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Tag: Civil aviation minister Ajit singh

नॅशनल कैरियर एयर इंडिया का अगला पडाव बर्मिंघम:एक अगस्त से दिल्ली टू बर्मिंघम

एयर इंडिया अब बर्मिंघम तक उड़ान भरेगा। शुरूआती दौर में दिल्ली बर्मिंघम – दिल्ली सेक्टर के लिए कुछ विशेष आकर्षक किराये की पेशकश है। इसके साथ सीमित समय के लिए दिल्ली से अहमदाबाद+कोच्चि+ तिरूवनंतपुरम और कोजीकोड तक निःशुल्क सेवाओं का लाभ उपभोक्ता उठा सकेंगे।
01 अगस्त 2013 से अमृतसर और दिल्ली से सप्ताह में चार दिन बर्मिंघम तक एयर इंडिया उड़ान भरेगी। यूके तक यह एयर इंडिया की चौथी उड़ान सेवा होगी। इस वर्ष जून में एयर इंडिया ने लंदन तक बी-787 ड्रीमलाइनर की शुरूआत की थी जो कि भारत से लंदन तक तीसरी उड़ान सेवा है।
एयर इंडिया की यह नई सेवा ड्रीमलाइनर वायुयानों का प्रयोग करते हुए दिल्ली-बर्मिंघम-दिल्ली-अमृतसर रूट पर सोमवार, मंगलवार, बृहस्पतिवार और शनिवार को उड़ान भरेगी। अमृतसर से यह उड़ान 1030 बजे चल कर 1150 बजे दिल्ली पहुंचेगी। एआई-113 दिल्ली से 1330 बजे उड़ान भरकर 1800 बजे बर्मिंघम पहुंचेगी। वापसी उड़ान एआई-114 बर्मिंघम से 2130 बजे चल कर अगले दिन 1005 बजे दिल्ली पहुंचेगी। उसके बाद यही उड़ान 1205 बजे अमृतसर के लिए दिल्ली से रवाना होकर 1305 बजे अमृतसर पहुंचेगी।
एविएशन मंत्रालय का दावा है कि दिल्ली से बर्मिंघम जाने वाली यह सेवा यहां रहने वाले लोगों की सेवा करने के साथ-साथ पर्यटन और व्यापार के नये रास्ते खोलेगी। इस समय एयर इंडिया लंदन तक प्रति सप्ताह 21 उड़ान सेवाएं चलाती है जिनमें से 7 मुंबई-लंदन सेक्टर में और 14 दिल्ली-लंदन सेक्टर में उड़ान भरती है।

आई जी आई एयर पोर्ट पर जलभराव ने सर्वश्रेष्ठता के खिताब और एविएशन मंत्री के दावों की पोल खोली

