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ऍफ़ ऐ ऐ ने सुरक्षा दावों को आइना दिखाते हुए भारतीय सिविल एविएशन को डाउन ग्रेड किया

अमेरिकन एविएशन फेडरेशन[FAA] ने भारतीय एविएशन मिनिस्ट्री के तमाम विकास के दावों को झुटलाते हुए भारत को एविएशन के छेत्र में डाउन ग्रेड करते हुए सेकंड केटेगरी में डाल दिया है जबकि भारत के एविएशन मिनिस्टर चौ.अजित सिंह का दावा है कि उनका वि‍मानन सुरक्षा रि‍कार्ड वि‍श्‍व के औसत से बेहतर है| ऍफ़ ऐ ऐ कि इस रिपोर्ट के पश्चात अब भारतीय हवाई जहाज़ों के लिए अमेरिका की उड़ान कठिन हो जायेगी| इससे ओवरसीज फ्लाइट्स के लिए प्रसिद्द जेट एयरवेज और एयर इंडिया को विशेष रूप से परेशानी हो सकती है|इस विषय में एयर इंडिया की वेबसाइट पर कोई स्प्ष्टीकरण नहीं दिया गया है|
भारतीय सिविल एविएशन मिनिस्ट्री का दावा है कि वैश्विक गुणवत्ता के लिए केवल संगठन[ Organisation] के छेत्र में ही पर्याप्त सफलता नहीं मिल पाई है जबकि शेष अन्य ७ महत्पूर्ण छेत्रों में आशातीत सफलता मिली है |इसके समर्थन में आंकड़ें निम्न हैं
अंतर्राष्‍ट्रीय नागर वि‍मानन संगठन (आईसीएओ) का यूनीवर्सल सेफ्टी ओवरसाइट ऑडि‍ट प्रोग्राम (यूएसओएपी) के बारे में भारत का आकलन वि‍श्‍व के औसत से बहुत अच्‍छा है। यूएसओएपी के अधीन आईसीएओ ने आठ महत्‍वपूर्ण तत्‍वों यथा वि‍धान, संगठन, लाइसेंसिंग, संचालन, उड़ान क्षमता, दुर्घटना जांच, वि‍मान नौवहन और हवाई अड्डों की पहचान की है। 31 दि‍संबर 2012 को यूएसओएपी की लेखा-परीक्षा परि‍णामों पर आधारि‍त आईसीएओ 2013 सुरक्षा रि‍पोर्ट के अनुसार भारत की उन देशों में गि‍नती है, जि‍नका कारगर कार्यान्‍वयन वि‍श्‍व के औसत 61 प्रति‍शत से ऊपर है। भारत का कारगर कार्यान्‍वयन 79.1 प्रति‍शत है।
31 दि‍संबर 2012 को भारत की स्‍थि‍ति‍ का वैश्‍वि‍क सुरक्षा के साथ संक्षि‍प्‍त तुलनात्‍मक ब्‍यौरा नि‍म्‍नलि‍खि‍त है:-
महत्‍वपूर्ण तत्‍व
=================================कारगर कार्यान्‍वयन
वैश्‍वि‍क औसत (31 दि‍संबर 2012 को)=====वैश्‍वि‍क औसत (वर्तमान स्‍थि‍ति‍ )==========भारत की स्‍थि‍ति (31 दि‍संबर 2012 को )
[1]वि‍धान========70.0========================66.9===========================85.7
[2]संगठन========63.0========================63.5=============================57.1
[3]लाइसेंसिंग=====71.0=========================71.5==============================89.6
