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Tag: YogendraYadav

स्वराज अभियान ने दिल्लीसरकार के सर्कुलर को असंवैधानिक बताते हुए”आप”को पारदर्शिता का पाठ पढ़ाया

[नई दिल्ली]स्वराज अभियान ने दिल्लीसरकार के सर्कुलर को असंवैधानिक बताते हुए”आप”को पारदर्शिता का पाठ पढ़ाया |
स्वराज अभियान ने दिल्ली सरकार के मीडिया विरोधी सर्कुलर को असंवैधानिक बताते हुए “आप” पार्टी को पारदर्शिता का पाठ पढ़ाया |
प्रेस विज्ञप्ति जारी करके योगेन्द्र यादव द्वारा खड़ी की गई स्वराज अभियान ने अभिव्यक्ति की आजादी के समर्थन में कहा है के दुर्लभ हालातों में न्यायिक व उचित रोक ही लगाईं जा सकती है| स्वराज अभियान की राय में मानहानि के कानून को अपराधिक प्रकृति का नहीं माना जाना चाहिए| सार्वजानिक जीवन में व विशेष तौर से सत्ता में बैठे लोगों को इतना नाजुक नहीं होना चाहिए कि उनकी आलोचना या उनके बारे में किसी नागरिक द्वारा कहे गए शब्दों को मानहानि मान लिया जाये |
गौरतलब है के दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार के सूचना व प्रसारण निदेशालय ने 6 मई 2015 को एक सर्कुलर जारी किया है | जिसमें नितिगत फैसला लेते हुए कहा गया है कि यदि कोई व्यक्ति दिल्ली के मुख्यमंत्री+मंत्री+ सरकारी अधिकारी पर सरकारी काम को पूरा करते हुए उस द्वारा किये गए किसी आचरण पर कोई मानहानिजनक आरोप लगाता है, तो सरकार का विभाग उस व्यक्ति पर मानहानि के लिए अपराधिक दावा करेगा | सर्कुलर के अनुसार सरकारी अभियोजक द्वारा मानहानि का मामला अदालत में ले जाया जाएगा.इस सर्कुलर को जनता के टेक्स के पैसे का दुरूपयोग बताय गया है |
इस विषय में सर्वोच्च न्यायालय के निम्न निर्णय का भी उल्लेख किया गया है
“देश की सर्वोच्य अदालत ने करतार सिंह के केस में 1956 में दिए अपने एक फैसले में कहा है कि सार्वजानिक पदों पर बैठे लोगों को आरोपों व आलोचना के लिए तैयार रहना चाहिये | जो सरकारी पद पर बैठता है वह जनता को अपनी गहरी छानबीन के लिए प्रतिबद्ध करता है |

“आप”पार्टी के नोटिस को असंतुष्ट योगेन्द्र यादव ने एक मजाक बताया और पार्टी के चरित्र पर सवाल उठाये

[नई दिल्ली]”आप”पार्टी के कारण बताओ नोटिस को योगेन्द्र यादव ने एक मजाक बताया और पार्टी के चरित्र पर सवाल उठाये |
आम आदमी पार्टी के असंतुष्ट गुट के नेता योगेन्द्र यादव ने ट्विटर और फेस बुकपर इस नोटिस को हास्यास्पद +जोके बता कर इसका मजाक उड़ाया है |
स्वराज संवाद के दौरान सत्ता रुड दल की आँखों की किरकिरी बने श्री यादव ने ट्वीट्टरपर हैशटैग #WhatAJoke के साथ कहा है के शिकायत करता और प्रत्यक्षदर्शी स्वयं ही जज हैं श्री यादव ने इस मजाक को फेस बुक पर भी पोस्ट किया है उन्होंने पार्टी की कार्यप्रणाली पर प्रश्न चिन्ह लगाते हुए कहा के शो कॉज नोटिस का मजबून पहले प्रेस में लीक कराय गया उसके बाद उसे यादव तक भिजवाया गया जबकि यही आरोप श्री यादव पर लगाये गए हैं गौरतलब है के पत्रकार से पॉलिटिशियन बने आशुतोष ने बीते दिनों मीडिया में नोटिस की जानकारी दी थी आजकल असंतुष्टों की आलोचना करने में ये अग्रणीय भूमिका में है