इंदिरा गाँधी अन्तराष्ट्रीय एयर पोर्ट [IGI AIRPORT ] पर रविवार को हुए जलभराव और उससे यात्रियों की परेशानी ने सुव्यवस्था के तमाम दावों को झुठला दिया है| इस एअरपोर्ट को विश्व के दूसरे नंबर के एयर पोर्ट के खिताब से नवाजा गया है इसके अलावा केन्द्रीय सिविल एविएशन मंत्री चौधरी अजित सिंह ड्रीमलाइनर ७८७ को भर कर लन्दन में ले जाकर २०% प्रॉफिट का दावा कर रहे हैं मगर रविवार की वर्षा से हुए भराव ने सभी खिताब और दावों पर प्रश्न चिन्ह लगा दिए हैं|
देश की राजधानी दिल्ली में शेड्यूल से पहले आये झमाझम मानसून ने दिल्ली राज्य में तो रास्ते जाम किये ही मगर अतिआधुनिक इंदिरा गांधी इंटरनॅशनल एयर पोर्ट की दिनों दिन महंगी होती जा रही व्यवस्था की भी पोल खोल दी है| बेशक दिल्ली में ११८ एम् एम् वर्षा का रिकार्ड रहा तो एयर पोर्ट पर दोपहर एक बजे से साड़े पांच बजे तक रिकार्ड की गई वर्षा ५५ एम् एम् से ६३ एम् एम् तक ही रही| इसके फलस्वरूप छेत्र में घुटनों तक जल भराव हो गया| डोमेस्टिक आगमन पर भी लगी बैगेज बेल्ट को बंद कर दिया गया|यात्रियों को[ट३] अपने सामान को निकालने के लिए भी जद्दोजहद करते देखा गया| देर शाम तक यही स्थिति रही|
एयर पोर्ट की व्यवस्था डायल [ DIAL ]नामक कंपनी को दी गई है| २५ से ४० मिलियन यात्रियों की केटेगरी में आई जी आई एयर पोर्ट को साउथ कोरिया के सीओल इञ्चेओन [ SeoulIncheon ] के बाद दूसरा स्थान दिया गया है| इसके साथ ही सभी केटेगरी के १९९ एयर पोर्ट्स में चौथा स्थान दिया गया है|यह ख़िताब एयर पोर्ट कौंसिल इंटरनेशनल [ AirPortCouncilsInternational ]ने दिया है| इसके अलावा पिछले सप्ताह केन्द्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री चौधरी अजित सिंह भारी भरकम ड्रीम लाइनर को [फ्री में]भर कर लन्दन में गए और वहां जा कर उन्होंने एनाउंस किया के नेशनल कैरियर २०% लाभ कमाएगी लेकिन ग्राउंड पर हकीकत यह दिखाई दे रही है के यात्रियों को आवश्यक रूप से दी जाने वाली सुविधाओं के प्रति उदासीनता बरती जा रही है|
ऐसा नही है के यह यकायक हो गया मौसम विभाग ने पूर्व में ही मौसम में बदलाव की सूचना जारी कर दी थी|और इससे पूर्व सितम्बर २०११ में भी कमोबेश ऐसी ही स्थिति का सामना कराना पडा था| ऐसे में छेत्र के लेवल को उठाने या बाहरी निकासी को क्लियर करने के कोई उपाय नहीं ही किये गए|

भूत पूर्व प्रधान मंत्री चौधरी[बड़े] चरण सिंह की २६ वी पुण्य तिथि पर कृतघ्न राष्ट्र ने श्रधा सुमन अर्पित किये

भारत के भूत पूर्व प्रधान मंत्री किसान मसीहा चौधरी[बड़े] चरण सिंह की २६ वी पुण्य तिथि पर आज कृतघ्न राष्ट्र ने श्रधा सुमन अर्पित किये | दिल्ली स्थित किसान घाट पर श्रधांजली सभा का आयोजन किया गया |केन्द्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री चौधरी[छोटे]अजित सिंह ने दिवंगत राष्ट्रीय नेता की समाधि पर पुष्पांजलि अर्पित की|
इसके पश्चात दिवंगत नेता की राजनीतिक विरासत के भावी वारिस युवा सांसद जयंत चौधरी ने अपने दादा को भावभीनी श्रधांजली अर्पित की |इस अवसर पर रास्ट्रीय लोक दल के सांसद+विधायक+पूर्व विधायक+पार्टी पदाधिकारियों ने पुष्प अर्पित करके अपने मसीहा के आदर्शों के प्रति अपने समर्पण भाव को प्रदर्शित किया|
राष्ट्रपति डा. प्रणव मुखर्जी के तरफ से मेजर शैलेश मिश्रा ने पुष्प चड़ाए|
समाधि स्थल पर प्रत्येक वर्ष की भांति भक्ति संगीत और हवन का आयोजन किया गया| चौधरी चरण सिंह अमर रहे के नारों के साथ सैंकड़ों अनुयाईयों ने हवन की पवित्र अग्नि में आहुति समर्पित की|
१३ ऐ फिरोज शाह रोड स्थित दिल्ली प्रदेश रालोद के पार्टी कार्यालय में श्रधांजली समारोह का आयोजन किया गया|प्रदेश अध्यक्ष के एस मान + मन मोहन सिंह+प्रहलाद सिंह शौकीन +दिलशादमालिक +सुभाष तोमर अदि ने भाग लिया|
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनयु [ Lucknow ] में विधान सभा भवन के सामने चौधरी चरण सिंह की मूर्ती का माल्यार्पण किया गया| रालोद के प्रदेश अध्यक्ष मुन्ना सिंह चौहान+पूर्व अध्यक्ष बाबा हरदेव सिंह+ विधान मंडल दल के नेता दलबीर सिंह+ सच्चिदानंद गुप्ता आदि सैंकड़ों कार्यकर्ताओं ने श्रधांजली अर्पित की|इसके पश्चात रालोद क प्रदेश कार्यालय में गोष्ठी का भी आयोजन किया गया जिसमे वक्ताओं ने दिवंगत नेता की जीवनी और आदर्शों से प्रेरणा लेने का संकल्प दोहराया|
मेरठ कमिश्नरी पार्क स्थित दिवंगत नेता की विशाल के मूर्ती के नीचे हवन किया गया