[4]संचालन=======66.0=========================66.0==============================87.7
[5]उड़ान क्षमता====72.0=========================72.9==============================91.1
[6]दुर्घटना जांच====51.0=========================53.6==============================75.3
[7]वि‍मान नौवहन===53.0=========================54.7==============================55.8
[8]हवाई अड्डा========58.0=======================57.7=============================87.4
महत्‍वपूर्ण तत्‍वों के कारगर कार्यान्‍वयन में केवल एक क्षेत्र है, जि‍समें भारत मामूली कमजोर है, वह है ‘संगठन’। इसके लि‍ए भारत ने उड़ान संचालन के मुख्‍य नि‍रीक्षक (सीएफओआई), उप-सीएफओआई, वरि‍ष्‍ठ सीएफओआई और एफओआई के 75 पद बनाए हैं। आशा है कि‍ इन पदों की भर्ती के बाद इस तत्‍व का कारगर कार्यान्‍वयन भी वि‍श्‍व के औसत से बेहतर हो जाएगा। वास्‍तव में, ‘वि‍धान’ तत्‍व के क्षेत्र में अमेरि‍का का स्‍थान (80.95) भारत के (85.71) से नीचे है| गौरतलब है कि संसद में सरकार स्वीकार कर चुकी है कि डी जी सी ऐ के अंतर्गत हवाई यात्राओं की सुरक्षा के लिए ५७%स्टाफ की कमी है और इसी सप्ताह केवल ७५ पदों कि रिक्तियों को भरने की घोषणा की गई है इसके अलावा सुरक्षा के मानकों के दावों को झुटलाते हुए इंडिगो जैसी अग्रणी निरंतर लाभ कमाने वाली निजी एयर लाइन्स भी खतरनाक उड़ान भर रही हैं | मालूम हो कि डीजीसीए, कोहरे के समय सभी एअरलाइनों के साथ लगातार संपर्क में रह कर सीएटी III अनुवर्ती विमानों और सीएटी III प्रशिक्षित पायलटों की तैनाती सुनिश्‍चित करता है लेकिन उड़ानों समय रहते उन पर रोक थाम नहीं लगा पा रहा शायद इसी अकर्मण्यता के कारण ही इंदिरा गांधी अंतर्राष्‍ट्रीय हवाई अड्डे, दिल्‍ली पर 29 जनवरी को दृश्‍यात्‍मकता शाम 1730 बजे के बाद कम होने लगी थी जबकि रनवे की दृश्‍यात्‍मकता दूरी रात 2030 बजे के बाद कम होनी शुरू हो गई थी। इस प्रवृत्‍ति को सभी एअरलाइनों के ध्‍यान में लाया गया। । लेकिन इस संबंध में बार-बार प्रयासों के बावजूद जेट एअरवेज+, गो एअर + इंडिगो की दो-दो फ्लाइटों का मार्ग बदलकर दिल्‍ली से जयपुर भेजा गया।यह यात्रियों के जीवन के साथ खिलवाड़ ही कहा जाएगा|उड़ान कम्प्लीट होने पर डी जी सी ऐ ने इन कंपनियों के टाइम्स स्लॉट केंसिल करके औपचारिकता पूरी कर दी है