“आप”के असंतुष्टों को बागी और क्रन्तिकारी का अंतर मालूम होगा इसीलिए नई पार्टी को”ना”कहा होगा

झल्ले दी झल्लियां गल्लाँ

आम आदमी पार्टी चेयर लीडर

ओये झल्लेया ये योगेन्द्र और प्रशांत ने क्या नया ष्टरागमचा रखा है ? ये तो पीछा ही नहीं छोड़ रहे |स्वराज संवाद के नाम पर हजारों कार्यकर्ताओं को बरगला कर बुला तो लिया लेकिन नई पार्टी तो बनाई ही नहीं अब कह रहे हैं कि पार्टी के अंदर ही रह कर हसाडे सर के लिए दर्द पैदा करेंगे |ओये यारा ऐसे कैसे हसाडे दिल्ली की सरकार चलेगी?

झल्ला

ओ मेरे चतुर हो चुके भापा जी !भूषण परिवार +योगेन्द्र यादव+प्रो आनंद कुमार+ अजित झा+ आदि आदि सभी पढ़े लिखे हैं |इन्हें बाग़ी और क्रांतिकारी का अंतर मालूम है इन दोनों के अंत का अंतर भी मालूम है |इसीलिए मात्र बागी होकर इतिहास के पन्नों में दफन होकर रह जाने के बजाय इन्हें क्रन्तिकारी बन कर व्यवस्था को बदलने की कवायद में दानिशमन्दी दिख रही होगी

केजरीवाल की हठधर्मिता नहीं वरन शांति भूषण के अविश्वास के कारण असंतुष्टों से समझौता वार्ता टूटी

अरविन्द केजरीवाल की हठ धर्मिता नहीं नहीं वरन शांति भूषण के अविश्वास के कारण असंतुष्टों से समझौता वार्ता टूटी |,मध्य प्रदेश की इकाई संयोजक, आलोक अग्रवाल ने यह बयान दिया इसके लिएउन्होंने आतिशी मार्लेना के पत्र को आधार बनाया| श्री अलोक के अनुसार
आम आदमी पार्टी की पूर्व राष्ट्रीय प्रवक्ता आतिशी मार्लेना द्वारा प्रशांत भूषण और योगेन्द्र यादव को लिखे पत्र यह कहा गया है कि उनकी मांगों को स्वीकार करते हुए दोनों पक्षों में एक सहमती बन गयी थी परन्तु शांति भूषण के उसे न मानने के कारण वह सहमती टूट गयी|प्रशांत भूषण द्वारा इस विषय में यह कहकर इसका खंडन किया गया है कि आतिशी इस मीटिंग में नहीं थी अतः उन्हें जानकारी नहीं है.
श्री अलोक ने मीटिंग में होने का दावा करते हुए कहा है कि “चूँकि मैं उस मीटिंग में स्वयं मौजूद था अतः मैं उस दिन की सम्पूर्ण सच्चाई रखना चाहता हूँ. सर्वप्रथम मैं स्पष्ट करना चाहता हूँ कि आतिशी की सभी बातों का मैं समर्थन करता हूँ और उस में कही गयी बातें पूरी तरह से सच हैं”.

केजरीवाल गुट के शक्ति प्रदर्शन के जवाब में असंतुष्ट गुट ने भी शक्ति परखने को वालंटियर्स की मीटिंग बुलाई

