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सांसद भगवंतमान स्टेज कलाकार पहले हैं ,इसे मंच+श्रोता देख कर रंग बदलना आता है

झल्ले दी झल्लियां गल्लाँ

कांग्रेसी और भाजपाई चीयर लीडर्स

ओये झल्लेया ये आप पार्टी वालों को पैदा हुए जुम्मा जुम्मा आठ दिन हुए नहीं कि इन्होने अपने रंग दिखाने शुरू कर दिए हैं |दिल्ली का बेड़ा गर्क करने के बाद अब पंजाब की भी बर्बादी करने पर तुल गए हैं |लेकिन चुनावों से पहले ही इनकी असलियत जनता के सामने आ ही गई|इनके चार में से दो सांसद सस्पेंड करने के पश्चात तीसरे सांसद भगवंत मान ने भी विद्रोह का झंडा बुलंद कर दिया है |ओये ७५ % भैंस के पानी में जाने के बाद तो अब पंजाब से भी इनका सफाया होजाना है

झल्ला

ओ मेरे चतुर सुजाणों ये भगवंतमान असली स्टेज+फ़िल्मी कलाकार है | मंच और श्रोता देखकर इसे अपना रंग बदलना आता है |इसी गुण के बल पर आडिओ टेप में अरविन्द केजरीवाल और उनके खासुलखास सिपहसालार दबंग संजय सिंह की असलियत बेशक उजागर कर दी मगर बाद में मीडिया के सामने उन्होंने मुखिया में विश्वास जता ही दिया

आम आदमी पार्टी के अरविंद केजरीवाल और साथियों की हलफनामे पर जेल टली

आम आदमी पार्टी के सर्वोच्च नेता अरविंद केजरीवाल और प्रशांत भूषण सहित 5 नेताओं को बिना इजाजत प्रदर्शन करने के मामले में कोर्ट से आज राहत मिली है.| दिल्ली की एक अदालत ने इस मामले में इनकी गिरफ्तारी टाल दी है. कोर्ट ने इन सभी को अगली सुनवाई में प्रस्तुत होने का लिखित आश्वासन देने का आदेश दिया|आप के नेताओं ने जमानत करवाने के बजाय जेल जाना पसंद किया था उसके उपरान्त तारीख पर पेश होने के लिए केवल हलफनामा पर्याप्त मान कर गिरफ्तारी को टाल दिया गया |
यह मामला कोयला घोटाले को लेकर पीएम आवास, 10 जनपथ और शीला दीक्षित के घर के सामने हुए प्रदर्शन को लेकर दर्ज किया गया है| इन सभी लोगों धारा 144 लागू होने पर शांति भंग करने का आरोप लगाया गया है जबकि कुमार विश्वास पर सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने का भी आरोप लगा है.आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल ने आज मंगलवार ५ फरवरी को पटियाला हाउस कोर्ट के बाहर संवाददाता को कहा कि अगर मुझे बेल और जेल में चुनने को कहा गया तो मैं जेल को चुनूंगा| केजरीवाल के साथ प्रशांत भूषण+ मनीष सिसौदिया+ कुमार विश्‍वास भी मौजूद थे.इन नेताओं ने 8/2012 में कोयला घोटाला मामले में कांग्रेस अध्यक्षा श्रीमति सोनिया गांधी और प्रधानमंत्री डाक्टर मनमोहन सिंह के आवास के बाहर प्रदर्शन किया था। इनके खिलाफ पार्लियामेंट पुलिस थाने में तीन एफआईआर दर्ज कराई गई थी।आप ने कहा है कि ने कहा कि धारा-144 सुप्रीम कोर्ट के गाइडलाइन के खिलाफ लगाया गया था इसलिए यह गैर कानूनी था लेकिन फिर भी यदि कोर्ट हमें सजा देती है तो हम इसका सम्‍मान करेंगे.इस पर कोर्ट ने कहा है कि यदि आप लोग व्यवस्था में विशवास रखते हैं और सहयोग करते हैं तो यह मुकद्दमा मात्र छह महीने में खत्म किया जा सकता है|

विकास और बहुमत के ऊंट पर सवार सोणी मन मोहनी सरकार को कोई न कोई काट ही लेता है


झल्ले दी झल्लियाँ गल्लां

एक सोश्लाईट

ओये झल्लेया ये कौन सी नई भसुडी पड़ गई है| ओये बलात्कारियों के लिए फांसी की मांग करना भी गुनाह हो गया|एक तो ये पोलिस और सरकार मिल कर भी कानून व्यवस्था को पटरी में नहीं ला पा रहे ऊपर से शांतिपूर्वक आन्दोलन क्या हुआ पोलिस और सरकार दोनों ही पटरी से उतर गए| पोलिस और दिल्ली की सरकार आपस में ही टकराने लग गए |इस अप्रिय घटना क्रम से बचने के लिए अब नया ष्ट्राग शुरू हो गया है | प्रदर्शन स्थलपर बेचारे एक पोलिस कांस्टेबिल सुभाष तोमर की दुखद मौत होने का नाजायज़ फायदा उठा कर हसाडीनई नई “आप” को ही कांस्टेबिल तोमर का कातिल ठहराया जाने लगा हैजबकि ऊपर वाले की कृपा से वहाँ एक प्रत्यक्ष दर्शी योगेन्द्र ने एन डी टी वी पर पोलिस की पोल खोल क़र रख दी है | योगेन्द्र का कहना है कि उसने[योगेन्द्र] ने स्वयम कांस्टेबिल को गिरते हुए देखा था और उन्होंने ही उसे अस्पताल पहुँचाया था |इस आई विटनेस के अनुसार सिपाही खुद भागते हुए गिरा और अस्पताल पहुँचाया गया |ऐसे में सुभाष की मौत को कत्ल बता कर कैसा इन्साफ किया जा रहा है| ओये वोह सिपाही तो बेचारा हार्ट पेशेंट था फिर भी उसको ऐसी कड़ी डयूटी पर लगाया गयाजिसके कारण वोह गिरा | उसकी मौत की तो निष्पक्ष जांच होनी जरूरी है|

