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Category: Social Cause

भारी उद्योग विभाग के घाटे वाले १० केन्‍द्रीय उपक्रमों के लिए 128.26 करोड़ रुपए का गैर योजना बजट

भारी उद्योग विभाग के घाटा उठाने वाले १० केन्‍द्रीय उपक्रमों के लिए 128.26 करोड़ रुपए के गैर योजना बजट का अनुमोदन किया गया है
इस राशी का उपयोग कर्मचारियों को वेतन आदि के कानूनी भुगतान के लिए निधियों के लिए किया जाएगा|
आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडल समिति ने घाटा उठा रहे केन्‍द्रीय उपक्रमों के कर्मचारियों के लिए 128.26 करोड़ रुपए के गैर योजना बजट समर्थन का प्रस्‍ताव अनुमोदित कर दिया है। इस राशि का इस्‍तेमाल[अ ] भविष्‍यनिधि,[आ] ग्रेच्‍युएटी,[इ] पेंशन आदि के भुगतान के लिए किया जाएगा। भारी उद्योग विभाग के अंतर्गत आने वाले इन उपक्रमों के नाम हैं :-[१] हिन्‍दुस्‍तान केबल्‍स लिमिटेड,[२] एचएमटी लिमिटेड, [३]एचएमटी (वॉचेज़) लिमिटेड, [४]एचएमटी (चिनार वॉचेज़) लिमिटेड, [५]नगालैंड पल्‍प एंड पेपर कंपनी लिमिटेड, [६]त्रिवेणी स्‍ट्रक्‍चरल्‍स लिमिटेड,[७] तुंगभद्रा स्‍ट्रील प्रॉडक्‍टस लिमिटेड,[८] नेपा लिमिटेड, [९]एचएमटी बीयरिंग लिमिटेड और [१०]हिन्‍दुस्‍तान फोटो फिल्‍म्‍स लिमिटेड। वेतन और अन्‍य भुगतान के लिए निधियां उपलब्‍ध कराने से कर्मचारियों की कठिनाइयां दूर हो सकेंगी और उनके प्रति उपक्रमों की कानूनी जिम्‍मेदारी भी पूरी होगी।

25 लाख से ज्‍यादा उच्‍च शिक्षा के छात्र सब्‍सिडी का लाभ ले चुके हैं: मानव संसाधन विकास राज्‍य मंत्री डॉ. शशि थरूर

25 लाख से ज्‍यादा उच्‍च शिक्षा के छात्र सब्‍सिडी का लाभ ले चुके हैं
एक प्रश्‍न का उत्‍तर देते हुए मानव संसाधन विकास राज्‍य मंत्री डॉ. शशि थरूर ने लोकसभा में बताया कि देश में कॉलेजों और विश्‍वविद्यालयों में दो करोड़ से ज्‍यादा छात्र अध्‍ययनरत हैं। अब तक ब्‍याज सब्‍सिडी योजना के अंतर्गत 25 लाख से ज्‍यादा छात्र लाभान्‍वित हुए है, जो उच्‍च शिक्षारत छात्रों का 12.5 % है।
समाज के कमजोर वर्गों के छात्रों द्वारा लिए गए शिक्षा ऋण की मोरेटोरियम अवधि के लिए ब्‍याज सब्‍सिडी उपलब्‍ध कराने के लिए केन्‍द्र सरकार द्वारा यह योजना प्रारंभ की गई थी।4.5 लाख रूपये से कम वार्षिक पारिवारिक आय वालों के लिए यह यौजना है| साथ ही उन्‍होंने भारत में तकनीकी/व्‍यावसायिक अध्‍ययन हेतु भारतीय बैंक संघ की शिक्षा ऋण योजनाओं के अंतर्गत अनुसूचित बैंकों से ऋण लिया होना चाहिए।
केन्‍द्र सरकार प्राथमिक एवं माध्‍यमिक शिक्षा पर कोई ब्‍याज सब्‍सिडी प्रदान नहीं करती।
उन्होंने बताया कि केन्‍द्र सरकार ने निम्‍नलिखित कदम उठाए है, ताकि अधिकतम छात्र सब्‍सिडी का लाभ उठा सकें-
[१]. राज्‍य सरकारों से अपेक्षित है कि पारिवारिक आय प्रमाण-पत्र जारी करने के प्रयोजनार्थ प्राधिकारियों को पदनामित करें।
[२]. सब्‍सिडी योजना भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम, 1934 की द्वितीय अनुसूची के अंतर्गत आने वाले सभी बैकों पर लागू है।
[३]. भारतीय बैंक संघ ने हाल ही में संशोधित मॉडल शिक्षा ऋण योजना जारी की है, जिसमें इस योजना के अंतर्गत मेधावी छात्रों की ऋण पात्रता पर विचार करने की अनुमति दी गई है, भले ही छात्र निजी संस्‍थानों के प्रबंध कोटा के अंतर्गत छात्र अध्‍ययन जारी रहने का इच्‍छुक हो।

