Ad

Tag: अजय देवगन

फिल्मो से जुड़े विवाद जब तक है जान + सन ऑफ सरदार और ‘खिलाड़ी ७८६ के लिए लक्की होंगें ?

कहा जता है कि विवाद फिल्मों के लिए लकी साबित हो रहे हैं इसीलिए तीन बड़ी फिल्मों से विवाद जुड़ने से इन फिल्मों के रिलीज होने से पहले ही हिट होने की भविष्य वाणी होने लगी है| जब तक है जान’ और ‘सन ऑफ सरदार’ के साथ खिलाड़ी ७८६ को लेकर विवाद जुड़ गए हैं|जब तक है जान’ और ‘सन ऑफ सरदार’ के रिलीज किये जाने के मामले में शह और मात के खेल में अजय देवगन को पहली मात मिल गयी है। अजय देवगन जिस बात को आधार बनाकर कोर्ट गए थे कोर्ट ने उसे खारिज कर दिया है। देवगन ने अपनी याचिका में यशराज फिल्म्स पर हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में अपनी मजबूत स्थिति का फायदा उठाने का आरोप लगाया था। लेकिन इसके साथ ही उन्होंने इस फिल्म के हीरो शाहरुख़ खान पर कोई टिप्पणी करने से मना कर दिया|कॉम्पिटिशन कमिशन ऑफ इंडिया (सीसीआई) ने यशराज फिल्म्स के खिलाफ ऐक्टर अजय देवगन की इस याचिका को खारिज कर दिया है।
वर्तमान में अजय देवगन को सरवाईवल के लिए जल्द ही एक अदद हिट फिल्म चाहिए और उधर यश चोपड़ा की मृत्यु के पश्चात शाहरुख़ खान की भावनाएं भी फिल्म से जुड़ी है|इसीलिए ये दोनों ही अपनी फिल्म पहले और ज्यादा से जयादा स्क्रीन पर रिलीज चाहते हैं| लेकिन इस छेत्र में यश बैनर आगे निकल गया है|
सीसीआई ने याचिका को खारिज करते हुए कहा कि इसका कोई आधार नहीं है। यश जौहर प्रोडक्‍श्‍ान ने अपनी स्थिति का अनुचित लाभ नहीं उठाया है। उन्होंने उतने ही प्रयास किए हैं जितने की कोई भी ग्रुप अपनी फिल्म को प्रमोट करने के लिए करता है। अजय देवगन फिल्म्स प्राइवेट लिमिटेड ने सीसीआई में अपील दायर कर कहा था कि यशराज फिल्म्स ने अपनी मजबूत स्थिति का फायदा उठाते हुए एक्जिबिटर्स से कहा है कि वे शाहरुख खान की ‘जब तक है जान’ के लिए ज्यादा स्क्रीन उपलब्ध कराएं। ये दोनों फिल्मे पंजाबी कल्चर बेस्ड है इसीलिए इनमे दर्शकों के बाँट जाने का खतरा माना जा रहा है| सम्भवत इसीलिए जब तक है जान के वितरक+निर्माता और प्रोमोटर्स कोई रिस्क न लेकर ज्यादा से जयादा स्क्रीन बुक करा रहे है|जाहिर है ऐसे में सन आफ सरदार के लिए स्क्रीन कम पड़ रही हैं|

फिल्मो से जुड़े विवाद जब तक है जान + सन ऑफ सरदार और ‘खिलाड़ी ७८६ के लिए लक्की होंगें ?


