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पहली पेंशन मिलने में देरी को समाप्त करने के लिए ,केंद्र सरकार ने, शपथ पत्र प्रक्रिया को सरल किया

पहली पेंशन अविलम्भ पाने के लिए पेंशनर को सम्बंधित बैंक में आवश्यक शपथ पत्र [हलफ नामा] तत्काल जमा करवा देना चाहिए|
केंद्र सरकार[DOPT]का मानना है कि सेवानिवृत्ति के बाद पहली बार पेंशन के भुगतान में देरी मुख्‍यत: दो कारणों से होती है।और इन्हें दूर करने के लिए प्रोसीजर को सरल बनाया गया है| गौरतलब है कि यूं पी सरकार ने सरकारी लाभ के लिए लागू शपथ पत्र की अनिवार्यता को समाप्त कर दिया है|अब केंद्र ने यधपि इसे पूर्णतया समाप्त नहीं किया लेकिन इसका सरलीकरण करने का प्रयास जरूर किया है |अब सेवानिवृत हो रहे कर्मी से उसके कार्यालय अध्यक्ष शपथ पत्र लें कर पेंशन कार्यालय भेजेंगे |वर्तमान में पेंशन मिलने में डायरी के बताये गए २ कारण निम्न हैं :
[१] पेंशनधारी से यह जानकारी मिलने में देरी कि पेंशन के कागज बैंक में पहुंच चुके हैं
[२] पेंशनधारी की तरफ से बैंक को यह शपथ पत्र [ undertaking ]देने में देरी कि वह उस धनराशि को लौटा देगा अथवा ऐसी किसी भी राशि की क्षतिपूर्ति करेगा जिसका वह हकदार नहीं है।
राज्‍य सरकारों के पेंशन सचिवालयों के साथ हाल में एक कार्यशाला में कार्मिक, लोक शिकायत और पेंशन राज्‍य मंत्री डा. जितेन्‍द्र सिंह[ Dr. Jitendra Singh, Minister of State for Personnel, Public Grievances & Pensions ] ने कहा कि सरकार ने फैसला किया है आवश्‍यक ‘’शपथ पत्र’’ सरकारी कर्मचारी के कार्यालय के प्रमुख द्वारा प्राप्‍त किया जा सकता है और इसे पेंशन भुगतान आदेश के साथ पेंशन देने वाले बैंक के पास भेजा जा सकता है। पेंशन संबंधी दस्‍तावेजों के साथ यह शपथ पत्र मिलने पर बैंक जल्‍दी से जल्‍दी पेंशनधारी के खाते में पेंशन राशि जमा कर सकता है। पेंशनधारी को पहली पेंशन शुरु कराने के लिए बैंक जाने की जरुरत नहीं पड़ेगी।
इस प्रक्रिया में बदलाव का एक अतिरिक्‍त फायदा होगा कि पेंशन भुगतान आदेश सेवानिवृत्‍त कर्मचारी को अन्‍य सेवानिवृत्ति बकायों के साथ दिया जा सकता है। इससे पहले पेंशनधारी को पेंशन भुगतान आदेश की अपनी प्रति लेने के लिए बैंक जाना पड़ता था।
सुधारों की पहल राज्‍य मंत्री डा. जितेन्‍द्र सिंह ने राज्‍य सरकार के पेंशन सचिवालय के साथ 12 जून 2014 को हुई बैठक में की।