भाजपा सांसद दिलीप सिंह जूदेव का निधन :छत्तीसगढ में तीन दिन का राजकीय शोक: शिवराजसिंह चौहान की श्रधान्जली

 Parliamentarian Dalip Singh Judev

Parliamentarian Dalip Singh Judev

छत्तीसगढ़ के बिलासपुर लोकसभा के सांसद और भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता दिलीप सिंह जूदेव का आज गुड़गांव के मेदांता अस्पताल में निधन हो गया। जूदेव 64 वर्ष के थे।
जूदेव के सचिव राजेश अम्बष्ट के हवाले से भाषा ने बताया है कि जूदेव का आज १४ अगस्त की शाम गुड़गांव के मेदांता अस्पताल में निधन हो गया। जूदेव किडनी और लीवर में संक्रमण की वजह से पिछले 45 दिनों से मेदांता अस्पताल में भर्ती थे।
वह 2003 मे अटल बिहारी वाजपेयी सरकार मे वन एवं पर्यावरण राज्य मंत्री भी रहे। श्री जूदेव के शोक में छत्तीसगढ सरकार ने 16 से 18 अगस्त तक तीन दिन के राजकीय शोक की घोषणा की है।
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता सांसद श्री दिलीप सिंह जूदेव के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने कहा है कि श्री जूदेव जुझारू, कर्मठ, समर्पित और जीवट व्यक्तित्व वाले नेता थे। वे मानवीय गुणों से भरपूर, सेवा की प्रतिमा तथा साहस की प्रतिमूर्ति थे। उन्होंने अपने आचरण, व्यवहार और कार्यों से अविभाजित मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ वासियों का दिल जीता था।
श्री चौहान ने बताया कि उन्होंने हाल ही में तीन दिवस पूर्व मेदांता अस्पताल में श्री जूदेव से मुलाकात की थी। उम्मीद थी कि वे जल्द स्वस्थ होंगे किन्तु काल के सामने किसी की नहीं चली। श्री जूदेव के निधन से मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ के साथ देश ने एक निःस्वार्थ भाव से जनसेवा करने वाले नेता को खोया है। उनकी कमी कभी भी पूरी नहीं हो सकती।
श्री चौहान ने ईश्वर से दिवंगत आत्मा की शांति और श्री जूदेव के परिजन, शुभचिंतक और अनुयायियों को यह गहन दुख सहन करने की शक्ति देने की प्रार्थना की

Government Of India has shown concern On The Welfare of Persons of Indian Origin Abroad

Government Of India has shown concern Of The Welfare of Persons of Indian Origin Abroad
Minister of Overseas Indian Affairs Shri Vayalar Ravi in a written reply to a question in Lok Sabha today said that The Government is very much concern of the welfare of persons of Indian origin abroad.
Indian Missions/Posts will remain in touch with the local authorities and sensitize them of their concern about attacks on Indian and their safety.
The Minister Stated that Indian missions render necessary/consular assistance to the victims/families.
The Indian Missions/Posts facilitate the transportation of the mortal remains of the body to India if necessary.
Assistance is also given from Indian Community Welfare fund by the Indian Missions/Posts where necessary.