हवाई अड्डे के निर्माण के लिए केंद्र और राज्य सरकारें तैयार लेकिन पतनाला पुराणी जगह ही गिर रहा है

मेरठ में हवाई पट्टी को हवाई अड्डा बनाने के लिए केंद्र और राज्य सरकारें पूरी तरह तैयार हैं लेकिन इस सबके बावजूद दोनों सरकारों में अभी तक कोई समझौता नहीं हो पाया है|इस आपसी लड़ाई में १३३ एकड़ वाली हवाई पट्टी का तक इस्तेमाल भी बंद पडा हुआ है|
सेन्ट्रल सिविल एविएशन मिनिस्ट्री द्वारा ४३३ एकड़ लैंड की मांग की गई है जिसे गावं गगोल+कांशी+ कंचन पुर घोपला से अधिग्रहित की जानी है|
जिस भूमि का ग्रहण किया जाना है उसके लिए साड़े ग्यारह एकड़ भूमि वन विभाग की है|इसके लिए वन विभाग से एन ओ सी[ NOC ] ली जा चुकी है| इसके बदले में सी जाने वाली भूमि की खरीद के लिए एम् डी ऐ [ MDA ] द्वारा कार्यवाही की जानी है|यह अभी फाईलों में ही है|
सरकार के कब्जे में सत्ताईस एकड़ जमीन/ एम् डी ऐ की ढाई एकड़ / गगोल डेरी की दो एकड़ जमें के लिए भी कोई समस्या नही है|ग्राम पंचायत की साड़े सात एकड़ के अलावा प्राईवेट १३४ एकड़ और के लिए भी कोई समस्या नही है लेकिन इसकी रजिस्ट्री अभी लंबित है|
इस सबके अतिरिक्त मुख्य समस्या केंद्र द्वारा ४३३ एकड़ भूमि की मांग को लेकर हुआ है|जिसे पूरा करने के लिए भूमि अधिग्रहित की जानी है| टोटल खर्चा का आधा राज्य सरकार उठाने को तैयार हैं लेकिन इसके साथ आधा खर्चा केंद्र को उठाने की शर्त भी लगा रखी है| इस पर दोनों पक्षों में बातचीत जारी है|
एन सी आर / महानगर में हवाई अड्डे के बनने से दिल्ली के हवाई अड्डे का लोड भी कम होगा।
प्रमुख सचिव नागरिक उड्डयन अनिता सिंह ने मेरठ के डीएम व कमिश्नर को भेजे पत्र में कहा है कि हवाई अड्डे के लिए आवश्यक 433 एकड़ जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया शुरू की जाए डीएम के आदेश पर एसडीएम सदर ने प्रक्रिया शुरू कर दी है। वह जमीन का सर्वे करके किसानों के नाम व जमीन का ब्यौरा धारा 4 के लिए नागरिक उड्डयन विभाग को भेजेंगे, जिसमें एक माह लगेगा। नागरिक उड्डयन विभाग ने हरी झंडी दी तो जमीन की कीमत की 10 फीसदी राशि जमा करानी होगी।
गौरतलब है कि दिल्ली स्थित इंटरनेशनल एयरपोर्ट मेरठ से मात्र ७० किमी दूर है,लेकिन मेरठ और आस पास से जाने वाला ट्राफिक यहाँ डायवर्ट हो सकेगा|सिविल एविएशन मिनिस्टर चौधरी अजित सिंह भी इसी छेत्र से हैं २०१४ के चुनावों में उतरने से पहले यहाँ कुछ करके दिखाना चाहते हैं लेकिन सूत्रों की माने तो केंद्र द्वारा ४३३ एकड़ भूमि कि मांग कुछ ज्यादा समझी जा रही है|दबी जुबान में यह भी कहा जाता रहा है कि जरुरत से अधिक अधिग्रहित भूमि का इस्तेमाल बहुराष्ट्रीय कंपनियों के माध्यम से किया जाना है इसीलिए केंद्र सरकार को बाज़ार भाव से जमीन की कीमत का आधा खर्च उठाना चाहिए |अब इस सब से ऊपरी टूर से दीखता तो यही है कि केंद्र और राज्य सरकार दोनों तैयार हैं मगर हवाई पट्टीका भविष्य अभी भी उजाले को तरस रहा है|कहा जा सकता है कि सारी बातें सर मात्थे लेकिन पतनाला वहीं पुरानी जगह ही गिर रहा है|