अखिलेश सरकार को २३ जून से प. यू पी के मुद्दे दिखाएगी भाजपा

अखिलेश सरकार बेशक तमाम दावे करे उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था की कृतिम समस्या को पैदा करके उनकी छवि धूमिल की जा रही है लेकिन उत्तर प्रदेश और विशेष तौर पर पश्चिमी उत्तर प्रदेश में समस्यायों की कमी नहीं है |यहाँ आये दिन व्यवस्था को अंगूठा दिखती घटनाएँ घटित होरही है |जनप्रतिनिधि से लेकर अधिवक्ता तक पुलिस की कार्यप्रणाली से खफा दिखाई दे रहे हैं|मेरठ के एसएसपी ऑफिस पर तो लगातार शिकायतकर्ताओं की संख्या बढ़ती जा रही है। जिनका संकलन करके भाजपा ने अब मुद्दा बना लिया है| A FP से विशेष बातचीत में अखिलेश यादव ने कहा है कि उत्तर प्रदेश एक बड़ा और राजनीतिक रूप से एक ताकतवर राज्य है। आलोचक एक युवा मुख्यमंत्री को नहीं देखना चाहते हैं। इसीलिए उन्हें लगता है कि चलो उसकी छवि खराब करें।
मुख्य मंत्री के इस दावे की पोल खोलने के लिए मेरठ कलेक्टरेट का एक दिन का नजारा प्रस्तुत है: १७ जून को मेरठ के एसएस पी कार्यालय में मेरठ के चार थानों के खिलाफ प्रदर्शन हुए इनमे से अधिकाँश गैर राजनितिक पीड़ितों द्वारा किये गए | खाज में कौडके रूप में प्रदर्शन कारियों को ढूंढें भी अधिकारी नहीं मिले | एक दिन के कुछ उदाहरण प्रस्तुत हैं :
[१] दौराला हवालात में अपहरण के आरोपी अप्पू की मौत का मामला दोबारा से गरमा गया है। इसी को लेकर कैंट विधायक अपने समर्थकों के साथ एसएसपी ऑफिस पहुंचे। एसएसपी तहसील दिवस में गए थे। बावजूद इसके वहां कोई अधिकारी मौजूद नहीं था। यहां तक की रिसेप्शन पर रहने वाले पुलिसकर्मी भी गायब मिले | घटना क्रम के अनुसार युवती को दौराला थाने के पल्लवपुरम में फेज फेज वन निवासी अप्पू पुत्र चिंताशंकर भगा कर ले गया था। सात दिसंबर को गाजियाबाद से युवती और युवक को पुलिस ने पकड़ लिया। आरोपी को थाने की हवालात में बंद कर दो दिन तक यातनाएं दीं। हवालात के अंदर आठ दिसंबर को अप्पू की मौत हो गई। मां की ओर से आइपीसी थाने के इंस्पेक्टर डीपी सिंह, चौकी प्रभारी यादराम सिंह, अर्जुन सिंह नाइट अफसर, हेड मोहर्रिर बिजेंद्र सिंह, सिपाही ईश्वर सिंह पर मुकदमा हुआ था।

Crime In Meerut

Crime In Meerut

[२]जानी थाने के अफजलपुर पावटी में मस्जिद के इमाम को लेकर विवाद चल रहा है| यहां बड़ी मस्जिद के अंदर नमाजियों पर गोली बरसा दी गई थी। 13 लोग लहूलुहान हो गए थे|फायरिंग करने वाले मौके से फरार हो गए |
पीड़ित पक्ष की दर्जनों महिलाओं ने मंगलवार को एसएसपी ऑफिस पर जमकर प्रदर्शन किया।पोलिस पर क्रास मुकदमा दर्ज करने का आरोप लगाया गया महिलाओं ने इस मामले में निष्पक्ष कार्रवाई की मांग करते हुए प्रदर्शन किया। गर्मी अधिक होने के कारण कुछ महिलाएं बेहोश हो गई।
[३]कंकरखेड़ा के बद्रीशपुरम में ९ जून को अधिवक्ता राजा पुत्र सुमेर सिंह पर जान लेवा हमला किया गया था | मामले की रिपोर्ट कंकरखेड़ा थाने में दर्ज करा दी गई। इसके बावजूद आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो पा रही है। इसी को लेकर एकजुट होकर दो दर्जन के करीब अधिवक्ताओं ने एसएसपी ऑफिस पर प्रदर्शन किया |
[४]देहलीगेट के लाला का बाजार निवासी एक महिला ने एसपी ट्रैफिक के सामने पेश होकर आरोप लगाया कि ससुरालियों ने उसके साथ दुष्कर्म की कोशिश की। अब भाजपा ने अपराधों को संकलित करके मुद्दा बना लिया है
Agitation Against Thana Sadar Bazar