लाल कृषण अडवाणी ने भी रक्षा मंत्री ऐ के अंटोनी का उपहास उड़ाया

भाजपा के पी एम् इन वेटिंग और वरिष्ठ पत्रकार लाल कृषण अडवाणी ने भी अपने ब्लॉग में एक अन्य लेख के माध्यम से रक्षा मंत्री ऐ के अंटोनी का उपहास उड़ाया है |
ब्लॉग के टेलपीस (पश्च्यलेख) में अडवाणी ने बताया है कि इण्डियन एक्सप्रेस के मुख्य सम्पादक शेखर गुप्ता के सम्पादकीय पृष्ठ पर ‘स्केर्ड विट्लस‘ (SCARED WITLESS) शीर्षक से लेख प्रकाशित हुआ है जिसमे ए.के. एंटोनी की तुलना शेक्सपीयर के नाटक ”जूलियस सीजर” के मार्क एंटोनी से की गई है इस लेख के साथ समाचारपत्र के कार्टूनिस्ट इ.पी. उन्नी द्वारा चोगे में रक्षामंत्री ए.के. एंटोनी के रेखाचित्र भी रेखांकित किया गया है जिसमें ऐ के अंटोनी को ‘मार्क-II एंटोनी स्पीच!‘ के रूप में वर्णित किया है |अडवाणी ने ”इतनी निर्दयता और शानदार ढंग” की इस प्रस्तुति की प्रशंसा की है।
लेख कहता है: ”आपके पास अन्य मंत्रीगण हैं और नानाविध मुद्दों पर उनके वक्तव्य हो सकते हैं। लेकिन नियंत्रण रेखा पर हुई घटना के बारे में रक्षामंत्री ऐसा करें? वह अब कहते हैं कि पहले वह ‘उपलब्ध‘ सूचनाओं के आधार पर बोले और अब वे ज्यादा अच्छा जानते हैं कि आतंकवादी सेना के वेश में न केवल पाकिस्तानी रेगुलर्स (नियमित सैनिक) बन गए अपितु उनकी विशेष फोर्स से भी हैं।

संरक्षित स्मारकों को विकृत करने के, फिल्मो की शूटिंग आदि , कृत्यों की रोकथाम के लिए कड़े नियम बनेंगे

संरक्षित स्मारकों को विकृत करने के, फिल्मो की शूटिंग आदि , कृत्यों की रोकथाम के लिए अब कड़े नियम बनेंगे|
संरक्षित स्मारकों की सीमाओं के भीतर [१]फिल्मों की शूटिंग तथा [२]सांस्कृतिक कार्यक्रमों/गतिविधियां को संचालित करने के लिए अब कड़े नियम बनेंगे | संरक्षित स्मारकों के दुरुपयोग के मामले प्राचीन स्मारक एवं पुरातत्व स्थल एवं अवशेष अधिनियम 1958 एवं नियम 1959 की परिधि में आते हैं।
संस्कृति मंत्री श्रीमती चंद्रेश कुमारी कटोच ने लोक सभा में एक लोकहित प्रश्न के उत्तर में कहा कि केंद्र सरकार द्वारा संरक्षित स्मारकों की सीमाओं के भीतर फिल्मों की शूटिंग तथा सांस्कृतिक कार्यक्रमों/गतिविधियां संचालित करने के लिए अनुमति के प्रस्ताव तथा ऐसे स्मारकों के दुरुपयोग के मामले प्राचीन स्मारक एवं पुरातत्व स्थल एवं अवशेष अधिनियम 1958 एवं नियम 1959 की परिधि में आते हैं। श्रीमती कटोच ने बताया कि प्राचीन स्मारक एवं पुरातत्व स्थल एवं अवशेष अधिनियम 1958 की धारा के अंतर्गत दण्ड को संशोधन अधिनियम 2010 के अनुसार तीन महीने से बढ़ाकर दो वर्ष तथा जुर्माने को पांच हजार रुपये से बढ़ाकर एक लाख रुपये अथवा दोनों कर दिया गया है ताकि राष्ट्रीय महत्व के रूप में घोषित स्मारकों को विकृत करने के कृत्यों की रोकथाम हो सके।
श्रीमती कटोच ने बताया कि वाच एंड वार्ड स्टाफ की अपर्याप्त संख्या उन मुख्य कारणों में है जिनके चलते स्मारकों को विकृत होने के कृत्यों से पूरी तरह बचा पाना संभव नहीं हो पाया है। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण ने संवेदनशील स्मारकों पर उपलब्ध संसाधनों के अंतर्गत अतिरिक्त निजी सुरक्षा गार्डों की तैनाती करके सुरक्षा को सुदृढ़ बनाया है।