यह दोनों ही फिल्में दीवाली के दिन रिलीज हो रही हैं। सन आफ सरदार और जब तक है जान की इस लड़ाई में अब सलमान खान भी कूद पड़े हैं। सलमान और शाहरुख में पुराना छत्तीस का आंकड़ा है|ऐसे में यश राज फिल्म और अजय देवगन फिल्म में खींचतान के चलते सलमान ने भी अजय से अपनी दोस्ती निभाते हुए अजय के कंधे पर बंदूक रख सीधा निशाना शाहरुख पर साधा है।इस पूरी लड़ाई के चलते अजय देवगन ने कहा कि मैं विलन नहीं हूं।अजय देवगन का कहना है कि मुझे मालूम है कि कानूनी नोटिस के बाद मुझे विलन का रोल निभाना पडे़गा। सन आफ सरदार और जब तक है जान के बीच यह निष्पक्ष लड़ाई है। मैं चाहता हूं दोनों फिल्में अच्छा काम करें और ज्यादा से ज्यादा लोग इसे देखें।अक्षय कुमार की बहुप्रतीक्षित फिल्म

‘खिलाड़ी 786’ पर मनसे का विरोध

के एक सीन को फिर से शूट किया जाना था। इसके लिए मुंबई के कॉलेज में फिल्म का सेट लगाया गया। इस सीन में अक्षय कुमार की भूमिका नहीं थे। सूत्रों के अनुसार जिस समय फिल्म की शूटिंग चल रही थी उस समय महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के कार्यकर्ताओं ने आकर शूटिंग रोकने की बात कही। उन्हें इस फिल्म के नाम पर आप‌त्ति है। टाईटल में ७८६ के अंकों को इस्लाम में पाक माना जाता है| शूटिंग में मौजूद लोगों ने विवाद को आगे न बढ़ाते हुए शूटिंग रोक दी। अब यह देखना है कि अक्षय कुमार इस मामले को किस तरह से ‌निपटाते हैं। मनसे के कार्यकर्ता पहले भी अलग-अलग वजहों से कई फिल्मों की शूटिंग रोकते रहे हैं। अक्षय कुमार की यह फिल्म सात दिसंबर को रिलीज हो रही है। इस फिल्‍म के नाम की वजह से अक्षय कुमार को पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने फिल्म के प्रमोशन के लिए आमंत्रित कर रखा है। उनका कहना है कि यह नाम इस्लाम के लिए पाक है।

मोदी जोगने को विदेशों से मान्यता मिल रही है अब देश में जोगी का रूतबा भी मिल ही जाएगा