Agitation Against Thana Sadar Bazar


भाजपा ने 23 जून से 11 अगस्त तक थाना घेरने की घोषणा की है |
इस दौरान थानों की हीलाहवाली एवं अधिकारियों के रवैये की पोल खोलने का दावा किया गया है|
मेरठ में आयोजित एक बैठक में स्थानीय न्रेतत्व ने आरोप लगाया है कि दो सप्ताह पहले प्रमुख सचिव गृह और डीजीपी के दौरे में पीड़ितों की समस्या सुनकर निस्तारण करने का आदेश जारी किया गया था। उस आदेश का कितना पालन हो रहा है, इसका प्रमाण एसएसपी ऑफिस दे रहा है।
Agitation Against Thana Medical

Agitation Against Thana Medical

थानों पर सुनवाई नहीं होने से परेशान पीड़ित भरी गर्मी में एसएसपी ऑफिस पर प्रदर्शन कर इंसाफ मांग रहे हैं। अफसर इन लोगों की फरियाद सुनकर थाने स्तर पर कॉल कर कर्तव्य की इतिश्री कर लेते हैं। लेकिन कभी यह जानने की कोशिश नहीं कि थाने स्तर पर सुनवाई क्यों नहीं हो रही है? इसी का नतीजा है कि कुछ प्रदर्शनकारी महिलाएं तो एसएसपी ऑफिस पर बेहोश हो गई थीं।

अखिलेश यादव ने यूं पी में शपथ पत्र व्यवस्था को समाप्त किया:स्वःप्रमाणित पत्र ही पर्याप्त होगा

अखिलेश यादव ने यूं पी में शपथ पत्र व्यवस्था को समाप्त किया:स्वःप्रमाणित पत्र ही पर्याप्त होगा
उत्तर प्रदेश में अब नहीं देना होगा शपथ पत्र |सरकारी योजनाओं +सुविधाओं का लाभ + शिक्षण संस्थाओं में प्रवेश लेने के लिए अब केवल स्वः प्रमाणित/स्वः घोषित प्रमाण पत्र ही पर्याप्त होगा||इस फैसले से लाभार्थिओं को धन और समय दोनों की बचत होगी|
सरकारी प्रक्रियायों के सरलीकरण और आम जनता की सुविधा को दिन में रखते हुए मुख्य मंत्री अखिलेश यादव ने यह क्रांतिकारी निर्णय लिया है|
राज्य सरकार के प्रवक्ता ने यह जानकारी देते हुए बताया कि जिन योजनाओं+सुविधाओं का लाभ लेने और शिक्षण संस्थाओं में दाखिले के लाभार्थी द्वारा शपथ प्रस्तुत किये जाने की ,वर्तमान में लागू, व्यवस्था को तत्काल प्रभाव से समाप्त करने के निर्देश मुख्य मंत्री द्वारा जारी कर दिए गए हैं |
फोटो कैप्शन
मेरठ के :राधा गोबिंद कॉलेज में अखिलेश यादव का फाइल फोटो

चौधरी अजित सिंह की छपरौली में यमुना हाई लेवल पुल के निर्माण की मंजूरी का रालोद ने स्वागत किया