आप के सत्ता रुड गुट के शक्ति प्रदर्शन के पश्चात अब असंतुष्ट गुट ने भी अपनी शक्ति परखने के लिए वालंटियर्स की मीटिंग बुलाई|आम आदमी पार्टी की २८ मार्च को हुई नेशनल कॉउन्सिल्स की मीटिंग में सत्ता रुड अरविन्द केजरीवल गुट के शक्ति प्रदर्शन के पश्चात अब निकाले गए असंतुष्ट योगेन्द्र यादव+प्रशांत भूषण+प्रो.आनंद+अजित झा आदि ने बाबा भीम राव आंबेडकर के जन्म दिन १४ अप्रैल को एक मीटिंग बुलाई है |विभिन्न चैनलों और न्यूज़ एजेंसियों को दिए साक्षात्कार में बुद्धिजीवी योगेन्द्र यादव ने आम आदमी पार्टी की आंदोलन वाली मूल भावना को जीवित रखने के लिए इस मीटिंग को बुलाये जाने के संकेत दिए हैं
यदपि पत्रकारों द्वारा अनेकों बार अनेकों तरह से नई पार्टी के गठन की संभावनाओं को तलाशने का प्रयास किया मगर एक मंझे हुए पॉलिटिशियन की भांति योगेन्द्र नई पार्टी के गठन के विचार व्यक्त करने से बचते रहे|लेकिन कहा जा रहा है कि १४ अप्रैल की मीटिंग में आने वाले वॉलंटियर्स कि संख्या और उनके विचारों से अगर इन्हें पर्याप्त ऊर्जा मिली तो निकट भविष्य में नई पार्टी का गठन किया जा सकता है |
उन्होंने निकट भविष्य में पार्टी से उन्हें निकालने के लिए विरोधियों द्वारा षड्यंत्र रचना की तरफ भी इशारा किया|
अपने विरोधियों पर प्रहार करते हुए योगेन्द्र से यादव ने अरविन्द केजरीवाल को अपने चाटुकारों से सावधान रहने की नसीहत दे डाली|

AAP’s Ousted Leaders Raises10 Allegations On Ruling Group And May Knock Legal Doors

[New Delhi]#AAPreAAP
AAP’s Ousted Leaders Raises 10 Allegations On Ruling Group And May Knock Legal Doors
Terming as unconstitutional and illegal AAP’s National Council meeting where they were ousted from a key panel, dissidents Yogendra Yadav and Prashant Bhushan today did not rule out taking legal recourse against their removal.
Prashant Bhushan Said Option of taking legal recourse against today’s decision by the National Council meeting open
Ousted Leaders Have Alleges;
[1]The entire National Council meeting was unconstitutional and illegal,
[2] There was no identification of voting and non-voting members during the National Council,
[3]There was bogus voting in the meeting
[4]Arvind Kejriwal had threatened to quit from all party posts if the National Council members wanted to keep Yogendra and Bhushan:
[5] Many of the National Council members who supported us were injured
[6] Goons were brought to the meeting.
[7]The meeting was a total farce
[8]Democracy has been murdered in the National Council meeting
[9] Our supporters were beaten up inside the meeting. ,
[10] Prashant Said After his and Prashant Bhushan’s expulsion Whatever Kejriwal was heard saying in a sting yesterday was played out in the entirety in today’s meeting,

“आप” की राष्ट्रीय परिषद की मीटिंग की वीडियो बने और अनधिकृत वालंटियर्स नहीं जाएँ :प्रशांत भूषण

