झल्ले दी झल्लियां गल्लां
चिंतित भाजपाई
ओये झल्लेयाये आम आदमी का बिल्ला टाँगे अरविन्द केजरीवाल कौन सा नया खेल हसाडे नाल खेल रहा है |कभी कहता है जनता की सेवा के लिए मर मिटेगा |फिर कहता है किमर जायेंगे मगर भाजपा में नहीं जायेंगे|ओये अब फरमा रहे हैं कि नरेंद्र मोदी जी अगर गैस की पालिसी बनाये तो भाजपा में शामिल हो सकते हैं यारा ऐसे राष्ट्रीय पॉलिटिक्स चलती है क्या?
झल्ला
अरे मेरे भोले सेठ जी ये केजरीवाल को तो आज कल टोपी पहनने और पहनाने का चस्का लगा हुआ हैपहले कांग्रेस को टोपी पहना कर दिल्ली में ४९ दिन राज किया| अब बड़ा हाथ मारने के लिए नरेंद्र मोदी को टोपी पहनाने की जुगत मैं हैं लेकिन बेचारे भूल गए कि ये नरेंद्र नामक मोदी तो किसी की भी टोपी पहनता ही नही है | केजरीवाल ने चांदनी चौक के शाही ईदगाह पर कांग्रेसी कपिल सिब्बल के गले मिल कर टोपियां अदला बदली तो आसानी से कर ली थी मगर मोदी के सर के साइज की टोपी भी आसानी से नहीं मिलेगी
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