मेरठ में एयर पोर्ट के लिए केन्द्रीय मंत्रालय और प्रदेश सरकार में अहम् लड़ाई की समाप्ति के लिए पी एम् आगे आएं

मेरठ में एयर पोर्ट के लिए केन्द्रीय मंत्रालय और प्रदेश सरकार में अहम् लड़ाई की समाप्ति के लिए पी एम् आगे आएं

मेरठ में एयर पोर्ट के लिए केन्द्रीय मंत्रालय और प्रदेश सरकार में अहम् लड़ाई की समाप्ति के लिए पी एम् आगे आएं

भाजपा के सांसद राजेंद्र अग्रवाल ने मेरठ एयर पोर्ट के लिए सेंट्रल सिविल एविएशन मंत्री और उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री अखिलेश यादव में चल रही अहम् की लड़ाई समाप्त करवाने के लिए प्रधान मंत्री डाक्टर मन मोहन सिंह को बीते सप्ताह पत्र लिखा है|
मेरठ से सांसद राजेंद्र अग्रवाल ने बताया कि केन्द्रीय मंत्री चौधरी अजित सिंह और उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री में इगो प्राब्लम के चलते मेरठ में एयर पोर्ट का निर्माण अधर में अटका हुआ है जिसके फलस्वरूप छेत्र का विकास भी रुका हुआ है|सांसद ने बताया कि पार्लियामेंट सेशन में उन्होंने मेरठ में एयर पोर्ट के लिए तीन बार आवाज उठाई थी और सोभाग्य से स्पीकर महोदय ने उसे स्वीकार भी कर लिया था लेकिन उस अवधि में लगातार सांसद की कार्यवाही बाधित की जाती रही इसीलिए अब पी एम् को पत्र लिख कर एयर पोर्ट के निर्माण के लिए दखल देने का आग्रह किया है|गौर तलब है कि सिविल एविएशन मंत्रीराष्ट्रीय लोक दल [रालोद]के सुप्रीमो हैं और मुख्य मंत्री समाजवादी पार्टी से हैं|रालोद सरकर को भीतर से और समाजवादी बाहर से समर्थन दे रही है|इसके उपरान्त भीयहाँ उपलब्ध हवाई पट्टी [डा. भीम राव आम्बेडकर ] का विस्तार करके एयर पोर्ट का निर्माण नहीं किया जा रहा |विकास की यह बाल एक दूसरे की कोर्ट में जान बूझ कर धकेली जा रही है|
सांसद ने अपने छेत्र में एयर पोर्ट के लिए इस प्रकार कि टाल मटोली पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि मेरठ के विकास के लिए यहाँ एयर पोर्ट बनाया जाना बेहद जरुरी है|इस गतिरोध को दूर करने के लिए विकास के हिमायती प्रधान मंत्री को प्रभावी कदम उठाने चाहिए |