चौधरी अजित सिंह की छपरौली को हरियाणा से जोड़ने के लिए हाई लेवल पुल के निर्माण की मंजूरी का जयंत चौधरी ने स्वागत किया है | यह पुल यमुना नदी पर बनेगा|यह परियोजना हरियाणा और उत्तर प्रदेश को जोड़ेगी। इससे दोनों प्रदेशों के ग्रामीणों एवं किसानों को लाभ मिलेगा।
बागपत संसदीय क्षेत्र के छपरौली में यमुना पर पुल के निर्माण के लिए अखिलेश यादव और भूपेंद्र सिंह हुड्डा द्वारा करार [ MOU ] पर आज हस्ताक्षर हुए| इस पर राष्ट्रीय लोकदल[रालोद] महासचिव पूर्व सांसद जयन्त चौधरी ने खुशी जताई है। जयंत चौधरी ने आशा व्यक्त की है कि यूं पी और हरियाणा राज्यों की सरकारों की मंजूरी के बाद यमुना पर पुल का निर्माण जल्द ही शुरू हो जाएगा।
जयंत चौधरी ने बताया कि यह पुल रालोद अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह के लिए ड्रीम प्रोजेक्ट है। इसके लिए उन्होंने पिछली सरकार में केन्द्रीय मंत्री रहते हुए दोनों प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों को पत्र लिखा था।
इस अवसर पर लोकसभा सांसद दीपेन्द्र सिंह हुड्डा ने रालोद अध्यक्ष और पूर्व सांसद चौधरी अजित सिंह को बधाई दी है। उन्होंने कहा है यह परियोजना काफी लम्बे समय से प्रस्तावित थी।
गौरतलब है कि आज उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री अखिलेश यादव ने, पुल के निर्माण को, पड़ौसी राज्य के मुख्य मंत्री बी इस हुड्डा के साथ एक एम ओ यूं साइन किया | यह हाई लेवल पुल यमुना नदी पर बनेगा और इससे लगभग १० लाख लोगों को लाभ मिलने का दावा किया गया है|

अपराधों से त्रस्त अखिलेश यादव ने साइकिल को विकास की तरफ मोड़ा:यमुना पर हरियाणा के सहयोग से पुल बनेगा

अपराधों के बढ़ते दंगों से परेशान उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री ने अपनी साइकिल के हैंडल विकास +जनहित की तरफ मोड़ लिए हैं |उत्तर प्रदेश के युवा मुख्य मंत्री अखिलेश यादव ने यूं पी को कांग्रसी शासित राज्य हरियाणा से जोड़ने के लिए विशाल पुल के निर्माण को पड़ौसी राज्य के मुख्य मंत्री बी इस हुड्डा के साथ एक एम ओ यूं साइन किया | यह हाई लेवल पुल यमुना नदी पर बनेगा और इससे लगभग १० लाख लोगों को लाभ होगा |
इसके अलावा अखिलेश यादव ने बीते दिन अपने राज्य में आये आंधी तूफ़ान में मरने वालों के आश्रितों को ५-५ लाख रुपयों की आर्थिक सहायता का एलान भी किया इसके अलावा घायलों को समुचित चिकित्सीय सहायता उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए गए हैं
signing MoU with C.M Haryana Shri B.S Hooda to develop high level bridge on Yamuna,10 lakh people will be benefited with this project

अखिलेश सरकार यूं पी में १८ वर्ष से कम आयु के विकलांग बच्चों के माता/ पिता को भी समाजवादी पेंशन देगी

अखिलेश यादव की सरकार यूं पी में १८ वर्ष से कम आयु के विकलांग बच्चों के माता/ पिता को भी समाजवादी पेंशन देगी|
उत्तर प्रदेश में १८ वर्ष से कम आयु के विकलांग बच्चों के माता पिता को समाजवादी पेंशन वितरण में प्राथमिकता दी जाएगी|इससे लाखों विकलांग बच्चे लभान्वित होंगे | प्रदेश के युवा मुख्य मंत्री अखिलेश यादव ने इस विषय में पूर्व घोषित मार्ग दर्शक सिद्धांतों में संशोधन की घोषणा की है |गौरतलब है कि वर्तमान में केंद्र सरकार के नियमों के अनुसार १८ साल पूर्ण करने वाले विकलांगों के ही कल्याण की योजना है |
राज्य सरकार के प्रवक्ता के अनुसार ऐसे विकलांग बच्चे जिनकी आयु १८ वर्ष से कम है और उनके माता पिता समाजवादी पेंशन प्राप्त करने के मानक पूर्ण कर रहे हों ऐसी स्थिति में उन बच्चों के माता अथवा पिता को समाजवादी पेंशन लाभ प्रदान करने में प्राथमिकता दी जाएगी |

