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हनीमून पीरियड में प्याज के आंसू रो रहे केंद्र ने एम ई पी २०० $ प्रति टन और बढ़ाई

सत्ता हनीमून अवधि में महंगाई को काबू करने को उठापठक में लगी केंद्र सरकार ने अब प्याज के निर्यात को हतोत्साहित करने के लिए प्याज की एम ई पी[MEP ] २०० $ और बढ़ाई|प्याज की न्यूनतम निर्यात मूल्यMEP ३०० $ से बढ़ा कर अब ५०० $ प्रति टन किया गया है|
सरकार ने प्याज की घरेलू आपूर्ति बढ़ाने और कीमत वृद्धि को रोकने के लिए इसके न्यूनतम निर्यात मूल्य :एमईपी: को बढ़ाकर 500 डॉलर प्रति टन कर दिया है।
पिछले महीने प्याज का न्यूनतम निर्यात मूल्य :एमईपी: को 300 डॉलर प्रति टन किया गया था, जबकि इससे ठीक तीन महीने पहले पूर्ववर्ती सरकार ने मार्च में इसे हटा दिया था। एमईपी वह दर से है जिस दर से नीचे निर्यात करने की अनुमति नहीं होती।
प्याज के निर्यात तथा बढ़ती कीमत पर अंकुश लगाने के लिये सरकार द्वारा की गई इस बढ़ोतरी का मतलब है कि देश से 30 रुपये प्रति किलो से कम कीमत पर प्याज के निर्यात की अनुमति नहीं दी जाएगी।
गौरतलब है कि घरेलू बाजार में प्याज के दाम को बढ़ने से रोकने के लिए न्यूनतम निर्यात मूल्य [एमईपी] तय किये जाने के बावजूद देश में प्याज के सबसे बड़े थोक बाजार, लासालगांव में पिछले दो सप्ताह में प्याज का भाव 40 % हो गया था।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा जारी सूचना के अनुसार प्‍याज के न्‍यूनतम निर्यात मूल्‍य लागू करने के लिए अन्‍तर-मंत्रिमंडलीय समिति ने यह निर्णय लिया है
अन्‍तर-मंत्रिमंडलीय समिति ने 30 जून, 2014 को आयोजित अपनी बैठक में यह निष्‍कर्ष निकाला कि प्‍याज के न्‍यूनतम निर्यात मूल्‍य 300 अमरीकी डॉलर प्रति मीट्रिक टन होने के बावजूद उत्‍पादक और उपभोक्‍ता मंडियों में प्‍याज की थोक और खुदरा कीमतें बढ़ रही हैं। प्‍याज के निर्यात में कोई महत्‍वपूर्ण गिरावट नहीं हुई है। प्‍याज की बढ़ती हुई थोक और खुदरा कीमतों और मानसून में देरी को देखते हुए इसकी बढ़ती कीमतें रोकने और घरेलू आपूर्ति बढ़ाने के दृष्टिकोण से समिति ने सर्वसम्‍मति से प्‍याज के न्‍यूनतम निर्यात मूल्‍य 500 अमरीकी डॉलर प्रति मीट्रिक टन फ्रेट ऑन बोर्ड निर्धारित किए हैं, जो लगभग 30 रुपये प्रति किलो बैठते हैं।

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