए पेट्रोलियम मंत्री वीरप्पा मोइली ने तेल बचाने के लिए अनोखी पहल की। जिसे भाजपा ने सादगी के स्वांग से कुशासन का कलंक मिटने की कवायद बताया |वीरप्पा मोइली आज मेट्रो से दफ्तर गए। केन्द्रीय मंत्री आज पूर्व घोषणा के अनुसार सरकारी गाड़ी को छोड़ अपने घर के पास मेट्रो स्टेशन पहुंचे जहां से उन्होंने केंद्रीय सचिवालय तक मेट्रो में सफर किया।मालूम हो कि मेट्रो में फोटो ग्राफी की मनाही है लेकिन केन्द्रीय मंत्री की इस यात्रा को न्यूज़ चैनलों ने खूब दिखाया |
पिछले महीने वीरप्पा मोइली ने कहा था कि तेल बचाने के लिए उनके मंत्रालय के कर्मचारी भी हर बुधवार को पब्लिक ट्रांसपोर्ट का इस्तेमाल कर दफ्तर पहुंचेंगे।
वीरप्पा मोइली के मुताबिक उन्होंने मुख्यमंत्रियों+ केंद्रीय मंत्रियों + सरकारी कंपनियों के.अलावा पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय के अधिकारियों व कर्मचारियों और मंत्रालय के तहत आने वाले 14 पब्लिक सेक्टर फर्म के कर्मचारियों को बचत के लिए सर्कुलर जारी किया था|
इस तरह तेल आयात बिल को 5 बिलियन डॉलर कम किया जा सकेगा |
भाजपा नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने पेट्रोलियम मंत्री पर हमला बोलते हुए कहा कि सादगी के इस स्वांग से कुशासन का कलंक नहीं मिट सकता है| कांग्रेस पहले जनता के धन को लूटती रही और अब स्वांग कर रही है|
गौरतलब है कि मोइली ने ही तेल बचाने के लिए पेट्रोल पंप को रात 8 बजे से सुबह 8 बजे तक बंद करने का प्रस्ताव दिया था. लेकिन उनके इस प्रस्ताव का तीखा विरोध हुआ जिसके बाद उन्हें बयान वापस लेना पड़ा.प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री ने भी रात 8 बजे से बंद करने के प्रस्ताव को खारिज कर दिया था|