भाजपा के सियासी बेड़े में रिटायर्ड जनरल हूण और पूर्व विधान परिषद् सदस्य सत्यप्रकाश राणा शामिल हुए

[नई दिल्ली]भारतीय जनता पार्टी[भाजपा]के सियासी बेड़े में रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल हूण और पूर्व विधान परिषद् सदस्य सत्यप्रकाश राणा भी आज शामिल हो गए |भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष राज नाथ सिंह की उपस्थिति में हूण और राणा को सदस्यता ग्रहण कराई गई |
पी वी एस एम्+ऐ वी एस एम्+एस एम् जनरल पी एन हूण ने भारत की आजादी कि लड़ाई में अहम भूमिका निभाई |३१ अक्टूबर १९८७ में सेना से रिटायर हुए |
श्री राणा १९९० में कांग्रेस के टिकट पर विधान परिषद् के सदस्य बने और उत्तर प्रदेश में कांग्रेस के संयुक्त और महा मंत्री भी रहे |
फ़ोटो कैप्शन
Shri Satyaprakash Rana and Shri P.N Hoon joined BJP in presence of BJP National President Shri Rajnath Singh on December 2, 2013

गन्ना किसानों की समस्याओं को लेकर रालोद ने चक्का जाम और विधानसभा का घेराव भी किया

गन्ना किसानों की समस्याओं को लेकर रालोद ने चक्का जाम और विधानसभा का घेराव भी किया
राष्ट्रीय लोकदल[रालोद] ने अपनी पूर्व घोषणा के अनुसार आज गन्ना किसानों की समस्याओं को लेकर गन्ने की पैदावार करने वाले प्रदेश के प्रमुख जनपदों में चक्का जाम किया फैजाबाद में लखनऊ-फैजाबाद मार्ग +बागपत के किशनपुर बिराल + बुलंदशहर आदि स्थानों में रालोद का चक्का जाम प्रभावी रहा |बागपत के ग्राम दाहा में गन्ने की होली भी जलाई गई |

RALOD

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जिसके फलस्वरूप उत्तर प्रदेश सरकार ने यह घोषणा की है कि प्रदेश में चीनी मिलें तुरंत ही चालू होंगी।
रालोद के कार्यकर्ताओं ने पदाधिकारियों के नेतृत्व में गन्ना प्रधान जिलों में प्रमुख राजमार्गों तथा विभिन्न स्थलों पर चक्का जाम किया तथा लखनऊ में विधानसभा का भी घेराव किया। इस आन्दोलन के दौरान रालोद के उत्तर प्रदेश विधान मण्डल दल के नेता ठा. दलवीर सिंह, विधायक भगवती प्रसाद सूर्यवंशी तथा विधायक त्रिलोकीराम दिवाकर सहित बड़ी संख्या में कार्यकर्ता गिरफ्तार हुए। प्रदेश सरकार ने चीनी मिलों को शीघ्र चालू करने के निर्देश दिए हैं।
रालोद महासचिव एवं लोकसभा सांसद जयन्त चौधरी ने कहा है कि रालोद गन्ना किसानों की मांगों को लेकर प्रदेश में काफी समय से संघर्षरत है। रालोद ने मांग की है कि सरकारी घोषणा के बाद सर्वविदित है कि शीघ्र से शीघ्र चीनी मिलें चलाई जाएं तथा राज्य सरकार जल्द से जल्द उत्तर प्रदेश उच्च न्यायालय के ब्याज सहित बकाया भुगतान के आदेश का पालन करे।
बागपत के ग्राम दाहा में गन्ने की होली जलाते किसान