38 मंत्रालयों/विभागों की आधिकारिक वेबसाइटों को पूरी तरह हिन्‍दी में अप डेट नहीं किया जा सका है

38 मंत्रालयों/विभागों की आधिकारिक वेबसाइटों को पूरी तरह हिन्‍दी में अप डेट नहीं किया जा सका है यह स्वीकोरोक्ति आज लोक सभा में की गई|
केन्‍द्रीय गृह राज्‍य मंत्री श्री आर पी एन सिंह ने आज लोकसभा में एक प्रश्‍न के लिखित उत्‍तर में बताया कि 38 मंत्रालयों/विभागों की वेबसाइटों को पूरी तरह हिन्‍दी में अपडेट नहीं किया गया है। केन्‍द्र सरकार के कार्यालयों में हिन्‍दी के इस्‍तेमाल पर आधिकारिक भाषा विभाग द्वारा जारी किए गए वार्षिक कार्यक्रम में सभी मंत्रालयों /विभागों की हिन्‍दी वेबसाइटों को अपडेट करने का शत-प्रतिशत लक्ष्‍य तय किया गया है।
सभी मंत्रालयों/विभागों को समय-समय पर निर्देश दिए गए हैं कि यह सुनिश्चित किया जाए कि उनकी वेबसाइटों और अधीनस्‍थ/संबद्ध कार्यालयों और सार्वजनिक उपक्रमों पर, जो सामग्री/दस्‍तावेज अंग्रेजी में उपलब्‍ध हैं, वे हिन्‍दी भाषा में भी अपडेट होने चाहिए।
इस आशय के निर्देश 17 फरवरी 2012 को दिए गये थे। इस मामले की प्रगति रिपोर्ट की समीक्षा सभी मंत्रालयों/विभागों से हर तिमाही आधार पर की जाती है।

केंद्र सरकार ने ,लोक सभा में , मासिक प्रति व्‍यक्ति व्‍यय में वृद्धि का रुख दिखाया और खर्च करने की आदतों में सुधार का दावा किया

केंद्र सरकार ने आज ,लोक सभा में , मासिक प्रति व्‍यक्ति व्‍यय में वृद्धि का रुख दिखाया और खर्च करने की आदतों में सुधार का दावा किया केंद्र सरकार को आज मासिक प्रति व्‍यक्ति व्‍यय (एमपीसीई) में वृद्धि का रुख नजर आया| एमपीसीई[MPCE ] में इस वृद्धि के रुख के आधार पर लोक सभा में लोगों की खरीद क्षमता में बढ़ोत्‍तरी और खर्च करने की आदतों में सुधार को दर्शाने का प्रयास किया गया ।
सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्‍वयन तथा रसायन एवं उर्वरक राज्‍य मंत्री (स्‍वतंत्र प्रभार) श्री श्रीकांत कुमार जेना ने आज लोकसभा में एक प्रश्‍न के लिखित उत्‍तर में बताया कि राष्‍ट्रीय प्रतिदर्श सर्वेक्षण कार्यालय (एनएसएसओ) द्वारा परिवार उपभोक्‍ता व्‍यय पर ग्रामीण तथा शहरी क्षेत्रों में समय-समय पर किए गए विभिन्‍न सर्वेक्षणों के प्राप्‍त आंकड़ों से पता चला है कि मासिक प्रति व्‍यक्ति व्‍यय (एमपीसीई) में वृद्धि का रुख नजर आ रहा है। एमपीसीई में यह वृद्धि लोगों की खरीद क्षमता में बढ़ोत्‍तरी और खर्च करने की आदतों को दर्शाती है।
लोगों की खर्च करने की आदत में बदलाव का श्रेय जीवन शैली, खान-पान की आदत, स्‍वास्‍थ्‍य के प्रति जागरूकता में परिवर्तन को जाता है, इसका कारण समय-समय पर शुरू किए गए विभिन्‍न सरकारी कार्यक्रमों की वजह से लोगों की आय के स्‍तर में वृद्धि होना है। ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे और लोगों की आय के स्‍तर में सुधार के लिए सरकार द्वारा शुरू किए गए कुछ कार्यक्रमों में महात्‍मा गांधी राष्‍ट्रीय ग्रामीण रोजगार गांरटी योजना (मनरेगा), राष्‍ट्रीय ग्रामीण जीवनयापन मिशन, राष्‍ट्रीय सामाजिक सहायता कार्यक्रम (एनएसएपी), भारत निर्माण, प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना (पीएमजीएसवाई), जवाहर लाल नेहरू राष्‍ट्रीय शहरी नवीनीकरण मिशन (जेएनएनयूआरएम) और विशाल शहरों के उप-नगरों में शहरी बुनियादी सुविधाएं शामिल हैं।