इंडिगो सहित तीन निजी एयर लाइन्स से,यात्रियों के प्राणोंके साथ खिलवाड़ के लिए,टाइम स्लॉट वापिस लिए गए

इंडिगो[Indigo] सहित तीन एयर लाइन्स को सुरक्षा से सम्बंधित निर्देशों का उल्‍लंघन करने के लिए दिल्‍ली से निर्धारित समय अवधि[ time slots ] को वापस लिया गया |बीते दिन घने कोहरे के कारण दृश्‍यात्‍मकता बेहद कम थी जिसके फलस्वरूप इन एयर लाइन्स को उड़ान सतहजीत करने के आदेश दिए गए थे लेकिन यात्रियों के प्राणों को संकट में डाल कर उड़ाने भरी गई|
नागरिक विमानन महानिदेशालय[ DGCA ] ने दिल्‍ली से संचालित होने वाली निम्‍न विमान कंपनियों की उड़ानों की दिल्‍ली से निर्धारित समय अवधि(टाइम स्‍लॉट) को तत्‍काल प्रभाव से वापस ले लिया है।
[१] इंडिगो ========= 6E-024
[२]. इंडिगो==== 6E-316
[३]. जेट एअरवेज [Jet Airways ] 9W-2452
[४] जेट एअरवेज [Jet Airways ] 9W-2794
[५]. गो एअर [ Goair ] == G8-343
६] गो एअर [Goair ] === G8-164
इंदिरा गांधी अंतर्राष्‍ट्रीय हवाई अड्डे, दिल्‍ली पर 29 जनवरी को दृश्‍यात्‍मकता शाम 1730 बजे के बाद कम होने लगी थी जबकि रनवे की दृश्‍यात्‍मकता दूरी रात 2030 बजे के बाद कम होनी शुरू हो गई थी। इस प्रवृत्‍ति को सभी एअरलाइनों के ध्‍यान में लाया गया। डीजीसीए, कोहरे के समय सभी एअरलाइनों के साथ लगातार संपर्क में रह कर सीएटी III अनुवर्ती विमानों और सीएटी III प्रशिक्षित पायलटों की तैनाती सुनिश्‍चित करता है। लेकिन इस संबंध में बार-बार प्रयासों के बावजूद जेट एअरवेज, गो एअर और इंडिगो की दो-दो फ्लाइटों का मार्ग बदलकर दिल्‍ली से जयपुर भेजा गया।
भारतीय हवाई अड्डा प्राधिकरण के संचालन नियंत्रण ने जानकारी दी कि इन फ्लाइटों का एक कर्मचारी सीएटी III प्रशिक्षण युक्‍त नहीं था। इसी वजह से इन एअरलाइनों ने सीएआर सेक्‍शन 3 के पैरा 10.18, सीरीज सी, पार्ट II और 2009 के एआईसी 11 के पैरा 14 के प्रावधानों का उल्‍लंघन किया है।
डीजीसीए ने इसे काफी गंभीरता से लेते हुए कहा है कि बार-बार दिशा-निर्देश जारी किए जाने के बाद भी एअरलाइनों ने इनका पालन नहीं किया है।.

Jet Airways Has Spread International Wings From Mumbai To Paris

Jet Airways Has Spread International Wings For Daily Direct Flight From Mumbai To Paris Wef 14 may 2014.
Vice president of air line Ragini Chopda has stated that It will be 21st international destination.
flight 9 w 124 will depart from Mumbai brand new chhatrapati Shivaji international air port T 2 at 12 hrs and arrive at Paris Charles de gaulle air port at 1750 hrs

Jet Airways Has Enhanced Flights In Domestic Air Of Vadodara to Pune via Indore

Jet Airways Has Enhanced Flights In Domestic Air Of Vadodara to Pune via Indore
Jet Airways, India’s premier international airline, will introduce a daily ATR 72-500 flight between Vadodara and Pune via Indore with effect from 15th January, 2014. The airline currently operates a daily flight from Vadodara to Bengaluru, Hyderabad-Tirupati via Mumbai.
Vice President Ragini Chopra has stated in a press release that Jet Airways flight 9W 2822 will depart Pune at 1105 hrs and arrive Indore at 1255 hrs. The flight will depart Indore at 1355 hrs and arrive Vadodara at 1500 hrs. On the return leg, the flight 9W 2821 will depart Vadodara at 1530 hrs and arrive Indore at 1635 hrs. The flight will depart Indore at 1705 hrs and arrive Pune at 1845 hrs.
However, only on Saturdays, the flight 9W 2822 will depart Pune at 1015 hrs and arrive Indore at 1145 hrs. The flight will depart Indore at 1355 hrs and arrive Vadodara at 1500 hrs. On the return leg, the flight 9W 2821 will depart Vadodara at 1530 hrs and arrive Indore at 1635 hrs. The flight will depart Indore at 1705 hrs and arrive Pune at 1845 hrs.
Mr Gaurang Shetty, Senior Vice President – Commercial, Jet Airways, said “With the increased flow of tourist and business traffic to and from Vadodara, Jet Airways is pleased to provide additional frequencies to meet the requirement of our guests. We are happy to introduce this new service will prove equally popular with our guests.
About Jet Airways
Jet Airways currently operates a fleet of 113 aircraft, which include 10 Boeing 777-300 ER aircraft, 8 Airbus A330-200 aircraft, 4 Airbus A330-300 aircraft, 73 next generations Boeing 737-700/800/900/900 ER aircraft and 15 ATR 72-500 and 3 ATR72-600. With an average fleet age of 5.07 years, the airline has one of the youngest fleet of aircraft in the world. Flights to 75 destinations span the length and breadth of India and beyond, including Abu Dhabi, Bahrain, Bangkok, Brussels, Colombo, Dammam, Dhaka, Doha, Dubai, Hong Kong, Jeddah, Kathmandu, Kuwait, London (Heathrow), Muscat, New York (Newark), Riyadh, Sharjah, Singapore and Toronto.

