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Tag: इंडिगो

नागरिक उड्डयन प्रबंधक पर एयर लाइन्स को अनाधिकृत फेवोर का आरोप:इंडिगो और जेट एयर वेज की फंडिंग रुकी D V B Charges

नागरिक उड्डयन प्रबंधक[डी.जी सी ऐ] द्वारा [ निजी]भारतीय एयर लाइन्स[किंग फ़िशर] को अनाधिकृत रूप से फेवोर करने का आरोप लगा कर केस दर्ज़ किया गया है और लगातार फायदा दिखा रही निजी कम्पनी इंडिगो और जेट ऐरवेज को भविष्य के कार्यक्रमों के लिए लोन दिए जाने पर पर पाबंदी भी लगा दी गई है| विश्व के सबसे बड़े एयर क्राफ्ट[जर्मन] बैंकर डी.वी.बी द्वारा यह कार्यवाही की गई है|.इस प्रकार की कार्यवाही से एक बार फिर से सिविल एविएशन मंत्रालय की कार्यविधि और सिविल एविएशन में विदेशी निवेशकों के भरोसे पर सवालिया निशाँ लग गया है|
डी वी बी द्वारा लगाये गए आरोप के अनुसार किंग फ़िशर पर कंपनी की लेन दारी के चलते कम्पनी के दो विमान कब्जाए गए थेये दोनों विमान अब टर्की में हैं मगर इनकी रजिस्ट्रेशन से मुक्ति में डी जी सी ऐ द्वारा विलंभ किये जाने से क़र्ज़ में डूबी किंग फ़िशर को लाभ पहुंचाया गया है और विश्व विख्यात फायनेंसर डी वी बी को हानि उठानी पड़ी है| भारत सरकार को कटघरे में खड़ा करते हुए डी वी बी ने भारतीय एयर लाइन्स विशेष कर इंडिगो और जेट एयर वेज की फंडिंग पर रोक लगा दी है|

इकोनोमी टाईम्स ने डी वी बी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष कार्सटेन गर्लेच[

नागरिक उड्डयन प्रबंधक पर एयर लाइन्स को अनाधिकृत फेवोर का आरोप:इंडिगो और जेट एयर वेज की फंडिंग रुकी D V B Charges

के हवाले से लिखा है की डी जी सी ऐ और किंग फ़िशर के विरुद्ध दायर इस रिपोर्ट पर पहली सुनवाई अगले वर्ष की ८ अप्रैल को होगी|बेशक इसका तत्काल असर न पड़े मगर इंडिगो की भविष्य[२०१६-२५] में ७२ हज़ार करोड़ के १८० एयर बस की खरीद के लिए फायनेंस जुटाना मुश्किल हो जाएगा| इसी प्रकार वाडिया ग्रुप की गो एयर [७२ एयर बस].जेट ऐरवेज[१० बी ७८७] भारतीय एयर इंडिया के २७ ड्रीम लाईनर्स का प्रोजेक्ट भी खटाई में पड़ता दिख रहा है| गौरतलब है की विश्व भर में ९०० एयर क्राफ्ट्स के लिए फंड्स मुहय्या करवाने वाली इस डी वी बी कंपनी को किंग फ़िशर एयर लाइन के दो पुराने विमानों को बेच कर केवल ४७ मिलियन डालर्स ही मिलने की संभावना हैलेकिन भारत में इनके पंजीकरण को समाप्त करने में आनाकानी के कारण सरकार की इस छेत्र में की जा रही तमाम सुधारात्मक प्रयासों को धक्का पहुँचाना स्वाभाविक है|
सेबी चेयरमैन यूके सिन्हा ने इन्वेस्टमेंट बैंकिंग सम्मेलन में यह कहा है कि बैंकर निवेशकों खासकर खुदरा निवेशकों का भरोसा बनाए रखने के लिए जरूरी उपाय किये जाने चाहिए
मर्चेट बैंकर यह तर्क दे सकते हैं लिस्टिंग प्राइस या अर्थव्यवस्था के लिए वे जिम्मेदार नहीं हैं। लेकिन आंकड़ों को देखते हुए बैंकरों को आत्मनिरीक्षण करने की जरूरत हैलेकिन डी वी बी के आरोपों को देखते हुए इंडिगो,एयर इंडिया,स्पाईस जेट,जेट ऐरवेज आदि विमानन कंपनियों के साथ इनके नियामक के लिए उत्तरदाई डी जी सी ऐ की कार्यप्रणाली में आत्म निरीक्षण के साथ पारदर्शिता जरुरी हो गई है|

एयर पोर्ट पर ट्रैफिक कंट्रोल लडखडाया स्पाईस जेट का प्लेन आई जी आई पर टकराया :यात्री सुरक्षित

स्पाईस जेट कम्पनी का एक विमान बिजली के खम्भे से टकरा कर दुघटना ग्रस्त होगया| जिससे विमान का एक हिस्सा[विंग]क्षतिग्रस्त होगया|इस हादसे से कुछ यात्रियों को चोटें भी आई हैं|
इंदिरा गांधी एयर पोर्ट[ आई जी आई]से गुरूवार को यात्रियों से भरे विमान जब रनवे की तरफ टेक आफ के लिए जा रहा था तब अप्रोन के समीप किसी अनहोनी से पायलेट घबरा गया और रास्ते के हाई पास्ट खम्भे से टकरा गया|विमान से यात्रियों को निकालने के लिए लगभग डेड घंटा लगा|कुछ लोगों को मामूली चोटें आई है किसी बड़ी अनहोनी का समाचार नहीं है सभी यात्रिओं की जान बच गई बताई जा रही है| जाँच के आदेश दे दिए गए हैं|
टेक्सी से रनवे पर जाने के लिए मार्ग दिशा निर्देश डी जी सी ऐ को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है| इससे पूर्व २९ जुलाई को भी स्पाइस जेट और इंडिगो के प्लेन्स में एक्सीडेंट हो चुका है|