बागपत के ग्राम दाहा में गन्ने की होली जलाते किसान


इस समय प्रदेश में चीनी मिलों पर किसानों का दो हजार चार सौ करोड़ रूपये बकाया है। लखीमपुर खीरी में किसान के आत्मदाह पर श्री जयन्त चौधरी ने संवेदना व्यक्त करते हुए सभी किसान भाईयों से धैर्य रखने की अपील की है।
इस आन्दोलन के दौरान एम्बुलेंस, रेल तथा अन्य आपातकालीन सेवाओं को बाधित नहीं किया गया। रालोद महासचिव जयन्त चौधरी ने रालोद के सभी पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं को इस शांतिपूर्ण आन्दोलन की सफलता पर बधाई दी है तथा उन्होंने उत्तर प्रदेश सरकार को चेतावनी दी है कि यदि सरकार किसानों का बकाया शीघ्र नहीं करेगी तो उसे गंभीर परिणाम भुगतने पड़ेंगे तथा रालोद फिर आन्दोलन करेगा।
केन्द्र सरकार ने हाल ही में गन्ने की समस्याओं को लेकर मंत्रियों का समूह बनाया है जिसमें केन्द्रीय नागर विमानन मंत्री एवं रालोद अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह की प्रमुख भूमिका रहेगी। हाल ही में रालोद ने 21 नवम्बर को गन्ना किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए लखनऊ में गन्ना आयुक्त का घेराव किया था।

राज्‍य सभा की उत्तरप्रदेश से दो सीटों के लिए 20 दिसम्बर को उपचुनाव होंगें :नामांकन की अंतिम तिथि10 दिसम्बर

उत्तरप्रदेश से राज्‍य सभाकी दो सीटों के लिए 20 दिसम्बर, 2013 (शुक्रवार)को उपचुनाव कराये जायेंगे इसके लिए 10 दिसम्बर, 2013 (मंगलवार)तक नामांकन भरे जा सकेंगे |तीन माह पूर्व राज्य सभा सदस्य समाजवादी पार्टी के महा सचिव मोहन सिंह की मृत्यु हुई थी और कांग्रेस पार्टी के प्रवक्ता रशीद मसूद को न्यायलय द्वारा अयोग्य घोषित किया गया था |
उत्‍तर प्रदेश से राज्‍य सभा के लि‍ए दो आकस्‍मि‍क रि‍क्‍ति‍यां हुई हैं। इनका वि‍वरण नीचे दि‍या गया है:-
क्रम सं.=====सदस्‍य का नाम========================कार्यकाल अवधि‍======================================टि‍प्‍पणी
[१]========श्री मोहन सिंह=========================4 जुलाई, २०१६================22 सि‍तम्‍बर, 2013 को मृत्‍यु होने के कारण
[२].========श्री रशीद मसूद========================2 अप्रैल, २०१८==========19 सि‍तम्‍बर, 2013 को अयोग्‍य घोषि‍त होने के कारण
आयोग ने उपर्युक्त रिक्तियों को भरने के लिए निम्नलिखित कार्यक्रम के अनुसार उत्तरप्रदेश से राज्य सभा के लिए उपचुनाव आयोजित कराने का निर्णय लिया हैः-
क्र. स.=====कार्यक्रम=====तिथि और दिवस
[१]===अधिसूचना जारी====3 दिसम्बर, 2013 (मंगलवार)
[२]नामांकन भरने की अंतिम तिथि============================================10 दिसम्बर, 2013 (मंगलवार)
[३]नामांकनों की जांच============================11 दिसम्बर, 2013 (बुधवार)
[४]==नाम वापस लेने की अंतिम तिथि==================13 दिसम्बर, 2013 (शुक्रवार)
[५]===मतदान तिथि=======================================================20 दिसम्बर, 2013 (शुक्रवार)
[६]===मतदान का समय=================================================सुबह 9.00 बजे से सांय 4.00 बजे तक
[७]====मतगणना===============20 दिसम्बर, 2013 (शुक्रवार) सांय 5.00 बजे
[८]=चुनाव प्रक्रिया पूर्ण करने की तिथि=========================================23 दिसम्बर, 2013 (सोमवार)