भारतीय चिकित्‍सा परिषद ने सुभारती मेडिकल कॉलेज सहित छह मेडिकल कॉलेजों की मान्‍यता रद्द की

भारतीय चिकित्‍सा परिषद (एमसीआई) ने राष्ट्रीय राजधानी छेत्र [ एनसीआर ]में 6 मेडिकल कॉलेजों की मान्‍यता रद्द कर दी है
भारतीय चिकित्‍सा परिषद ने स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्रालय से राष्‍ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में चल रहे मेरठ+गाजिआबाद+ग्रेटर नॉएडा+हापुड़+गुड गाँव के 6 मेडिकल कॉलेजों की मान्‍यता/अनुमति पत्र रद्द करने की सिफारिश की है। ये कॉलेज हैं –
[1]. संतोष मेडिकल कॉलेज, गाजियाबाद
[2]. सुभारती मेडिकल कॉलेज, मेरठ
[3]. स्‍कूल ऑफ मेडिकल साइंसेज एंड रिसर्च, ग्रेटर नोएडा
[4]. सरस्‍वती इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज, हापुड़
[5]. श्री गुरू गोबिन्‍द सिंह ट्राईसेन्‍टेनरी मेडिकल कॉलेज, गुडगांव
[6.] रामा मेडिकल कॉलेज, हापुड़
मंत्रालय को भारतीय चिकित्‍सा परिषद की यह सिफारिश इस साल मई में प्राप्‍त हुई थी।
हालांकि इसे 04 जून को फिर से जांच-पड़ताल के लिए परिषद के निदेशक मंडल के पास वापस भेज दिया गया था।
मेडिकल कॉलेजों को भारतीय चिकित्‍सा परिषद अधिनियम, 1956 के प्रावधानों और उनके दिशा-निर्देशों के तहत मान्‍यता दी गयी है।
इस उद्देश्‍य हेतु, भारतीय चिकित्‍सा परिषद नियमन, 1999 में निर्धारित न्‍यूनतम शर्तों के अनुसार भारतीय चिकित्‍सा परिषद परीक्षा के मानदंडों और कॉलेजों में उपलब्‍ध सुविधाओं के मूल्‍यांकन के लिए उनकी जांच पड़ताल करती है।
एमसीआई के सिफारिशों के आधार पर केन्‍द्र सरकार भारतीय चिकित्‍सा परिषद अधिनियम, 1956 की धारा 11 (2) के तहत किसी भी मेडिकल कॉलेज के छात्रों को मुहैया की जाने वाली विशिष्‍ट चिकित्‍सा अर्हताओं को मान्‍यता प्रदान करती है और उन्हें अधिसूचित करती है।
केन्‍द्रीय स्‍वास्‍थ्‍य एवं परिवार कल्‍याण मंत्री श्री गुलाम नबी आजाद ने आज राज्‍य सभा में एक प्रश्‍न के उत्‍तर में लिखित में यह जानकारी दी।