एयर ट्रेफिक कण्ट्रोल व्यवस्था का भी ओवर हालिंग किया जाना जरूरी हो गया है

रोड ट्रैफिक की तरह लगता है कि एयर ट्रैफिक में भी अब समस्याएं आने लग गई हैं| अब एयर ट्रेवलर्स की जान भी दावं पर लगाई जा रही है| यह तो गनीमत है कि हादसे अभी तक अपने आप टल रहे हैं|दिल्ली के इंदिरा गाँधी इंटर नेशनल एयर पोर्ट पर चार प्लेन टकराने से बचे तो लखनऊ के चौधरी चरण सिंह हवाई अड्डे पर लैंडिंग करते समय एक प्लेन के सामने एक हेलीकाप्टर आ गया |दिल्ली के हादसे को छोटा मोटा बता कर इसकी जांच कि भी जरुरत नहीं समझी गई अब देखना है कि लखनऊ के हादसे की जांच होगी के नहीं अगर होगी तो कब तक पूर्ण होगी

एयर ट्रेफिक कण्ट्रोल व्यवस्था का भी ओवर हालिंग किया जाना जरूरी हो गया है


वरना तो वोह दिन दूर नहीं जब एयर प्लेन हवा में भी आपस में टकराने लगेंगे | ये दोनों एयर पोर्ट्स देश के दो प्रधान मंत्रियों को समर्पित हैं|इनमे से एक प्रधान मंत्री वर्तमान विमानन मंत्रालय के मंत्री हैं|
प्राप्त जानकारी के अनुसार चौधरी चरण सिंह हवाई अड्डे पर सोमवार शाम को एक हेलीकाप्टर लैडिंग के दौरान इंडिगो एयरलाइंस के जहाज के सामने आ गया।
पता चला है कि पड़ताल की जा रही है कि हेलीकाप्टर के होने के बावजूद विमान लैडिंग के लिए रनवे के करीब कैसे पहुंचा| मुंबई से लखनऊ आने वाली इंडिगो एयरलाइंस की उड़ान संख्या 342 में क्रू सदस्यों के अलावा 180 यात्री सवार थे।
इससे पूर्व इंदिरा गाधी एयरपोर्ट पर करीब सात बजे एक बड़ा हादसा होते-होते उस समय टल गया, जब चार विमान आपस में टकराते-टकराते बचे।
एक निजी विमान रन-वे 28 पर खड़ा था। एटीसी ने उसे निर्देश दिया कि वह रन-वे-28 को खाली करे। क्योंकि उस रन-वे से कुछ ही समय में जेट एयरवेज की दिल्ली-दोहा (दुबई) फ्लाईट उड़ान भरने वाली थी। इसके अलावा इसी रन-वे पर जेट एयरवेज की दूसरी फ्लाईट चेन्नई से आ रही थी। इसी दौरान चेन्नई से एक निजी विमान लैंड कर गया। वह टर्मिनल तीन से टर्मिनल एक क्रास करते हुए इस रन-वे पर आ गया। एटीसी ने जब यह दृश्य देखा तो उनके होश उड़ गए। एटीसी ने तत्काल सूझबूझ का परिचय देते हुए पहले दोहा के लिए उड़ान भरने के लिए तैयार जेट एयरवेज के विमान को उड़ान रोकने का निर्देश दिया। इस विमान में करीब दो सौ यात्री थे। इसके बाद चेन्नई से आ रहे विमान को रनवे पर उतरने से मना किया गया। तब जाकर एक बड़ा हादसा होने से टला और अधिकारियों ने राहत की सास ली
एयर ट्रेफिक कण्ट्रोल (ATC) की सर्विस ग्राउंड -बेस्ड कंट्रोलर्स द्वारा प्रोवाइड कराई जाती है|इनके दिशा निर्देश पर ही एयर क्राफ्ट्स का मूवमेंट होता है|अर्थार्त हवाई जहाज़ों का आपस में टकराव रोकने के लिए यह व्यवस्था की गई है| लेकिन हादसों की संख्या में बढोत्तरी को देख कर लगता है की इस व्यवस्था का भी ओवर हालिंग किया जाना जरूरी है|

स्पाइसजेट ने इस तिमाही में लागत पर ७७ करोड़ रुपये नियंत्रित किये

देश की तीसरी बड़ी निजी विमानन कम्पनी स्पाइसजेट ने लागत पर ७७ करोड़ रुपयों को नियंत्रित करके 163.5 करोड़ रुपये का घाटा बुक किया | इस वित्त वर्ष की सितम्बर को समाप्त तिमाही पर प्रकाशित बैलेंस शीट में घाटा 32 फीसदी गिरकर 163.5 करोड़ रुपये दिखाया गया है| जबकि बीते साल समान अवधि में कंपनी को 240.07 करोड़ रुपय का नुकसान हुआ था।
चेन्नई की विमानन कंपनी के अनुसार बीते साल इस तिमाही में कंपनी को 240.07 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था।

स्पाइसजेट ने इस तिमाही में लागत पर ७७ करोड़ रुपये नियंत्रित किये


सितंबर 18.5 फीसदी के आंकड़ों के साथ बाजार हिस्सेदारी के मामले में इंडिगो और एयर इंडिया के बाद देश की तीसरी बड़ी विमानन कंपनी स्पाइसजेट ने कहा कि इस तिमाही के दौरान प्रति यात्री विमानन कंपनी की आमदनी में 37 फीसदी का इजाफा हुआ। में पिछले साल जुलाई-सितंबर में कंपनी को 240 करोड़ रुपये का घाटा हुआ था।