विमान खरीदने की छूट से अब तो कार्बन फैलाने और एक्सीडेंट कराने की मौज ही मौज होगी:ड्रग्स स्मगलरों भी पौ बारह

झल्ले दी झल्लियाँ गल्लां

एक निजी विमान कम्पनी का चीयर लीडर

ओये झल्लेया मुबारकां |ओये देखा हसाड़े रसूख का कमाल ओये हो गया न चौ. अजित सिंह भी बेहाल|पहले कहते फिरते थे कि नए जहाज़ों को खरीदने से पहले ये करो वोह करो |ना जाने कौन कौन सी उठ बैठक करवाते थे और अब विमान खरीदने की मंजूरी देने वाली समिति को ही सिविल एविएशन मंत्री अजित सिंह ने भंग कर दिया है।
ओये अब हम खुदी अपनी जरुरत तय करके जब चाहे एयरक्राफ्ट खरीद सकेंगे। अब किसी मंत्री की मंजूरी लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी।

झल्ला

हां बाऊ जी अब किसी भी वायु प्रदुषण + एयर ट्रैफिक यहाँ तक कि सुरक्षा की भी जरुरत नहीं होगी| जितना मर्जी कार्बन फैलाओ |जितने मर्जी एक्सीडेंट कराओ सब छूट होगी |ड्रग्स स्मगलरों की भी पौ बारह होगी|

मुलायम सिंह के उत्तराधिकारी युवा अखिलेश यादव की समाजवादी सरकार ने ३६५ दिन पूरे कर भी लिए

 मुलायम सिंह के उत्तराधिकारी युवा अखिलेश यादव की समाजवादी सरकार ने ३६५ दिन पूरे कर भी लिए

मुलायम सिंह के उत्तराधिकारी युवा अखिलेश यादव की समाजवादी सरकार ने ३६५ दिन पूरे कर भी लिए