[नई दिल्ली]”आप” की राष्ट्रीय परिषद की मीटिंग की वीडियो बने और अनधिकृत वालंटियर्स नहीं जाएँ :प्रशांत भूषण आप पार्टी के असंतुष्ट गुट ने सत्तारुड गुट के खिलाफ बिगुल बजा दिया |इस युद्ध को “आप”पार्टी की लोकतांत्रिक आत्मा की रक्षा के लिए तानाशाह अरविन्द केजरीवाल के खिलाफ संघर्ष का नाम दिया गया है |राष्ट्रीय परिषद के सचिव को चिट्ठी लिखी गई है इसमें राष्ट्रीय परिषद की मीटिंग सही तरीके से कराने की मांग की गई है मीटिंग निरस्त नहीं की जानी चाहिए+बंद कमरे में भी मीटिंग की विडिओ ग्राफी कराइये+वोटिंग सीक्रेट बेलेट से हों एमएलऐ की वोटिंग राइट नही हैं| योगेन्द्र और प्रशांत ने यह घोषणा भी की कि स्वराज+विकेंद्रीयकरण+मर्यादा उललंघन+२ करोड़ चेक+शराब+डिग्री+दिल्ली में सरकार गठजोड़ वॉलंटियर्स को वोटिंग राइट्स + नेशनल एग्जीक्यूटिव की रिक्तियों की पूर्ती आदि मुद्दों पर उठाये गए सवालों को हल कर दिया जाता है तो ये आज भी इस्तीफ़ा देने को तैय्यारहैं
योगेन्द्र यादव+प्रशांत यादव+प्रो.आनंद कुमार द्वारा अटेंड की गई प्रेस कांफ्रेंस में राष्ट्रीय परिषद की २८ तारीख की मीटिंग में उन वॉलंटियर्स को मीटिंग में नहीं जाने का आग्रह किया गया जो परिषद के सदस्य नहीं हैं |प्रशांत भूषण और योगेन्द्र यादव ने इस्तीफ़ा देने की खबर को झूठ का पुलंदा बताया| उन्होंने बताया कि उन्होंने कभी इस्तीफ़ा नही दिया |
योगेन्द्र यादव+प्रशांत यादव ने आरोप लगाया कि अरविन्द केजरीवाल पर सवाल उठाने के दंडस्वरुप उनका जबरदस्ती झूठा इस्तीफा मंजूर किया गया |
समझोते के लिए भेजे गए नोट मात्र को इस्तीफ़ा बना कर स्वीकार करने की घोषण कर दी गई है |जिन शर्तों को माने जाने के दावे किये जा रही हैं उन्हें भी स्वीकार नहीं किया गया |यदि अभी भी उनकी सभी मांगें मान ली जाती हैं तो ये लोग पार्टी में सभी पदों को छोड़ने को तैयार हैं
योगेन्द्र पर कन्वीनर पद के लिए लड़ाई का आरोप लगाया जा रहा है ,जबकि पार्टी के संविधान के अनुसार राष्ट्रीय परिषद को इसका अधिकार ही नही हैं|
वास्तव में अरविन्द केजरीवाल ने इन्हें निकालने की शर्त रखी है |इसके पीछे लोक सभा की हार के पश्चात दिल्ली में कांग्रेस के स्पोर्ट से सरकार बनाने की मंशा का विरोध करने पर योगेन्द्र और प्रशांत को पार्टी से निकालने की साजिश की जा रही है|
योगेन्द्र ने कहा कि मात्र एक महीने की सत्ता में बहुत कुछ टूटा है+जनता का विश्वास+वालंटियर्स की आशाएं+टूटी हैं |जो पार्टी आज तक जांच की मांग करती रही है उसी पार्टी में अब तानाशाही हावी है |

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“आप”पार्टी में संस्थापक सदस्य अशोक तलवार के पत्र फावड़ा से अविश्वास की खाई ,और गहराई

. [नई दिल्ली]”आप”पार्टी में संस्थापक सदस्य अशोक तलवार के पत्र फावड़ा से अविश्वास की खाई ,और गहराई
आम आदमी पार्टी में बढ़ते मनभेदों के चलते अविश्वास की खाई बढ़ने लगी है |इस खाई को गहराने के लिए अब पंजाब के अशोक तलवार ने पत्र फावड़ा चलाया है |
मात्र एक माह की सत्ता के पश्चात आम आदमी पार्टी[आप]में इस प्रकार की पदलोलुपता के उजागर होने से जाहिर है पार्टी की छवि गिरी है |पार्टी में साफ तरह से दो धड़े उजागर हो चुके हैं इस अप्रिय डेमेज को कंट्रोल करने के लिए सत्ता रुड घटक ने निर्णय लिया है कि असंतुष्ट योगेंद्र यादव + प्रशांत भूषण से एक सकारात्मक निर्णय तक पहुंचने की उम्मीद के साथ संवाद आगे भी जारी रहेगा।
इसके साथ ही महाराष्ट्र में स्थानीय चुनावों की संभावनाओ की समीक्षा की ज़िम्मेदारी कुमार विश्वास को सौंपी गई है |
नवीनतम घटना क्रम के अनुसार अमृतसर से आप पार्टी के संस्थापक नेता अशोक तलवार ने अरविन्द केजरीवाल को चिट्ठी लिखी है जिसमे उन्होंने एक और षड्यंत्र की सूचना दी है|श्री तलवार के अनुसार २८ तारिख की राष्ट्रीय कार्यकारिणी कि बैठक से एक दिन पूर्व संस्थापक सदस्यों को दिल्ली बुलाया जा रहा है| आश्चर्यजनक रूप से दोनों धड़े इस नग्न सत्य से इंकार कर रहे हैं |इसके अलावा पार्टी के फर्जी डिग्री के आरोपी कानून मंत्री जीतेन्द्र सिंह तोमर के विषय में भी अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया जा सका है |जबकि दिल्ली हाई कोर्ट द्वारा कानून मंत्री जितेंद्र सिंह तोमर के खिलाफ नोटिस जारी किया जा चूका है। श्री तोमर पर दिल्ली विधानसभा चुनाव के दौरान अपने शपथ पत्र में गलत जानकारी देने का आरोप लगा है।