रालोद ने गन्ना किसानो के बकाये के भुगतान के लिए एक दिसंबर से चक्का जाम करने की चेतावनी दी

गन्ना किसानो के बकाये के भुगतान के लिए राष्ट्रीय लोकदल [रालोद]ने एक दिसंबर से गन्ना प्रधान जिलों में चक्का जाम करने की चेतावनी दी है
राष्ट्रीय लोकदल महासचिव एवं लोकसभा सांसद जयन्त चौधरी ने एक बयान में कहा है कि राज्य सरकार जल्द से जल्द गन्ना किसानों का बकाया भुगतान करे। यदि ऐसा नहीं होता है तो रालोद 1 दिसम्बर को राज्य के गन्ना प्रधान जिलों में चक्का जाम करेगा। उन्होंने किसानों से ज्यादा से ज्यादा संख्या में इस आन्दोलन शामिल होने का आवाहन किया है। उन्होंने कहा है कि आम लोगों, व्यापारियों तथा विद्यार्थियों को परेशानी न हो इसलिए यह आन्दोलन दोपहर 12 बजे से 3 बजे तक होगा तथा आपातकालीन सेवाओं तथा रेल यातायात में बाधा नहीं पहुंचाई जाएगी।
श्री जयन्त ने राज्य सरकार से मांग की है कि प्रदेश में चीनी मिलें समय पर चालू हों जिससे गन्ना किसानों को समय से गन्ने का मूल्य मिल सके और वे गेहूं की बुवाई शुरू कर सकें। इसके अलावा उन्होंने राज्य सरकार से उत्तर प्रदेश उच्च न्यायालय के ब्याज सहित बकाया भुगतान के आदेश का पालन करने की भी मांग की है।
रालोद राष्ट्रीय महासचिव ने कहा है कि प्रदेश की 90 चीनी मिलों में से 66 चीनी मिलों ने राज्य सरकार को लिखकर दिया है कि वे किसानों का बकाया भुगतान करने में असमर्थ हैं तथा सरकारी मिलें भी सुचारू रूप से नहीं चल रही हैं। अतः राज्य सरकार को इस समस्या का समाधान जल्द से जल्द करने की भी मांग की है। गन्ना शोध संस्थान, शाहजहांपुर की रिपोर्ट के अनुसार इस बार गन्ने की फसल लागत में 23 रुपए प्रति क्विंटल की बढोत्तरी हुई है। अतः सांसद जयन्त चौधरी ने राज्य सरकार से गन्ना किसानों को लाभकारी मूल्य देने की मांग करते हुए बताया की
उन्होंने बताया कि हरियाणा और पंजाब में गन्ने का मूल्य क्रमशः 301 और 300 रुपए प्रति क्विंटल है। युवा सांसद ने केन्द्र सरकार से चीनी के आयात पर रोक लगाने तथा एथेनाॅल के उत्पादन में 5 से 10 % गन्ने के उपयोग की मांग की है।
रालोद ने २४ नवम्बर को मेरठ आगमन पर मुख्य मंत्री का विरोध करते हुए गिरफ्तारी दी थी इसके अलावा 21 नवम्बर को गन्ना किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए लखनऊ में गन्ना आयुक्त का घेराव किया था। इससे पहले रालोद ने 19 नवम्बर 2009 को जन्तर मन्तर पर आन्दोलन करके गन्ना नियंत्रण संशोधन आदेश, 2009 का विरोध किया था। इस आदेश के तहत केन्द्र सरकार एसएपी और एफआरपी के अन्तर का भुगतान राज्य सरकार पर डालना चाहती थी जबकि पहले इस अंतर का भुगतान सरकारी और निजी सुगर मिलों द्वारा किया जाता था।