समाजवादी पार्टी के सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव के फ़िलहाल राजनीतिक उत्तराधिकारी युवा अखिलेश यादव की सरकार ने आज ३६५ दिन पूरे भी कर लिए | सरकार दवारा मंहगे अखबारों में पहले पेज से लेकर अन्दर तक महंगे पेड और अनपेड विज्ञापन से छपवाए गए हैं |इनमे सरकार की उपलब्द्धियों के सभी ड्रम जोर से पीटे गए हैं| साईकिल रैली निकाली जा रही हैं| कन्याधन+बेरोजगारी भत्ता+वूमेन पावर लाईन+समाजवादी एम्बुलेंस सेवा+लैपटॉप वितरण यौजना के बाद अंत में अवस्थापना और ओद्यौगिक विकास को रखा गया है| वैस इस दिशा में केंद्र भी पीछे नहीं हैअमेठी में विकास के लिए ३ नए राजमार्गों का आज उदघाटन करवाया जाना है|यानि तू डाल डाल तो मे पात पात |
क्योंकि आज कल केंद्र और राज्य विकास की दौड़ में एक दूसरे को पछाड़ने में लगे हैं सो बस इसी श्रेणी पर नज़र टिक कर रह गई|इसमें सूचना एवं प्रोद्यौगिक निति+ उत्तर प्रदेश खाद्य प्रसंस्करण उद्यौग यौजना+चीनी उद्योग + सौर ऊर्जा+कुक्कुट प्रोत्साहन को रखा गया है| आश्चर्यजनक रूप से इसमें एयर पोर्ट्स के विकास की बात नहीं कही गई है| इस सरकार में कानून व्यवस्था और महंगाई की दुहाई देने का कोई फायदा नहीं है |
अब इसे तो सभी मानेंगे कि मौजूदा दौर में किसी भी उद्योग को बढावा देने के लिए यातायात की सुविधा का होना जरुरी है |ट्रेन से लोगों का मोह भंग होता जा रहा है|दशकों पहले मेरठ केतत्कालीन जिलाधिकारी दीपक अग्रवाल ने ड्राई पोर्ट की घोषणा की थी जिसके लाभ से अभी तक लोग वंचित हैं|अब आते हैं हवाई यात्रा की सुविधा पर तो मेरा मानना है कि विकास के लिए एयर ट्रेफिक को बढावा दिया जाना जरुरी है| लेकिन दुर्भाग्य से उत्तर प्रदेश में नागरिक उड्डयन मंत्री की चौधराहट खत्म करने के लिए प्रदेश में इस दिशा में कोई कदम उठते नहीं दिख रहे|समाजवादी पार्टी और राष्ट्रीय लोक दल में वर्चस्व के लिए राजनीतिक लड़ाई जारी है| जैस जैसे २०१४ के चुनावों से नजदीकी बाद रहे है वैसे ही उत्तर प्रदेश कोई सरकार और केंद्र के नागरिक उड्डयन मंत्रालय के बीच कागजी घोड़ों के साथ साथ जुबानी तेवर बगावती रुख अख्तियार करने लगे हैं| प्रदेश सरकार अधिग्रहण के ग्रहण से मुक्त रहने का रौना रो रही है तो केन्द्रीय मंत्रालय मुफ्त में जमीन का अधिग्रहण प्रदेश सर्कार के हाथों ही करवाने पर तुली है| बेशक मौजूदा हवाई पट्टी प्रदेश सर्कार कि मिलकियत है और उसे केंद्र सरकार को देने को राजी है लेकिन अतिरिक्त भूमि के लिए किसानो से ओउने पौने दामो पर जमीन अधिग्रहण करके केंद्र को देने में आना कानी की जा रही है|
इस टालमटोली इसमें एक पेंच बताया जा रहा है| अगर प्रदेश सरकार भूमि अधिग्रहण करती है तो छेत्र के सर्किल रेट्स जो शायद ९०० से १५०० रुपयों तक है ही देय होगा जबकि किसान अपनी भूमि के लिए कम से कम पांच हज़ार रुपये प्रति वर्ग मीटर की उम्मीद लगाये बैठे हैं|किसानो और प्रदेश सरकार को यह ज्ञान प्राप्त हो चूका है कि केंद्र सरकार के नागरिक उड्डयन मंत्रालय द्वारा किसानो से कोडियों के भाव भूमि लेकर बहु राष्ट्रीय कंपनियों को सोने के भाव दी जायेंगी|अब बताईये अपने सोने को कौन कोडियों के भाव दूसरों को देगा ?
अब ज़रा चीनी उद्योग के विकास का दावा भी देख लिया जाए तो मेरठ में ही गन्ना किसानो के उत्पीडन को लेकर चल रहे धरने को आज तीसरा सप्ताह हो चला है| गन्ना किसानों की इस उपेक्षा का दोष केंद्र और राज्य दोनों सरकारों को कहीं ना कहीं जोडती जरुर हैं|

प्रो. रामगोपाल यादव से उद्यमियों ने मांगा मेरठ में एयर पोर्ट

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद प्रो. रामगोपाल यादव से उद्यमियों ने मांगा मेरठ में एयर पोर्ट

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद प्रो. रामगोपाल यादव से उद्यमियों ने मांगा मेरठ में एयर पोर्ट

समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और सांसद प्रो. रामगोपाल यादव ने चलते संसद से कुछ समय निकाल कर मेरठ का दौरा किया |इस दौरे के दौरान उन्होंने कुछ समय उद्यमियों को भी दियाऔर उद्यमियों ने अवसर का लाभ उठाते हुए मुख्यत: मेरठ में एयरपोर्ट की स्थापना की मांग भी उठा दी|
बाई पास स्थित बांके बिहारी इंस्टीटयूट में आयोजित दीक्षांत समारोह के समापन के बाद मीडिया को एवोयड करते रहे लेकिन उद्यमियों से भेंट करने के लिए एक अलग कक्ष में पहुंचे|प्रो.रामगोपाल यादव को अलग-अलग वाणिज्यिक व व्यापारिक संगठनों ने मांग पत्र व ज्ञापन सौंपे। मुख्य रूप से इनका जोर करों में ढ़ांचागत सुधार और मेरठ में एयरपोर्ट की मांग रही। उनका कहना था कि एयरपोर्ट की स्थापना से न सिर्फ देश के बड़े शहरों से मेरठ की दूरी कम होगी बल्कि रोजगार के भी प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष मौके मिलेंगे। गौरतलब है कि मेरठ की मौजूदा हवाई पट्टी को प्रोमोट करके यहाँ एयर पोर्ट बनाने के लिए अरसे से मांग उठाई जा रही है जिसके लिए सिविल एविएशन मंत्री चो.अजित सिंह द्वारा अतिरिक्त भूमि की मांग की जारही है जबकि मुख्य मंत्री अखिलेश यादव का कहना है कि किसानो की बहुमूल्य भूमि को केंद्र सरकार का यह मंत्रालय फ्री में लेना चाहता है |इस पर सपा द्वारा पूर्व में एक तल्ख टिपण्णी भी की जा चुकी है कि अगर एक जहाज़ की खरीद में से कमीशन नहीं ली जाये तो यहाँ मेरठ में एयर पोर्ट बनाया जा सकता है|

प्रॉफिट की हवा में उड़ने वाले इंडिगो जैसे भी अगर घाटे के शहर एयर इंडिया के लिए छोड़ेंगे तो क्या देश बहुत खुश होगा?


झल्ले दी झल्लियाँ गल्लां

निजी एयर लाइन्स इंडिगो का एक दुखी चीयर लीडर

ओये झल्लेया ये नागर विमानन मंत्री चौधरी अजित सिंह ने क्या चौधराहट फैला रखी है|सिविल एविएशन मंत्रालय की ओये देखो अतिरिक्त सचिव के कद वाली कमेटी ने पहले हसाडी नंबर वन इंडिगो को १६ यात्री जहाज खरीद कर भारतीय हवा में परवाज करने की इजाजत दे दी लेकिन अब सुना है की मंत्री अजित सिंह उस कमेटी की सलाह पर रोक लगा कर ११ जहाज़ कम कर रहे हैं |

झल्ला

ओ बाऊ जी साहब आप जी की इंडिगो कम्पनी बेशक ६२ जहाज़ों के साथ लगभग २५% मार्केट पर काबिज होकर नंबर वन है लेकिन यह तभी तक है जब तक किंग फिशर एयर लाइन्स हैंगर्स में है और यूं ऐ ई की एतिहाद की जेट के प्रति एह्तियाद जारी है| लेकिन ये तो आप मानोगे की देश के विकास के लिए टियर २ और ३ वाले शहरों के लिए भी सस्ती और सुरक्षित हवाई यात्राएं जरूरी है|अब अगर आप जैसे प्रॉफिट की हवा में उड़ने वाले अगर मीठा मीठा[लाभ वाले रूट्स] ही खायेंगे और कड़वा[टियर २&३ ] थू थू या एयर इंडिया के लिए छोड़ेंगे तो क्या देश बहुत खुश होगा मंत्री शाबाशी देगा क्यों ?

एयर लाइन्स के उद्धार के लिए विदेशी निवेशक क्यूं नहीं आ रहे:निवेश और फ्लाईट्सकी सुरक्षा की गारंटी चाहिए