दिल्ली के सीएम को अदालत में हाजिर होकर कानून का सम्मान करना ही पड़ा

[नई दिल्ली]दिल्ली के सीएम को अदालत में हाजिर होकर कानून का सम्मान करना ही पड़ा
दिल्ली के सीएम को अदालत में व्यक्तिगत रूप में हाजरी देकर कानून का सम्मान करना ही पढ़ा|
दिल्ली राज्य के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल+उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया + “आप” असंतुष्ट गुट के बुद्धिजीवी नेता योगेंद्र यादव को दिल्ली की एक अदालत के समक्ष पेश होना ही पड़ा|
फौजदारी मानहानि के एक मामले में दिल्ली की एक अदालत के समक्ष उपस्थित होने के लिये आज इन तीनों को बाध्य किया गया। केजरीवाल आदि ने वकीलों की हड़ताल को आधार बना कर अदालत में व्यक्तिगत रूप से उपस्थित रहने से छूट मांगी थी
, अदालत ने इन नेताओं के उपस्थित होने में विफल रहने पर कठोर टिप्पणी करते हुए कहा था कि उनमें ‘कानून के प्रति कोई सम्मान नहीं है।जिसके उपरान्त इन तीनों ने अदालत में हाजरी भरी ’

अरविन्द केजरीवाल बेशक स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं मगर उनकी”आप”पार्टी पारम्परिक रोगों से घिरने लगी

[नई दिल्ली]अरविन्द केजरीवाल बेशक आज कल स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं मगर उनकी अपनी आम आदमी पार्टी पारम्परिक रोगों से घिरती जा रही है|आज भी “आप” पार्टी पर तीन तरफ से अटैक हुए|
पार्ट के विधायक रहे आर गर्ग ने एक स्टिंग टेप जारी करके मिस्टर क्लीन अरविन्द केजरीवाल की सवच्छ राजनीती के दावों को ही कटघरे में खड़ा कर दिया है | इस पर वरिष्ठ नेत्री अंजलि दामनिया ने अरविन्द केजरीवाल की स्टिंग सीडी में जाहिर हुई भूमिका से आहत होकर पार्टी से इस्तीफ़ा दे दिया है|इसके साथ ही योगेन्द्र यादव और प्रशांत भूषण ने पत्र लिख कर पार्टी की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगाये हैं |श्री गर्ग ने आरोप लगाया है कि केजरीवाल कांग्रेस के विधायकों को तोड़ कर दिल्ली विधान सभा में बहुमत सिद्ध करना चाहते थे |पार्टी के नेता आज दिन भर चैनलों पर सवालों से घिरे रहे |संजय सिंह टेप की सत्यता पर सवाल उठाते रहे तो आशीष खेतान टेप में कही गई बातों को स्वीकार करते रहे |आशुतोष केजरीवाल के बचाव और योगेन्द्र यादव पर हम करते दिखे लेकिन कांग्रेस के विधायकों को तोड़ने के आरोप से बचते रहे |
वरिष्ठ नेता योगेंद्र यादव और प्रशांत भूषण द्वारा लगाए गए आरोपों को लगभग स्वीकारते हुए आशीष खेतान ने कहा कि लोकसभा चुनाव के बाद केजरीवाल कांग्रेस विधायकों के सहयोग से दोबारा दिल्ली में सरकार बनाना चाहते थे। योगेंद्र और प्रशांत ने साझा बयान जारी कर अरविंद पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा है कि केजरीवाल लोकसभा चुनाव के बाद कांग्रेस के साथ मिलकर सरकार बनाना चाहते थे।
योगेंद्र ने साफ कहा कि पार्टी में संयोजक पद का कोई मुद्दा न था और न है। उनका आरोप है कि हार के बाद अरविंद, मनीष और अन्य मिलकर पीएसी को भंग करना चाहते थे ताकि विरोधी स्वरों को बंद किया जा सके।