Ad

किंग फिशर की एयरलाईन्स २१ दिन तक घिसटने के बाद आज क्रैश हो गई|

:किंग फिशर विजय माल्या की एयर लाईन्स लगातार २१ दिन तक घिसटने के बाद आज क्रैश हो ही गई| नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने आज शनिवार को इसका लाइसेंस निरस्त कर दिया है ।एविएशन रेग्युलेटर डीजीसीए का यह फैसला अगले आदेश तक प्रभावी रहेगा।यह लायसेंस का सस्पेंशन है टर्मिनेशन नहीं है
डीजीसीए ने कारण बताओ नोटिस भेजकर किंगफिशर से जवाब मांगा था लेकिन किंगफिशर अपने जवाब से डीजीसीए को संतुष्ट नहीं कर पाई। कर्ज में डूबी किंगफिशर को एकदिन के परिचालन में आठ करोड़ का नुकसान हो रहा था,जबकि परिचालन न करने पर उसे चार करोड़ का नुकसान हो रहा था.इसलिए कंपनी ने वेतन मामला सुलझाने के बजाये परिचालन को पूरी तरह रोक दिया था|तालाबंदी को चौथी बार बढाया गया | डीजीसीए का कहना है कि रिवाइवल प्लान सौंपने तक किंगफिशर की फ्लाइट्स उड़ानें नहीं भर पाएंगी। डीजीसीए ने कारण बताओ नोटिस भेजकर जवाब मांगा था लेकिन किंगफिशर इसका संतोषजनक जवाब नहीं दे पाई। इसके अलावा किंगफिशर ने लॉकआउट भी 23 अक्टूबर तक बढ़ा दिया था। इन सब कारणों से डीजीसीए अगले आदेश तक एयरलाइंस का लाइसेंस सस्पेंड करने का फैसला किया है।

किंग फिशर की एयरलाईन्स २१ दिन तक घिसटने के बाद आज क्रैश हो गई|


गौरतलब है कि वेतन न मिलने की वजह से किंगफिशर एयरलाइंस के पायलट और इंजिनियर हड़ताल पर चले गए थे और इसके बाद एयरलाइंस को अपनी उड़ानें रद्द करनी पड़ी थीं। एयरलाइंस ने तालाबंदी का भी ऐलान कर दिया था जिसे तीन बार बढाया जा चुका है| इससे डीजीसीए ने नाराज होकर यह कदम उठाया है. इसके पहले, किंगफिशर ने अपनी तालांबदी की अवधि को 20 अक्टूबर से बढ़ाकर 23 अक्टूबर कर दिया। किंगफिशर पिछले 21 दिन से जारी गतिरोध को सुलझा पाने में विफल रही है। उसके पायलट और इंजीनियर सात माह से वेतन नहीं मिलने के विरोध में हड़ताल पर हैं।डीजीसीए ने विजय माल्या की अगुवाई वाली कंपनी को 5 अक्टूबर को कारण बताओ नोटिस जारी कर पूछा था क्यों न उसका उड़ान लाइसेंस निलंबित या रद्द कर दिया जाए, क्योंकि वह अपनी उड़ान समयसारिणी का पालन नहीं कर रही है और बार-बार मनमाने तरीके से उड़ानें रद्द कर रही है।

केस की हिस्टरी

अव्यवस्थाओं के चलते एक अक्टूबर से कंपनी की उडान बंद हैं| इसके अलावा [१]किंगफिशर कर्मचारी की पत्नी ने फांसी लगा कर जान दे दी है और इसके लिए कम्पनी को दोषी बताया है|’
[२]इससे पहले चेक बाउंस होने पर किंगफिशर एयरलाइंस और उसके चेयरमैन विजय माल्या के नाम गैर जमानती वारंट जारी कर किया जा चुका है। देश की एक अदालत के विशेष मजिस्ट्रेट ने 10.5 करोड़ रुपए के चैक बाउंस मामले में माल्या के अदालत में पेश न होने की वजह से यह कार्रवाई की थी। कोर्ट ने किंगफिशर के सीईओ संजय अग्रवाल सहित चार निदेशकों के खिलाफ भी वारंट जारी किए गए। मामले की अगली सुनवाई अब पांच नवंबर को होगी। अभी भी आशावाद में जी रही किंगफिशर एयरलाइंस के सूत्रों ने जवाब दाखिल करने के बाद कहा था कि अगर डीजीसीए उन्हें कुछ रियायतें देती है तो ६ नवंबर से उड़ानें शुरू की जा सकती हैं|लेकिन उड़ान के लिए जरूरी खर्चों की व्यवस्था का कोई जरिया नहीं बताया जा रहा है| [अ]ऐ टी ऍफ़ [२]एअरपोर्ट फीस[३]कर्मियों की तनख्वाह आदि के लिए आवश्यक धन के लिए अपनी हेसियत से सात गुना अधिक कर्ज़ में डूबी कम्पनी को वित्तीय सहारा देने कोई आगे नहीं आ रहा है|[का]कर्मचारी बिना वेतन के समझौता करने को तैयार नहीं[खा] विदेशी निवेशक दिखाई नहीं देरहे [गा] देसी बैंकों ने भी हाथ खींच लिए हैं|इस पर भी किंग फिशर अपनी दूसरी कम्पनिओं से पैसा निकाल कर यहाँ लगाने को तैयार नहीं है| ऐसे में कम्पनी की क्रेडिबिलिटी और कर्मिओं का भविष्य कुछ उज्जवल नहीं दिख रहा

Comments

  1. Glennie says:

    I was very pleased to find this internet-site.I wanted to thanks for your time for this wonderful learn!! I undoubtedly having fun with each little little bit of it and I’ve you bookmarked to take a look at new stuff you blog post.