जेट एयरवेज 16 जनवरी से रोजाना अबू धाबी-चेन्नई उड़ान भरेगी

निजी क्षेत्र में अग्रणी विमानन कंपनी जेट एयरवेज ने 16 जनवरी से अबू धाबी के लिये दैनिक उड़ान सेवा शुरू करने की घोषणा की है ।
जेट एयरवेज ने आज विज्ञप्ति जारी करके बताया कि फलाइट संख्या ९w ५२५ से पर चेन्नई को अबू धाबी के रास्ते यूरोप तथा अफ्रीका के कई शहरों से जोड़ा जाएगा|अबुधाबी से १०४५ ऑवर पर उड़न भर कर चेन्नई पर १६१५ ऑवर पर पहुंचेगी|
कंपनी की उपाध्यक्षा रागिनी चोपड़ा ने बताया कि विमानन कंपनी फिलहाल अबू धाबी से दिल्ली,कोच्चि,मुंबई और कुवैत के लिये दैनिक उड़ानों का परिचालन करती है।इस नई उड़ान के साथ कंपनी नए आयाम स्थापित करेगी

विदेशी एयर लाइन्स अगर नए जहाज खरीदेंगी तो डॉलर्स अमेरिका में ही जायेंगे


झल्ले दी झल्लियां गल्लां

भारतीय एविएशन सेक्टर का चीयर लीडर

ओये झल्लेया मुबारकां ओये टाटा ग्रुप और सिंगापुर एयर लाइन्स के जॉइंट वेंचर को ऍफ़ आई पी बी[FIPB ] ने मंजूरी दे ही दी अब तो हसाडे सेक्टर में भी उछाल आवे ही आवे |इस एक मंजूरी से दूसरी एयर लाइन्स भी भारत की तरफ रुख करेंगी इससे कम्पटीशन बढ़ेगा और हवाई यात्रा का किराया भी कम हो जायेगा |इससे हवाई यात्री भी बढ़ेंगे और बिजनेस भी उछलेगा

झल्ला

बाउ जी चाय का कप होंटों तक आते आते कई इफ और बट्स आ जाते हैंइसका ताजा उदहारण जेट एयरवेज और एतिहाद का २००० करोड़ का सौदा है|
इसीलिए हवाई जहाज के हवाई किले सोच समझ कर ही बनाओ |जहाँ तक बात विदेशी एयर लाइन्स के आने की है तो झल्लेविचारानुसार ये विदेशी कम्पनियाँ नए जहाज खरीदेंगी तो अमेरिकन डॉलर्स अमेरिका में ही जायेंगे और अगर खुदा ना खस्ता आर बी आई को डॉलर्स देने पड़ गए तो समझो गई भैस पानी में |