झल्ला

पुरानी कहावत है +रिवायत है +सियासत है और उस पर गाना भी बना था कि वोह अफसाना जिसे अंजाम तक लाना न हो मुमकिन उसे एक खूबसूरत मौड़ देकर छोड़ना अच्छा| लेकिन दुर्भाग्य से जब भाग्य या किस्मत या लक ख़राब हो तो ऊंट पर बैठने पर भी कुत्ता काट ही लेता है|ये हसाडी सोणी मन मोहनी सरकार का भी भाग्य ख़राब चल रहा है|तभी सब कुछ अच्छा होने पर भी इस प्रकार की तोहमत लगती ही जा रही है| और अफसानों को मौड़ देते समय खुद ही भम्भड़ भूसे में पड़ जाते हैं|

विकास के ऊंट पर बैठी सोणी मन मोहनी सरकार को कोई न कोई काट ही लेता है

कांस्टेबिल सुभाष तोमर की मौत के जुर्म में पकडे गए आठ युवको पर गैंग रेप के साथ ही फास्ट ट्रेक कोर्ट में मुकद्दमा चलाओ :केजरीवाल

दिल्ली पोलिस कांस्टेबिल सुभाष तोमर की मौत के जुर्म में पकडे गए आठ युवको पर गैंग रेप के साथ ही फास्ट ट्रेक कोर्ट में मुकद्दमा चलाओ :केजरीवाल

यह मांग आज “आप “के नेता अरविन्द केजरीवाल ने कौशाम्बी में की |इससे गलत फंसाए गए निर्दोष युवकों को भी जल्द न्याय मिल सकेगा|
श्री केजरीवाल ने आज पोलिस की ऍफ़ आई आर की कमजोरी और कोर्ट की आपत्तियों के हवाले से बताया कि कांस्टेबिल श्री सुभाष तोमर की मौत वाकई दुखद है|और इसके लिए दोषी व्यक्तियों के विरुद्ध कड़ी से कड़ी कार्यवाही होनी चाहिए लेकिन अगर किसी निर्दोष को झूठे मुकद्दमे में फंसा कर उनका कैरियर बर्बाद करने के किसी भी प्रयास का जम कर विरोध किया जायेगा|उन्होंने आरोप लगे किपोलिस द्वारा अब पोस्ट ऍफ़ आई आर सबूत घड़ने के प्रयास किये जा रहे हैं|
गौरतलब है कि गैग रेप के मामले में चल रहे आन्दोलन के कारण कुछ हिंसा भड़कने पर युवा और पोलिस कर्मी घायल हो गए थे|इनमे से कांस्टेबिल सुभाष तोमर को जख्मी हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां इलाज़ के बावजूद भी श्री तोमर की मृत्यु हो गई|सुभाष की हत्या के प्रयास के आरोप में दफा ३०७ के अंतर्गत आठ युवाओं को गिरफ्तार करके कोर्ट में पेश किया गया |सरकार की तरफ से इन आठ युवकों में से एक चमन को अरविन्द केजरीवाल की पार्टी का स्पोर्टर बताया जा रहा है |
इन आरोपों का खंडन करते हुए आज अरविन्द केजरीवाल ने कौशाम्बी में प्रेस कांफ्रेंस करके पोलिस की कार्यवाही पर आरोपों की झड़ी लगा दी | केजरीवाल और मनीष सिशोदिया ने कहा कि पोलिस ने जिन आठ युवकों पर धारा ३०७ का मुकद्दमा थोपा है वह पूर्णतया आधारहीन और फेब्रिकेटेड है|पोलिस द्वारा दर्ज़ कराई गई ऍफ़ आई आर में भी कोई तथ्य नहीं दिए गए हैं|कोर्ट ने भी मुकद्दमे में कोई जान नहीं देखते हुए अधिकाँश को जमानत दे दीहै| [धारा ३०७ में आसानी से जमानत मंजूर नहीं होती] मार्ग बंद होने के कारण कुछ जमानती नहीं आ पाए |उन्होंने कहा कि आठ में से एक चमन का नाम लेकर हिंसा भड़काने के लिए “आप “बाबा राम देव और जनरल वी के सिंह पर आरोप लगाये जा रहे हैं हमारा[केजरीवाल] का आन्दोलन पिछले डेड साल से चल रहा है मगर हमेशा शांतिपूर्वक रहा है अब हम [केजरीवाल ]पर आरोप लगा कर न जाने पोलिस कौन सा हिसाब बराबर करने पर तुली हैं
इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि पोलिस और सरकार द्वारा यह कहा जा रहा है कि आठों आरोपियों की जमानत “आप ” के मनीष सिशोदिया ने ली है तो यह आरोप भी सरासर गलत है जिनकी भी जमानत हुई है उनके रिश्तेदारों ने ही कराई है|उनके साथ आरोपियों के वकील भी थे |