भारत में कहा जाता है घर का जोगी जब तक बाहर प्रसिधी नहीं पाता तब तक जोगना ही रहता है शायद इसीलिए गुजरात के मुख्य मंत्री नरेन्द्र मोदी भी केंद्र सरकार के लिए जोगना ही हैं|एन डी ऐ और यूं पी ऐ के अनेकों घटकों ने मोदी को अछूत भी घोषित किया हुआ है|मोदी के नाम पर नितीश कुमार और मुलायम सिंह का बिदकना जग जाहिर है लेकिन अभी हाल ही में ग्रेट ब्रिटेन ने जिस तरह मोदी के विकास को मान्यता दे दी है और एक और समाचार के अनुसार अब अमेरिका भी गुजरात के विकास में अपने यहाँ की मंदी का पाप धो लेना चाह रहा है इससे लगता है कि जोगना मोदी भी जल्दी ही देश में जोगी का रुतबा+मुकाम+सम्मान पाने जा रहा है|
लोक कल्याण मामलों के सहायक विदेश मंत्री माइक हैमर ने कहा है कि अमेरिका किसी भी वीजा आवेदन का मूल्यांकन योग्यता और अमेरिकी नियमों के मुताबिक करेगा।
संवाददाता सम्मेलन के दौरान बताया गया कि आप जानते हैं कि हम किसी व्यक्ति विशेष के वीजा मामले से जुड़े सवालों में नहीं पड़ते।
नरेंद्र मोदी के बारे में ब्रिटेन के हालिया सकारात्मक फैसले के संदर्भ में पूछे गए एक प्रश्न के उत्तर में मोदी के प्रति अमेरिका की एक दशक पुरानी नीति बदलने का संकेत दिया गया है|
गौरतलब है कि ब्रिटेन और अमेरिका समेत कुछ देशों ने गुजरात में २००२ के दंगों के बाद मोदी से संपर्क न रखने की नीति अपनाई थी।ब्रिटेन ने गुजरात के साथ विदेशी निवेश पर कोई साझेदारी भी नहीं की थी ब्रिटिश फैसले पर अमेरिका की बड़ी अखबार वाशिंगटन पोस्ट ने लिखा है कि विश्व में तेजी से विकसित हो रही अर्थव्यवस्था के उद्यम प्रिय सरकारी अधिकारी बहुत सी राजनीतिक बाधाएं हटा सकते हैं। भारत मामलों के नए ब्रिटिश मंत्री ह्यूगो स्वायर ने एक बयान में कहा कि मैंने नई दिल्ली स्थित ब्रिटिश उच्चायुक्त को मोदी से मिलाने को कह दिया गया है| ब्रिटेन के इस रुख को पश्चिमी देशों में मोदी की बदलती छवि के तौर पर भी देखा जा रहा है। ब्रिटेन के इस कदम का स्वागत करते हुए मोदी ने भी कहा है कि गाड इज ग्रेट |देर आए दुरुस्त आए।
मोदी ने इस बदलाव को राजनीयिक परिपेक्ष्य में भुनाते हुए तत्काल केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि गुजरात का महत्व सात संमदर दूर बैठे लोग समझते हैं लेकिन दिल्ली में बैठे लोगों को समझ में नहीं आता है। केन्द्र सरकार की ओर से कभी भी गुजरात को शाबाशी नही दी गयी, हमेशा उससे दोहरा बर्ताव किया गया।मोदी ने कहा, कि दिल्ली में सौ देशों के नेता एक मंच पर एक साथ नहीं आए। लेकिन ‘वाइब्रेंट गुजरात समिट’ में 120 से ज्यादा देशों के नेता एक साथ आए हैं। मोदी ने साफ कही कि अगर केन्द्र सरकार हमारे साथ होती तो भारत का नाम बहुत ऊंचा होता और गुजरात की जनता को वोह सारी दिक्कतें नहीं सहनी पड़ती जो आज सहनी पड़ रही हैं|
अब दस साल बाद इन विकसित देशों का नरेन्द्र मोदी के प्रति ह्रदय परिवर्तन एक दम या अचानक नहीं हो गया है|दरअसल वहां रहने वाले गुजरात मूल के व्यापारिओं की लाबी बेहद शक्तिशाली है और राजनीतिक दान में भी विशवास रखती है इन लोगों में नरेन्द्र मोदी अच्छे खासे प्रसिद्ध हैं| मोदी ने अपने देश में भी तमाम अपमान जनक स्थितिओं को झेलते हुए भी प्रदेश का विकास कार्यक्रम जारी रखा यहाँ तक कि
रतन टाटा से नैनो की फेक्ट्री लगवाई +

मोदी जोगने को विदेशों से मान्यता मिल रही है अब देश में जोगी का रूतबा भी मिल ही जाएगा

अमिताभ बच्चन को गुजरात का ब्रांड अम्बेसडर बनाया + अजय देवगन के साथ इंटर नेट पर छाए इसीलिए अब गुजरात में विकास की धाराएँ देखी जाने लगी है| |उधर आर्थिक मंदी की मार झेल रहे इन विकसित देशों को नया बाज़ार चाहिए जो उन्हें अब गुजरात में दिखाई दे रहा है|यहाँ यह कहना भी अतिशियोक्ति नहीं होगा की गुजरात में चुनावी प्रक्रिया चल रही है और चुनावी हवा कुछ हद तक गुजरात के विकास पुरुष कहे जा रहे नरेन्द्र मोदी के पक्ष में बह रही प्रतीत होती है| ऐसे में अक्लमंद व्यापारी के लिए अपना पैसा इन्वेस्ट करने के लिए फिलहाल गुजरात ही फायदे मंद साबित हो सकता है|