रालोद के कार्यकर्ताओं का उत्पीडन बंद नहीं किया गया तो उत्तर प्रदेश में संघर्ष छेड़ा जाएगा: जयंत चौधरी

[नर्इ दिल्ली,]राष्ट्रीय लोकदल[रालोद] के राष्ट्रीय महासचिव युवा जयंत चौधरी ने आज उत्तर प्रदेश में सपा की सरकार के विरुद्ध हुंकार भरते हुए चेतावनी दी कि प्रदेश में यदि रालोद के कार्यकर्ताओं का उत्पीडन बंद नहीं किया गया तो प्रदेश में सरकार के विरुद्ध संघर्ष छेड़ा जाएगा| श्री जयंत जी ने कहा कि समाजवादी सरकार में रालोद कार्यकर्ताओं का उत्पीड़न हो रहा है, जिसे राष्ट्रीय लोकदल बिल्कुल बर्दाशत नहीं करेगा। यदि राज्य सरकार नहीं चेती तो राष्ट्रीय लोकदल इसके विरूद्ध संघर्ष करेगा। 18 अगस्त को शामली-मुजफ्फरनगर चलो के तहत जयन्त चौधरी की पद यात्रा को ऐतिहासिक कामयाब बनाने के लिए रण नीति पर भी चर्चा हुई|
रालोद की पशिचमी उत्तर प्रदेश की नव-गठित कार्यकारणी की पहली बैठक में आज छोटे[वर्तमान] चौधरी जयंत ने प्रदेश में अपने वोट बैंक को जोड़े रखने के लिए तीन सूत्री फार्मूला भी पेश किया | पार्टी कार्यालय 13ए, फिरोजशाह रोड़, नर्इ दिल्ली में बैठक आयोजित हुर्इ, जिसमें तीन मुख्य बिन्दुओं पर चर्चा के बाद आम सहमति बनी।
बैठक को संबोधित करते हुए राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय महासचिव एवं सांसद जयंत चौधरी ने कहा कि
[१]पशिचमी उत्तर प्रदेश में अलग हार्इकोर्ट बैंच,
[२] जाट आरक्षण तथा
[३] हरित प्रदेश के मुददे राष्ट्रीय लोकदल के मुख्य एजेंडे पर हैं।
इसके आलावा गन्ना तथा आलू किसानों के बकाये के लिये जिला कार्यालयों पर धरना प्रदर्शन करने का भी ऐलान किया गया
राष्ट्रीय महा सचिव ने कहा कि हार्इकोर्ट बैंच को लेकर रालोद हमेशा संघर्षशील रहा है। रालोद के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह इस मुद्दे पर केन्द्रीय कानून मंत्री से मिल चुके हैं तथा उनसे सकारात्मक आशवासन भी मिला है।
रालोद पशिचमी उत्तर प्रदेश के कार्यकारी अध्यक्ष सत्यवीर त्यागी ने कहा कि रालोद वकीलों के आन्दोलन को समर्थन प्रदान करता रहा है और आगे भी संघर्षशील रहेगा।
जाट आरक्षण को लेकर भी चौधरी अजित सिंह व श्री जयंत चौधरी केन्द्र सरकार के सम्मुख जाट आरक्षण की मांग उठा चुके हैं
हरित प्रदेश के विषय में श्री जयंत चौधरी ने कहा कि छोटे राज्य हमेशा विकास करते हैं तथा उनमें प्रशासनिक समीक्षा समुचित ढंग से हो सकती है।
18 अगस्त को शामली-मुजफ्फरनगर चलो के तहत श्री जयन्त चौधरी जी की पद यात्रा को ऐतिहासिक बनाने के लिए तन मन से कामयाब बनाने के लिए रालोद पशिचमी उत्तर प्रदेश के कार्यकारी अध्यक्ष श्री त्यागी ने अपील की।
तथा जिला अध्यक्षों की सहायता के लिए जिला प्रभारीयों की नियुकित की जाएगी।