सरकारी नीतियों के कारण जेट एयरवेज़ का शुद्ध घाटा ८ गुना अधिक दर्ज हुआ

भारत की अग्रणी निजी एयर लाइन्स जेट एयरवेज ने चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही [जुलाई-सितंबर] में शुद्ध घाटा आठ गुना 891 करोड़ रुपये दर्ज़ कराया है
नरेश गोयल के नेतृत्व वाली जेट एयरवेज को हुए इस भारी-भरकम घाटे के लिएसी ई ओ गैरे टोमे[GaryToomey ने अनेक कारण बताये हैं |
[१] अमेरिकन डॉलर के मुकाबले भारतीय रुपये का अवमूल्यन
[२] बाजारप्रतिकूल
[३] जेट एयरवेज के कुछ विमानों का हैंगर से बाहर नही आना
, [४]घरेलू एयरपोर्टों पर विभिन्न शुल्कों में बढोत्तरी
[५]सुस्त सीजन
[६] जेट एयरवेज ने अप्रैल माह में अपनी 24 % हिस्सेदारी यूं ऐ ई की एयरलाइन एतिहाद को बेचने की घोषणा की थी।२००० करोड़ रुपयों के विदेशी निवेश के इस सौदे को अभी तक मंजूरी नहीं मिली हैं|
एशिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था यानी भारत में तमाम एयरलाइंस महंगे ईंधन[ATF ]और ऊंची टैक्स दरों से काफी परेशानी महसूस कर रही हैं।

जेट एयरवेज और एतिहाद के सौदे पर सुप्रीम कोर्ट ने स्टे लगाया :एयर लाइन के शेयर लुडके

निजी एयर लाइन्स जेट एयरवेज़ में मिडिल ईस्ट की एयर लाइन्स एतिहाद के २ हजार करोड़ के निवेश को चुनौती देने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकर से जवाब माँगा है इससे कंपनी के शेयर भी लुडक गए हैं भाजपा में शामिल हुए सुब्रामनियम स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर करकेजेट एतिहाद के सौदे को भारत के हितों के विरुद्ध बता कर तत्काल उसे निरस्त कराये जाने की मांग की है जिसे संज्ञान में लेते हुए इस सौदे पर स्टे लगा कर चार हफ़्तों में केंद्र से जवाब माँगा गया है |.
गौरतलब है कि इकनोमिक अफेयर्स की कैबिनेट समिति [The Cabinet Committee on Economic Affairs (CCEA) ] ने ३ अक्टूबर २०१३ को जेट एयरवेज के २४% शेयरों की एतिहाद को बिक्री के लिए सहमती प्रदान कर दी थी| इसके विरुद्ध स्वामी ने सुप्रीम कोर्ट में पी आई एल दायर कर दी |इस स्टे से जेट एयरवेज के शेयर गिरे
बीते दिन बी एस ई के शेयर ३७१.४० पर बंद हुए थे और आज ३७२.६० पर खुले लेकिन सुप्रीम कोर्ट के आदेश के पश्चात ४% कि गिरावट के साथ ३५६.६० पर दिखाई दिए| एन एस ई में भी ३.८% कि गिरावट दर्ज़ की गई|
उल्लेखनीय है कि बंबई शेयर बाजार के सेंसेक्स ने 20,000 का मनोवैज्ञानिक स्तर हासिल किया है

सत्ता की रात घटने लगी है तभी ऍफ़ डी आई को भी मंजूरी मिलने लगी है


झल्ले दी झल्लियाँ गल्ला

एक कांग्रेसी चीयर लीडर

ओये झल्लेया मुबारकां ओये एवेंई लोगी कहते फिरते हैं कि हसाडी सोणी ते मन मोहणी सरकार ऍफ़ डी आई[ Foreign Direct Investment ] के लिए रुकावटें डाल रही हैं |ओये आज ही हसाडी सरकार ने लगभग ९९२.६१ करोड़ के ऍफ़ डी आई को लाने के लिए १७ कंपनियों को मंजूरी दे दी है |ओये इसके अलावा जेट एयरवेज में २४% शेयरों कि खरीद के लिए एतिहाद के 2057.66 करोड़ रुपयों के निवेश के प्रस्ताव को भी इकनोमिक अफेयर्स की कैबिनेट समिति के पास भेज दिया है| ओये अब तो देश में रूपया बरसे ही बरसे |