आज कल भारतीय निज़ी एयर लाइन्स में व्यापार के छेत्र में अग्रणी रहने का गुणगान करने की हौड सी लगी हुई है| आये दिन विशेष कर इंडिगो,स्पाईस जेट एयर इंडिया, जेट आदि के आंकडें आते रहते हैं|अपने मुह मियां मिट्ठू बनने की रेस के पीछे सरकार की ऍफ़ डी आई की नीति हो सकती है| कम्पनियाँ विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने में लगी है |लेकिन दुर्भाग्य से अभी तक कंपनियों की इस चुमब्कीय शक्ति का प्रभाव दिखाई नहीं दिया है| इस नीति के अंतर्गत अब विदेशी निवेशक कम्पनी की इक्वेटी में ४९%तक निवेश कर सकते हैं|
कर्ज़ में डूबी किंग फिशर एयर लाईन्स के लिए अभी तक कोई विदेशी निवेशक सामने नहीं आया है| किंग फिशर,जेट और स्पाईस जेट भी साउदी अरेबियंस को लुभाने में लगे हैं यहाँ तक की ६१ फ्लीट से २५% मार्किट कब्ज़ा कर नंबर वन का ख़िताब अपने सर पर सजाये इंडिगो की वार्ता भी ब्रिटिश[सुरक्षित] एयरवेज से जारी है| यहइस कम्पनी के सबसे कमजोर विङ्ग [१]टिकेट्स और[२] लगेज के छेत्र में इम्प्रूवमेंट के लिए हो सकता है|
भारतीय उड्डयन का छेत्र अभी तक ऍफ़ डी आई को आकर्षित नहीं कर पाया है इसके पीछे बेशक कई कारण हो सकते हैं |निवेश और फ्लाईट्सकी सुरक्षा की गारंटी सबको चाहिएलेकिन दुर्भाग्य से इसका अभाव दिखाई दे रहा है|
[१]केंद्र सरकार की कुछ नीतियाँ
[२]टैक्स की भरमार
[३]कंपनियों में कर्मचारी असंतोष
[४]सेवा सुविधा का अभाव
[५]यात्रियों के प्रति व्यावसाईक द्रष्टिकोण का अभाव
[६]महंगे टिकेट्स आदि आदि
इन सबके अलावा एक मुख्य कारण है सुरक्षा का| फ्लाइट्स में देरी+दुर्घटना+दुर्व्यवहार +कर्मचारियों में असंतोष इनमे मुख्यत हैं|
जेट एयर लाइन्स क्रैश डाटा एवेलुएशन सेंटर [जे.ऐ.सी.डी.ई.सी]ने एक उड्डयन पर स्टडी रिपोर्ट प्रकाशित की है इसके द्वारा प्रकाशित सेफ्टी रैंकिंग में १० सुरक्षित और १० असुरक्षित एयर लाईन्स का उल्लेख किया गया है|सुरक्षित दस एयर लाइन्स में एक भी भारतीय सरकारी या निज़ी एयर लाईन्स को स्थान नहीं मिला है असुरक्षित एयर लाईन्स में एयर इंडिया को जरूर बीते ३० सालों में तीन क्रैश के साथ ३२९ मौतों के साथ टाप थर्ड स्थान दिया गया है|
अब सवाल यह उठता है कि सिविल एविएशन की नियामक डी जी सी ऐ के दावे थे कि कोहरे का असर फ्लाईट्स पर नहीं पड़ेगा [१]मगर कोहरे के कारण प्रतिष्टित आई जी आई एयर पोर्ट भी फ्लईट्स कैंसिल की गई| [२]यात्रियों के सामान के साथ खिलवाड़ की शिकायतें आ रही है|[३]यात्रियों के साथ दुर्व्यवहार के किस्से बन रहे हैं[४]|यात्रियों को कनेक्टिंग फ्लाईट्स नही दी जा रही|एयर पोर्ट को यात्रियों के साथ कंपनियों के लिए भी दिनों दिन महंगा किया जा रहा है|[५]प्लेन्स में बेचे जा रहे उत्पादों की गुणवत्ता की कोई जांच परख नहीं होरही [६] डोमेस्टिक उड़ान के लिए उड्डयन मंत्री चौधरी अजित सिंह अपने गृह प्रदेश, गृह जिला में भी कोई उपलब्धि हासिल नहें कर पाए हैं[७] अत्याधुनिक ड्रीम लाईनर कि दुर्दशा भी देखी जा रही है [८ ]यहाँ तक कि माननीय न्यायालय के आदेशों की अनदेखी करके टिकेट्स के रेट्स पर कोई नियंत्रण नही बनाया जा सका है|ऐसे में विदेशी निवेशकों को आकर्षित करने के लिए पहले अपने गिरेबान में झांक कर अपने घर को सुरक्षित करना जरूरी है