झल्ला

चतुर सुजान जी बड़ी पुराणी कहावत है कि जब रात घटने लगती है तब खैरात बंटने लगती है|अब चुनावी साल सर पर आ खड़ा हुआ है ऐसे में ऍफ़ डी आई को मंजूरी तो देनी ही थी और इसके अलावा आपके तीन सांसदों वाले एक घटक के चुनावों में छिटकने के समाचार भी छप रहे हैं उस घटक के सुप्रीमो तो जेटएयरवेज में इस निवेश के अपने प्रेम को कई बार प्रदर्शित भी कर चुके हैं|

बजट और विदेशी एयर लाइन्स सहित ७ एयर लाइन्स से भारतीय विमानपत्तन को २१११.४३ करोड़ रूपये की वसूली लंबित है

देश में कार्यरत ७ एयर लाइन्स ने भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण को २१११.४३ करोड़ रूपये का कर्ज़ चुकाना है अब इन डिफाल्टर कंपनियों को विलंबित भुगतान के लिए ब्याज का भी भुगतान करना होगा|इसमें एयर इंडियन समूह १५३९.७५ के कर्ज़ से पहले नंबर पर है | विभिन्न विदेशी एयर लाइन्स से १९३.४९ करोड़ रुपये वसूले जाने हैं|इसके अलावा इंडिगो+स्पाईस जेट+जेट एयर लाइन्स जैसी बजट एयर लाइन्स पर भी क्रमश २.८९+८०.१७+१००.१६+देन दारी है| ये आंकड़े नियत्रक एवं महालेखापरीक्षक की लेखापरीक्षा के मद्देनजर है|नागर विमानन राज्य मंत्री श्री के.सी.वेणुगोपाल ने आज लोकसभा में 31.03.2013 को देय राशियों का कंपनीवार ब्यौरा निम्न बताया है :
——————————-(करोड़ रुपये में)
क्रम सं.—–एयरलाइंस का नाम————–देय राशि*
[१]————-एअर इंडिया समूह—————1539.75
[२]————-विभिन्न विदेशी एयरलाइनें——-193.49
[३]————-किंगफिशर एयरलाइंस————186.26
[४]————-जेट एयरलाइंस समूह————-100.16
[५]————-स्पाइसजेट————————80.17
[६]————-गो एयरलाइंस———————8.71
[७]————-इंटरग्लो एविएशन (एंडिगो)——–2.89
राज्य मंत्री ने यह स्वीकार किया कि उपरोक्त विमानन कंपनियां किसी कारण से देय राशियों का भुगतान करने में विफल रही हैं।
लोकसभा में नागर विमानन राज्य मंत्री ने लोक सभा के माध्यम से राष्ट्र को भरोसा दिलाया कि भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण नियमित मॉनीटरिंग द्वारा देय राशियों की वसूली के लिए पर्याप्त प्रयास कर रहा है। इस दिशा में निम्न कदम उठाये गए हैं:
[१] भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण की ऋण नीति के अनुसार डिफाल्टर कंपनियों को विलंबित भुगतान के लिए ब्याज का भुगतान करना होगा
[२]चूककर्ता एयरलाइनों को ” कैश एंड कैरी” आधार पर रखा जाएगा
[३]यातायात देय राशियों के संबंध में 12%की दर से ब्याज वसूला जाएगा
[४] गैर यातायात देय राशियों पर ब्याज करार की शर्तों एवं निबंधनों के अनुसार वसूला जाएगा जो 18 % या 12 %हो सकता है